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निजामाबाद PFI Case में NIA ने 17वें आरोपी के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया - एनआईए की चार्जशीट

राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने गुरुवार को प्रतिबंधित आतंकवादी संगठन पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) मामले में तीसरी चार्जशीट दाखिल की. यह केस निजामाबाद पीएफआई साजिश मामले के 17वें आरोपी नोसाम मोहम्मद यूनुस के खिलाफ हैदराबाद एनआईए अदालत में दर्ज किया गया था. Nizamabad PFI Case, NIA chargesheets, National Investigation Agency

Nizamabad PFI case
प्रतिकात्मक तस्वीर
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Dec 8, 2023, 12:37 PM IST

हैदराबाद: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने निजामाबाद पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) मामले में 17वें आरोपी के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया है. आरोप पत्र में प्रतिबंधित संगठन पर युवाओं को भर्ती करने, कट्टरपंथी बनाने और प्रशिक्षित कर आतंक और हिंसा की घटनाओं को अंजाम देने की कथित आपराधिक साजिश रचने का आरोप है.

नोसाम मोहम्मद यूनुस के खिलाफ आईपीसी और यूएपीए की संबंधित धाराओं के तहत कथित आपराधिक साजिश और विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देने के मामले में आरोप लगाया गया है. आरोप पत्र में कहा गया है कि आरोपी व्यक्ति एक प्रशिक्षित पीएफआई कैडर है. यह कथित तौर पर मुस्लिम युवाओं को कट्टरपंथी बनाने में शामिल था.

आरोप पत्र में कहा गया है कि इसका लक्ष्य 2047 तक भारत में इस्लामिक शासन स्थापित करने और पीएफआई की साजिश को आगे बढ़ाना था. इसके साथ आरोपी कथित रूप से आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने की योजना बना रहा था. आरोप पत्र में दी गई जानकारी के मुताबिक आरोपी नोसाम मोहम्मद यूनुस आंध्र प्रदेश के नंद्याल का रहने वाला है.

कथित आपराधिक साजिश का मामला शुरू में जुलाई 2022 में निजामाबाद के VI टाउन पुलिस थाने में दर्ज किया गया था. एनआईए ने पिछले साल अगस्त में तेलंगाना पुलिस से जांच संभाली और 11 आरोपियों - अब्दुल खादर, अब्दुल अहद, शेख इलियास अहमद, अब्दुल, सलीम, शेख शादुल्लाह, फिरोज खान, मोहम्मद उस्मान, सैयद याहिया समीर, शेख इमरान, मोहम्मद अब्दुल मुबीन और मोहम्मद इरफान - दिसंबर 2022 में के खिलाफ अपनी पहली चार्जशीट दायर की थी.

पांच अन्य आरोपियों - शेख रहीम, शेख वाहिद अली, जफरुल्ला खान पठान, शेख रियाज अहमद और अब्दुल वारिस के खिलाफ दूसरा आरोप पत्र इस साल मार्च में दायर किया गया था. एनआईए ने पाया कि नोसाम कथित तौर पर पीएफआई हथियार प्रशिक्षण शिविरों में युवाओं की भर्ती करने और उन्हें हथियार प्रशिक्षण देने में भी शामिल था.

ये प्रशिक्षण शिविर विशेष रूप से गुप्त तरीके से आयोजित किए जाते थे. आरोप पत्र में कहा गया है कि नोसाम युवकों को गले, पेट और सिर जैसे महत्वपूर्ण अंगों पर हमला करके अपने लक्ष्य को मारने के लिए घातक हथियारों के इस्तेमाल का प्रशिक्षण दे रहा था. इसके साथ ही नोसाम देश में विभिन्न धार्मिक समूहों के बीच शत्रुता को भी सक्रिय रूप से बढ़ावा दे रहा था.

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हैदराबाद: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने निजामाबाद पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) मामले में 17वें आरोपी के खिलाफ आरोप पत्र दायर किया है. आरोप पत्र में प्रतिबंधित संगठन पर युवाओं को भर्ती करने, कट्टरपंथी बनाने और प्रशिक्षित कर आतंक और हिंसा की घटनाओं को अंजाम देने की कथित आपराधिक साजिश रचने का आरोप है.

नोसाम मोहम्मद यूनुस के खिलाफ आईपीसी और यूएपीए की संबंधित धाराओं के तहत कथित आपराधिक साजिश और विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा देने के मामले में आरोप लगाया गया है. आरोप पत्र में कहा गया है कि आरोपी व्यक्ति एक प्रशिक्षित पीएफआई कैडर है. यह कथित तौर पर मुस्लिम युवाओं को कट्टरपंथी बनाने में शामिल था.

आरोप पत्र में कहा गया है कि इसका लक्ष्य 2047 तक भारत में इस्लामिक शासन स्थापित करने और पीएफआई की साजिश को आगे बढ़ाना था. इसके साथ आरोपी कथित रूप से आतंकवादी गतिविधियों को अंजाम देने की योजना बना रहा था. आरोप पत्र में दी गई जानकारी के मुताबिक आरोपी नोसाम मोहम्मद यूनुस आंध्र प्रदेश के नंद्याल का रहने वाला है.

कथित आपराधिक साजिश का मामला शुरू में जुलाई 2022 में निजामाबाद के VI टाउन पुलिस थाने में दर्ज किया गया था. एनआईए ने पिछले साल अगस्त में तेलंगाना पुलिस से जांच संभाली और 11 आरोपियों - अब्दुल खादर, अब्दुल अहद, शेख इलियास अहमद, अब्दुल, सलीम, शेख शादुल्लाह, फिरोज खान, मोहम्मद उस्मान, सैयद याहिया समीर, शेख इमरान, मोहम्मद अब्दुल मुबीन और मोहम्मद इरफान - दिसंबर 2022 में के खिलाफ अपनी पहली चार्जशीट दायर की थी.

पांच अन्य आरोपियों - शेख रहीम, शेख वाहिद अली, जफरुल्ला खान पठान, शेख रियाज अहमद और अब्दुल वारिस के खिलाफ दूसरा आरोप पत्र इस साल मार्च में दायर किया गया था. एनआईए ने पाया कि नोसाम कथित तौर पर पीएफआई हथियार प्रशिक्षण शिविरों में युवाओं की भर्ती करने और उन्हें हथियार प्रशिक्षण देने में भी शामिल था.

ये प्रशिक्षण शिविर विशेष रूप से गुप्त तरीके से आयोजित किए जाते थे. आरोप पत्र में कहा गया है कि नोसाम युवकों को गले, पेट और सिर जैसे महत्वपूर्ण अंगों पर हमला करके अपने लक्ष्य को मारने के लिए घातक हथियारों के इस्तेमाल का प्रशिक्षण दे रहा था. इसके साथ ही नोसाम देश में विभिन्न धार्मिक समूहों के बीच शत्रुता को भी सक्रिय रूप से बढ़ावा दे रहा था.

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