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तमिलनाडु के राज्यपाल ने मंत्री सेंथिल बालाजी को मंत्रिमंडल से बर्खास्त किया, सरकार कानूनी रूप से देगी चुनौती

तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि (Tamil Nadu Governor R N Ravi) ने मंत्री वी सेंथिल बालाजी (Minister V Senthil Balaji) को मंत्रिपरिषद से बर्खास्त कर दिया है. वहीं सीएम एमके स्टालिन ने कहा है कि राज्यपाल आरएन रवि के पास मंत्री को हटाने का अधिकार नहीं है, हम कानूनी तौर पर इसका सामना करेंगे.

Minister V Senthil Balaji
मंत्री वी सेंथिल बालाजी
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Published : Jun 29, 2023, 7:59 PM IST

Updated : Jun 29, 2023, 10:46 PM IST

चेन्नई : तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि (Tamil Nadu Governor R N Ravi) ने गुरुवार को मंत्री वी सेंथिल बालाजी (Minister V Senthil Balaji) को मंत्रिपरिषद से बर्खास्त कर दिया. राज भवन ने एक आधिकारिक विज्ञप्ति में बताया कि सेंथिल बालाजी 'नौकरी के बदले में नकदी लेने और धन शोधन समेत भ्रष्टाचार के कई मामलों में गंभीर आपराधिक कार्रवाई का सामना कर रहे हैं. मंत्री के रूप में अपने पद का दुरुपयोग कर वह जांच को प्रभावित और कानून तथा न्याय की उचित प्रक्रिया में बाधा डालते रहे हैं.' वहीं सीएम एमके स्टालिन ने कहा है कि राज्यपाल आरएन रवि के पास मंत्री को हटाने का अधिकार नहीं है, हम कानूनी तौर पर इसका सामना करेंगे. स्टालिन ने कहा कि सरकार इसे कानूनी रूप से चुनौती देगी.

सेंथल अभी वह एक आपराधिक मामले में न्यायिक हिरासत में हैं, जिसकी जांच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) कर रहा है. उनके खिलाफ भ्रष्टाचार रोकथाम कानून और भारतीय दंड संहिता के तहत कुछ अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज हैं जिनकी जांच राज्य पुलिस कर रही है. विज्ञप्ति में कहा गया है, 'ऐसी आशंका है कि वी. सेंथिल बालाजी के मंत्रिपरिषद में बने रहने से निष्पक्ष जांच समेत कानून की उचित प्रक्रिया पर प्रतिकूल असर होगा जिससे राज्य में संवैधानिक तंत्र ध्वस्त हो सकता है.' विज्ञप्ति के अनुसार, 'इन परिस्थितियों के तहत राज्यपाल ने सेंथिल बालाजी को तत्काल प्रभाव से मंत्रिपरिषद से बर्खास्त कर दिया है.'

वाम दलों समेत द्रमुक के सहयोगियों ने भी सत्तारूढ़ पार्टी का समर्थन किया और राज्यपाल के कदम की निंदा की. राजनीतिक विश्लेषक दुरई करुणा ने कहा कि मंत्रियों को मंत्रिमंडल में शामिल करना या हटाना मुख्यमंत्री का विशेषाधिकार है. उन्होंने कहा, 'पिछले करीब चार-पांच दशकों में, मैंने किसी राज्यपाल को मुख्यमंत्री की सिफारिश के बिना किसी मंत्री को मंत्रिमंडल से हटाने का मामला देखा या सुना नहीं है.' राज्यपाल के इस कदम से उनके तथा द्रमुक सरकार के बीच टकराव और बढ़ सकता हैं. दोनों के बीच विधेयकों पर राज्यपाल की मंजूरी जैसे कई मुद्दों को लेकर तकरार चल रही है.

गौरतलब है कि 47 वर्षीय बालाजी की 14 जून को गिरफ्तारी के बाद सरकार ने उन्हें मंत्रिमंडल में बरकरार रखा, हालांकि उनके पास कोई विभाग नहीं है और उनके विभागों को वित्त मंत्री थंगम थेन्नारासु (बिजली) तथा आवासीय मंत्री मुथुसामी (आबकारी) को सौंप दिया गया. बालाजी अभी एक आपराधिक मामले में न्यायिक हिरासत में हैं, जिसकी जांच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) कर रहा है. उनके खिलाफ भ्रष्टाचार रोकथाम कानून और भारतीय दंड संहिता के तहत कुछ अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज हैं जिनकी जांच राज्य पुलिस कर रही है. गिरफ्तारी के बाद बालाजी ने सीने में दर्द की शिकायत की थी और उन्हें एक सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बाद में, उन्होंने एक निजी अस्पताल में बायपास सर्जरी करायी थी.

राज्यपाल ने 31 मई को मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखकर उनसे सेंथिल बालाजी को मंत्रिमंडल से हटाने के लिए कहा था और अगले ही दिन स्टालिन ने उन्हें विस्तृत जवाब दिया था. रवि ने पहले सरकार के विभागों के पुन: आवंटन से जुड़ी फाइल लौटा दी थी लेकिन बाद में उन्होंने प्रस्ताव पर अपनी मंजूरी दे दी थी.

राज्यपाल को बर्खास्त करने का पूरा अधिकार - तिरुपति

  • #WATCH | Madurai | Tamil Nadu BJP vice president Narayanan Thirupathy says, "...He (Governor) has every right to dismiss because he appoints the ministers, he has given the reasons as to why he dismissed Senthil Balaji...in spite of the SC's order, the govt has not constituted a… pic.twitter.com/pANygJwVA7

    — ANI (@ANI) June 29, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वहीं भाजपा नेता नारायणन तिरुपति ने कहा है कि राज्यपाल को बर्खास्त करने का पूरा अधिकार है क्योंकि वह मंत्रियों की नियुक्ति करते हैं, उन्होंने कारण बताया है कि उन्होंने सेंथिल बालाजी को क्यों बर्खास्त किया.सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद, सरकार ने एसआईटी का गठन नहीं किया. उन्होंने कहा कि राज्यपाल ने नैतिक रूप से सही निर्णय लिया है. सीएम स्टालिन ने कहा कि वे अदालत जाएंगे, वे जरूर अदालत जाएं कोई दिक्कत नहीं है.

ये भी पढ़ें - Senthil Balaji Case : सेंथिल बालाजी के लिए दायर याचिका सुनवाई योग्य नहीं: तुषार मेहता

(इनपुट-एजेंसी)

चेन्नई : तमिलनाडु के राज्यपाल आरएन रवि (Tamil Nadu Governor R N Ravi) ने गुरुवार को मंत्री वी सेंथिल बालाजी (Minister V Senthil Balaji) को मंत्रिपरिषद से बर्खास्त कर दिया. राज भवन ने एक आधिकारिक विज्ञप्ति में बताया कि सेंथिल बालाजी 'नौकरी के बदले में नकदी लेने और धन शोधन समेत भ्रष्टाचार के कई मामलों में गंभीर आपराधिक कार्रवाई का सामना कर रहे हैं. मंत्री के रूप में अपने पद का दुरुपयोग कर वह जांच को प्रभावित और कानून तथा न्याय की उचित प्रक्रिया में बाधा डालते रहे हैं.' वहीं सीएम एमके स्टालिन ने कहा है कि राज्यपाल आरएन रवि के पास मंत्री को हटाने का अधिकार नहीं है, हम कानूनी तौर पर इसका सामना करेंगे. स्टालिन ने कहा कि सरकार इसे कानूनी रूप से चुनौती देगी.

सेंथल अभी वह एक आपराधिक मामले में न्यायिक हिरासत में हैं, जिसकी जांच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) कर रहा है. उनके खिलाफ भ्रष्टाचार रोकथाम कानून और भारतीय दंड संहिता के तहत कुछ अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज हैं जिनकी जांच राज्य पुलिस कर रही है. विज्ञप्ति में कहा गया है, 'ऐसी आशंका है कि वी. सेंथिल बालाजी के मंत्रिपरिषद में बने रहने से निष्पक्ष जांच समेत कानून की उचित प्रक्रिया पर प्रतिकूल असर होगा जिससे राज्य में संवैधानिक तंत्र ध्वस्त हो सकता है.' विज्ञप्ति के अनुसार, 'इन परिस्थितियों के तहत राज्यपाल ने सेंथिल बालाजी को तत्काल प्रभाव से मंत्रिपरिषद से बर्खास्त कर दिया है.'

वाम दलों समेत द्रमुक के सहयोगियों ने भी सत्तारूढ़ पार्टी का समर्थन किया और राज्यपाल के कदम की निंदा की. राजनीतिक विश्लेषक दुरई करुणा ने कहा कि मंत्रियों को मंत्रिमंडल में शामिल करना या हटाना मुख्यमंत्री का विशेषाधिकार है. उन्होंने कहा, 'पिछले करीब चार-पांच दशकों में, मैंने किसी राज्यपाल को मुख्यमंत्री की सिफारिश के बिना किसी मंत्री को मंत्रिमंडल से हटाने का मामला देखा या सुना नहीं है.' राज्यपाल के इस कदम से उनके तथा द्रमुक सरकार के बीच टकराव और बढ़ सकता हैं. दोनों के बीच विधेयकों पर राज्यपाल की मंजूरी जैसे कई मुद्दों को लेकर तकरार चल रही है.

गौरतलब है कि 47 वर्षीय बालाजी की 14 जून को गिरफ्तारी के बाद सरकार ने उन्हें मंत्रिमंडल में बरकरार रखा, हालांकि उनके पास कोई विभाग नहीं है और उनके विभागों को वित्त मंत्री थंगम थेन्नारासु (बिजली) तथा आवासीय मंत्री मुथुसामी (आबकारी) को सौंप दिया गया. बालाजी अभी एक आपराधिक मामले में न्यायिक हिरासत में हैं, जिसकी जांच प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) कर रहा है. उनके खिलाफ भ्रष्टाचार रोकथाम कानून और भारतीय दंड संहिता के तहत कुछ अन्य आपराधिक मामले भी दर्ज हैं जिनकी जांच राज्य पुलिस कर रही है. गिरफ्तारी के बाद बालाजी ने सीने में दर्द की शिकायत की थी और उन्हें एक सरकारी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बाद में, उन्होंने एक निजी अस्पताल में बायपास सर्जरी करायी थी.

राज्यपाल ने 31 मई को मुख्यमंत्री को एक पत्र लिखकर उनसे सेंथिल बालाजी को मंत्रिमंडल से हटाने के लिए कहा था और अगले ही दिन स्टालिन ने उन्हें विस्तृत जवाब दिया था. रवि ने पहले सरकार के विभागों के पुन: आवंटन से जुड़ी फाइल लौटा दी थी लेकिन बाद में उन्होंने प्रस्ताव पर अपनी मंजूरी दे दी थी.

राज्यपाल को बर्खास्त करने का पूरा अधिकार - तिरुपति

  • #WATCH | Madurai | Tamil Nadu BJP vice president Narayanan Thirupathy says, "...He (Governor) has every right to dismiss because he appoints the ministers, he has given the reasons as to why he dismissed Senthil Balaji...in spite of the SC's order, the govt has not constituted a… pic.twitter.com/pANygJwVA7

    — ANI (@ANI) June 29, 2023 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

वहीं भाजपा नेता नारायणन तिरुपति ने कहा है कि राज्यपाल को बर्खास्त करने का पूरा अधिकार है क्योंकि वह मंत्रियों की नियुक्ति करते हैं, उन्होंने कारण बताया है कि उन्होंने सेंथिल बालाजी को क्यों बर्खास्त किया.सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बावजूद, सरकार ने एसआईटी का गठन नहीं किया. उन्होंने कहा कि राज्यपाल ने नैतिक रूप से सही निर्णय लिया है. सीएम स्टालिन ने कहा कि वे अदालत जाएंगे, वे जरूर अदालत जाएं कोई दिक्कत नहीं है.

ये भी पढ़ें - Senthil Balaji Case : सेंथिल बालाजी के लिए दायर याचिका सुनवाई योग्य नहीं: तुषार मेहता

(इनपुट-एजेंसी)

Last Updated : Jun 29, 2023, 10:46 PM IST
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