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6,514 कश्मीरी पंडित अब भी रह रहे हैं घाटी में: सरकार

जम्मू कश्मीर में अब भी 6514 कश्मीरी पंडित घाटी में रह रहे हैं. यह जानकारी केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय (Union Minister of State for Home Nityanand Rai) ने राज्यसभा में दी.

Union Minister of State for Home Nityanand Rai
केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय
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Published : Jul 27, 2022, 7:20 PM IST

नई दिल्ली : केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय (Union Minister of State for Home Nityanand Rai) ने बुधवार को बताया कि कुल मिलाकर 6,514 कश्मीरी पंडित अब भी घाटी में रह रहे हैं और इनमें सर्वाघिक 2,639 कश्मीरी पंडित कुलगाम जिले में रह रहे हैं. राज्यसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में राय ने कहा कि वर्ष 2022 में एक भी कश्मीरी पंडित ने घाटी नहीं छोड़ी है.

उन्होंने कहा कि 20 जुलाई की स्थिति के अनुसार घाटी में 6,514 कश्मीरी पंडित रह रहे हैं. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सबसे अधिक कश्मीरी पंडित कुलगाम (2,639) में रह रहैं जबकि बडगाम में 1204, अनंतनाग में 808, पुलवामा में 579, श्रीनगर में 455, शोपियां में 320 और बारामुला में 294 कश्मीरी पंडित रह रहे हैं.

उन्होंने बताया कि वर्ष 2020 से 2022 के बीच आतंकवादियों द्वारा जम्मू एवं कश्मीर में 12 कश्मीरी पंडितों की हत्या की गई है. एक अन्य सवाल के जवाब में राय ने कहा कि सरकार आतंकवाद के विरुद्ध शून्य सहिष्णुता की नीति को अपना कर काम कर रही है और केंद्र शासित प्रदेश में सुरक्षा की स्थिति में महत्वपूर्ण सुधार आया है.

उन्होंने कहा कि यहां आतंकवादी हमलों में भी कमी आई है। उनके मुताबिक 2018 में जहां 417 आतंकी घटनाएं हुई थीं वहीं 2021 में 229 घटनाएं हुई हैं. राय ने कहा कि अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद सुरक्षा बलों से इतर नौ सरकारी कर्मचारियों की आतंकवादी घटनाओं में जान गई है.

ये भी पढ़ें - Monsoon Session 2022: लोकसभा में राष्ट्रीय डोपिंग रोधी विधेयक 2021 पारित

नई दिल्ली : केंद्रीय गृह राज्यमंत्री नित्यानंद राय (Union Minister of State for Home Nityanand Rai) ने बुधवार को बताया कि कुल मिलाकर 6,514 कश्मीरी पंडित अब भी घाटी में रह रहे हैं और इनमें सर्वाघिक 2,639 कश्मीरी पंडित कुलगाम जिले में रह रहे हैं. राज्यसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में राय ने कहा कि वर्ष 2022 में एक भी कश्मीरी पंडित ने घाटी नहीं छोड़ी है.

उन्होंने कहा कि 20 जुलाई की स्थिति के अनुसार घाटी में 6,514 कश्मीरी पंडित रह रहे हैं. केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सबसे अधिक कश्मीरी पंडित कुलगाम (2,639) में रह रहैं जबकि बडगाम में 1204, अनंतनाग में 808, पुलवामा में 579, श्रीनगर में 455, शोपियां में 320 और बारामुला में 294 कश्मीरी पंडित रह रहे हैं.

उन्होंने बताया कि वर्ष 2020 से 2022 के बीच आतंकवादियों द्वारा जम्मू एवं कश्मीर में 12 कश्मीरी पंडितों की हत्या की गई है. एक अन्य सवाल के जवाब में राय ने कहा कि सरकार आतंकवाद के विरुद्ध शून्य सहिष्णुता की नीति को अपना कर काम कर रही है और केंद्र शासित प्रदेश में सुरक्षा की स्थिति में महत्वपूर्ण सुधार आया है.

उन्होंने कहा कि यहां आतंकवादी हमलों में भी कमी आई है। उनके मुताबिक 2018 में जहां 417 आतंकी घटनाएं हुई थीं वहीं 2021 में 229 घटनाएं हुई हैं. राय ने कहा कि अगस्त 2019 में अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद सुरक्षा बलों से इतर नौ सरकारी कर्मचारियों की आतंकवादी घटनाओं में जान गई है.

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