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TIFR की अपील : कर्मचारी सोशल मीडिया पर सरकार विरोधी पोस्ट न करें

टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च (The Tata Institute of Fundamental Research) (TIFR) ने अपने कर्मचारियों को निर्देश दिया है कि वे 'सरकार विरोधी सामग्री' (Anti-Government Content) और 'संस्थान के अंदर की तस्वीरें या वीडियो' सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट न करें. टीआईएफआर के निदेशक प्रोफेसर एस रामकृष्णन ने पत्र जारी होने की बात मानते हुए कहा कि वह सोमवार को पत्र के बारे में प्रश्नों का जवाब देंगे.

Do not post any anti-Govt content on social media
टीआईएफआर ने कर्मचारियों से कहा
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Published : Apr 16, 2022, 8:37 AM IST

Updated : Apr 16, 2022, 3:20 PM IST

मुंबई : टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च (The Tata Institute of Fundamental Research) (TIFR), मौलिक विज्ञान में उन्नत अनुसंधान के लिए देश का प्रमुख संस्थान है. लेकिन फिलहाल वह अलग कारणों से चर्चा में है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार संस्थान (TIFR) ने अपने कर्मचारियों को निर्देश दिया है कि वे 'सरकार विरोधी सामग्री' (Anti-Government Content) और 'संस्थान के अंदर की तस्वीरें या वीडियो' सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट न करें. टीआईएफआर ने आगाह किया है कि ऐसा करना कर्मचारी और संस्थान दोनों की सुरक्षा के लिए खतरा हो सकता है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक टीआईएफआर ने कर्मचारियों से कहा है कि वे अपने परिवार के सदस्यों को भी इस तरह की सामग्री पोस्ट न करने को कहें.

13 अप्रैल को एक पत्र में, टीआईएफआर के रजिस्ट्रार विंग कमांडर जॉर्ज एंटनी (सेवानिवृत्त) (TIFR Registrar Wing Commander George Antony (retired)) ने परमाणु ऊर्जा विभाग (Department of Atomic Energy) (DAE) द्वारा अधिसूचित टिप्पणियों का उल्लेख करते हुए उल्लेख किया कि डीएई कार्यालयों और परिसर की तस्वीरें और वीडियो फेसबुक (Facebook), व्हाट्सएप (WhatsApp) और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platforms) पर देखने को मिले हैं.

पढ़ें: फेसबुक यूजर्स का निजी डाटा शेयर होने पर हाईकोर्ट ने जताई चिंता

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पत्र में कहा गया है कि यह देखा गया है कि कुछ असंतुष्ट कर्मचारी सोशल मीडिया पर सरकार विरोधी सामग्री साझा कर रहे हैं. एजेंसियों और विभाग द्वारा इन गतिविधियों को गंभीरता से लिया गया है. संस्थान के स्टाफ सदस्यों से अनुरोध है कि वे संस्थान, उसके केंद्रों और फील्ड स्टेशनों, आवासीय कॉलोनियों या किसी अन्य सरकारी संपत्ति से संबंधित किसी भी वीडियो को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपलोड करने से बचें. क्योंकि इससे सुरक्षा में खतरा पैदा हो सकता है. स्टाफ सदस्यों को आगे सूचित किया जाता है कि वे सोशल मीडिया पर किसी भी सरकार विरोधी सामग्री को अपलोड करने से बचें. परिवार के सदस्यों को भी इसके बारे में अवगत कराया जाना चाहिए.

टीआईएफआर के निदेशक प्रोफेसर एस रामकृष्णन ने पत्र जारी होने की बात मानते हुए कहा कि वह सोमवार को पत्र के बारे में प्रश्नों का जवाब देंगे. सूत्रों ने कहा कि पत्र डीएई के निर्देशों के आधार पर जारी किया गया था. सूत्र ने बताया कि देश भर में अलग-अलग जगहों पर डीएई की स्थापना हुई है. पत्र में उल्लिखित तस्वीरें या वीडियो इनमें से किसी भी सेट-अप से हो सकते हैं और फिर सभी सेट-अप के लिए एक सार्वभौमिक निर्देश जारी किया जा सकता है. सूत्रों के मुताबिक कुछ दिनों में इस पर और स्पष्टता आ सकती है.

मुंबई : टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च (The Tata Institute of Fundamental Research) (TIFR), मौलिक विज्ञान में उन्नत अनुसंधान के लिए देश का प्रमुख संस्थान है. लेकिन फिलहाल वह अलग कारणों से चर्चा में है. मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार संस्थान (TIFR) ने अपने कर्मचारियों को निर्देश दिया है कि वे 'सरकार विरोधी सामग्री' (Anti-Government Content) और 'संस्थान के अंदर की तस्वीरें या वीडियो' सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट न करें. टीआईएफआर ने आगाह किया है कि ऐसा करना कर्मचारी और संस्थान दोनों की सुरक्षा के लिए खतरा हो सकता है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक टीआईएफआर ने कर्मचारियों से कहा है कि वे अपने परिवार के सदस्यों को भी इस तरह की सामग्री पोस्ट न करने को कहें.

13 अप्रैल को एक पत्र में, टीआईएफआर के रजिस्ट्रार विंग कमांडर जॉर्ज एंटनी (सेवानिवृत्त) (TIFR Registrar Wing Commander George Antony (retired)) ने परमाणु ऊर्जा विभाग (Department of Atomic Energy) (DAE) द्वारा अधिसूचित टिप्पणियों का उल्लेख करते हुए उल्लेख किया कि डीएई कार्यालयों और परिसर की तस्वीरें और वीडियो फेसबुक (Facebook), व्हाट्सएप (WhatsApp) और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platforms) पर देखने को मिले हैं.

पढ़ें: फेसबुक यूजर्स का निजी डाटा शेयर होने पर हाईकोर्ट ने जताई चिंता

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार पत्र में कहा गया है कि यह देखा गया है कि कुछ असंतुष्ट कर्मचारी सोशल मीडिया पर सरकार विरोधी सामग्री साझा कर रहे हैं. एजेंसियों और विभाग द्वारा इन गतिविधियों को गंभीरता से लिया गया है. संस्थान के स्टाफ सदस्यों से अनुरोध है कि वे संस्थान, उसके केंद्रों और फील्ड स्टेशनों, आवासीय कॉलोनियों या किसी अन्य सरकारी संपत्ति से संबंधित किसी भी वीडियो को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपलोड करने से बचें. क्योंकि इससे सुरक्षा में खतरा पैदा हो सकता है. स्टाफ सदस्यों को आगे सूचित किया जाता है कि वे सोशल मीडिया पर किसी भी सरकार विरोधी सामग्री को अपलोड करने से बचें. परिवार के सदस्यों को भी इसके बारे में अवगत कराया जाना चाहिए.

टीआईएफआर के निदेशक प्रोफेसर एस रामकृष्णन ने पत्र जारी होने की बात मानते हुए कहा कि वह सोमवार को पत्र के बारे में प्रश्नों का जवाब देंगे. सूत्रों ने कहा कि पत्र डीएई के निर्देशों के आधार पर जारी किया गया था. सूत्र ने बताया कि देश भर में अलग-अलग जगहों पर डीएई की स्थापना हुई है. पत्र में उल्लिखित तस्वीरें या वीडियो इनमें से किसी भी सेट-अप से हो सकते हैं और फिर सभी सेट-अप के लिए एक सार्वभौमिक निर्देश जारी किया जा सकता है. सूत्रों के मुताबिक कुछ दिनों में इस पर और स्पष्टता आ सकती है.

Last Updated : Apr 16, 2022, 3:20 PM IST
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