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प्रयागराज की नैनी सेंट्रल जेल में गंगा-जमुनी तहजीब की साक्षात मिसाल - ramzan and navratra together in naini central jail

प्रयागराज की नैनी सेंट्रल जेल में रमजान महीने का रोजा और 9 दिन का नवरात्र व्रत रखने वाले बंदियों के लिए जेल प्रशासन की तरफ से भी खाने-पीने की अच्छी सुविधा दी जा रही है. जिसकी वजह से दोनों समुदाय के बंदियों को पूजा और इबादत करने में सहूयलियत मिल रही है.

नैनी सेंट्रल जेल
नैनी सेंट्रल जेल
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Published : Apr 9, 2022, 2:19 PM IST

प्रयागराजः कहते हैं पूजा और इबादत कहीं भी कभी भी की जा सकती है, बस मन में सच्ची श्रद्धा होनी चाहिए. अपने ईष्टदेव की आराधना के लिए सभी जगह श्रेष्ठ है. इसका जीता-जागता उदाहरण प्रयागराज की नैनी जेल में देखने को मिल रहा है. यहां हिंदू कैदी नवरात्र का व्रत रख रहे हैं, वहीं मुस्लिम कैदी रमजान माह में रोजा रख रहे हैं. इनके व्रत और रोजा के लिए जेल प्रशासन आवश्यक सुविधाएं मुहैया कराकर चार चांद लगा रहा है. जिसकी वजह से दोनों समुदाय के कैदी अपनी आस्था और परंपरा निर्वहन कर पा रहे हैं. यही कारण है कि पिछले साल की तुलना में इस साल नवरात्र का व्रत रखने वालों की संख्या में भी इजाफा हुआ है.

नैनी सेंट्रल जेल

जेल में क्षमता से अधिक बंदीः नैनी सेंट्रल जेल में भले ही क्षमता से दोगुने के करीब कैदी बंद हैं. इसके बावजूद जेल प्रशासन की तरफ से कैदियों को व्रत के लिए फलाहार उपलब्ध करवाया जाता है. प्रयागराज की नैनी सेंट्रल जेल में 516 बंदी नौ दिन का नवरात्र व्रत रखे हुए हैं. वहीं 450 कैदी रोजा रख रहे हैं. जबकि नवरात्रि के पहले दिन व्रत रखने वाले बंदियों की संख्या 1532 थी. नवरात्र का व्रत रखने वाले प्रत्येक कैदी को खाने के लिए फल और दूध दिया जाता है. जिसमें हर कैदी को आधा किलो आलू, 250 ग्राम दूध और केला व दूसरे फल दिए जाते हैं. इसके अलावा इनको जरूरत पड़ने पर चाय भी मिल जाती है. इसी तरह से रोजा रखने वाले बंदियों को शाम का भोजन दिया जाता है. इसके अलावा सुबह सेहरी के लिए दूध, केला, ब्रेड बिस्कुट के अलावा नीबूं भी दिया जाता है.

यही नहीं व्रत रखने वाले बंदियों को काम करने से भी राहत दी जा रही है. व्रत रखने वाले कैदी अपनी मर्जी से काम करना चाहे तभी काम कर सकते हैं. इनके ऊपर व्रत के दौरान काम करने का कोई दबाव नहीं होता है. इसके अलावा कैदियों को धार्मिक पुस्तकें भी मांगने पर मिलती है. जिससे वो अपने व्रत के साथ ही पूजा पाठ को पूरा कर सकें. व्रत रखने वाले कैदियों की संख्या पिछले साल के मुकाबले इस साल बढ़ी है. 2021 में नवरात्रि व्रत रखने वाले बंदियों की संख्या 1440 ही थी. जो इस बार बढ़कर 1532 हो गयी है. इस साल रोजा और नवरात्रि एक साथ होने की वजह से नैनी सेंट्रल जेल में एक तरफ जहां देवी के भक्ति गीत होते हैं. वहीं दूसरी तरफ से पांचों वक्त की नमाज भी अदा की जा रही है. जिससे जेल के अंदर गंगा-जमुनी तहजीब की मिसाल देखने को मिलती है.

यह भी पढ़ें-दोस्ती की मिसाल...तोड़ेंगे दम मगर तेरा साथ ना छोड़ेंगे

प्रयागराजः कहते हैं पूजा और इबादत कहीं भी कभी भी की जा सकती है, बस मन में सच्ची श्रद्धा होनी चाहिए. अपने ईष्टदेव की आराधना के लिए सभी जगह श्रेष्ठ है. इसका जीता-जागता उदाहरण प्रयागराज की नैनी जेल में देखने को मिल रहा है. यहां हिंदू कैदी नवरात्र का व्रत रख रहे हैं, वहीं मुस्लिम कैदी रमजान माह में रोजा रख रहे हैं. इनके व्रत और रोजा के लिए जेल प्रशासन आवश्यक सुविधाएं मुहैया कराकर चार चांद लगा रहा है. जिसकी वजह से दोनों समुदाय के कैदी अपनी आस्था और परंपरा निर्वहन कर पा रहे हैं. यही कारण है कि पिछले साल की तुलना में इस साल नवरात्र का व्रत रखने वालों की संख्या में भी इजाफा हुआ है.

नैनी सेंट्रल जेल

जेल में क्षमता से अधिक बंदीः नैनी सेंट्रल जेल में भले ही क्षमता से दोगुने के करीब कैदी बंद हैं. इसके बावजूद जेल प्रशासन की तरफ से कैदियों को व्रत के लिए फलाहार उपलब्ध करवाया जाता है. प्रयागराज की नैनी सेंट्रल जेल में 516 बंदी नौ दिन का नवरात्र व्रत रखे हुए हैं. वहीं 450 कैदी रोजा रख रहे हैं. जबकि नवरात्रि के पहले दिन व्रत रखने वाले बंदियों की संख्या 1532 थी. नवरात्र का व्रत रखने वाले प्रत्येक कैदी को खाने के लिए फल और दूध दिया जाता है. जिसमें हर कैदी को आधा किलो आलू, 250 ग्राम दूध और केला व दूसरे फल दिए जाते हैं. इसके अलावा इनको जरूरत पड़ने पर चाय भी मिल जाती है. इसी तरह से रोजा रखने वाले बंदियों को शाम का भोजन दिया जाता है. इसके अलावा सुबह सेहरी के लिए दूध, केला, ब्रेड बिस्कुट के अलावा नीबूं भी दिया जाता है.

यही नहीं व्रत रखने वाले बंदियों को काम करने से भी राहत दी जा रही है. व्रत रखने वाले कैदी अपनी मर्जी से काम करना चाहे तभी काम कर सकते हैं. इनके ऊपर व्रत के दौरान काम करने का कोई दबाव नहीं होता है. इसके अलावा कैदियों को धार्मिक पुस्तकें भी मांगने पर मिलती है. जिससे वो अपने व्रत के साथ ही पूजा पाठ को पूरा कर सकें. व्रत रखने वाले कैदियों की संख्या पिछले साल के मुकाबले इस साल बढ़ी है. 2021 में नवरात्रि व्रत रखने वाले बंदियों की संख्या 1440 ही थी. जो इस बार बढ़कर 1532 हो गयी है. इस साल रोजा और नवरात्रि एक साथ होने की वजह से नैनी सेंट्रल जेल में एक तरफ जहां देवी के भक्ति गीत होते हैं. वहीं दूसरी तरफ से पांचों वक्त की नमाज भी अदा की जा रही है. जिससे जेल के अंदर गंगा-जमुनी तहजीब की मिसाल देखने को मिलती है.

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