भोपाल। कर्नाटक के बाद एमपी के चुनावी मैदान में तैयारी से उतर रहे स्वराज इंडिया के संस्थापक व सामाजिक कार्यकर्ता योगेन्द्र यादव और उनकी टीम मामूली अंतर से जीत हार वाली विधानसभा सीटों पर काम करेगी. एमपी के चुनाव में इस बार मुकाबला कथावाचकों और बाबाओं से भी होगा. ईटीवी भारत से बातचीत में इस सवाल पर तल्ख टिप्पणी करते हुए योगेन्द्र यादव ने कहा कि गेरुआ कपड़ा पहनकर कोई भी धर्म ध्वजाधारी नहीं हो जाता. जिन्हें भाषा की समझ नहीं दो कौड़ी के ऐसे लोगों को बाबा बनाना भी धर्म की तौहीन है. बीजेपी पर सीधा हमला बोलते हुए यादव ने कहा कि जो अब साम्प्रदायिक के साथ भ्रष्ट पार्टी है बीजेपी. 150 दिन यानि करीब पांच महीने का टारगेट लेकर एमपी की चुनावी तैयारियों में उतरे योगेन्द्र यादव ने भोपाल में जनसंगठनों के साथ बैठक भी की.
जन आंदोलनों की जमीन से क्या बदल पाएगा सीन ?: कर्नाटक के बाद एमपी का चुनाव मैदान कितनी चुनौती भरा है. इस सवाल के जवाब में योगेन्द्र यादव ने कहा कि दलों का गठबंधन नहीं. दलों की उर्जा और आंदोलनों की उर्जा के गठबंधन की जरुरत है. भारत जोड़ो अभियान उसी में जुटा हुआ है. कर्नाटक में हमने भारतीय जनता पार्टी को हराने के लिए अपनी इसी उर्जा का इस्तेमाल किया. जो परिवर्तन हुआ तो हमें कामयाबी मिली. अब चुनावी तैयारी के साथ एमपी में भारत जोड़ो अभियान की एंट्री हो रही है.
जहां जीत हार का अंतर मामूली वहां से शुरुआत: चुनावी रणनीति क्या होगी, इस पर योगेन्द्र यादव ने बताया कि चुनावी तैयारी के साथ एमपी में भारत जोड़ो अभियान उन विधानसभा सीटों पर फोकस कर रहा है. हम किनारे की उन चुनिंदा सीटों पर जाएंगे जहां बीजेपी और कांग्रेस के बीच जीत हार का अंतर बेहद मामूली रहा है. जनसंगठनों के साथ मिलकर भारत जोड़ो अभियान की टीम इन सीटों का सियासी मिजाज बदलने की कोशिश करेगी.
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दो कौड़ी के सड़क छाप बाबा हिंदू धर्म की तौहीन: योगेन्द्र यादव ने एमपी के चुनावी माहौल में बाबाओँ की एंट्री पर हा कि ये देख के बहुत दुख होता है दो कौड़ी के सड़क छाप बाबाओं का बोलबाला है. ये पूरे समाज के लिए चुनौती हैं. बीजेपी स्वयंसेवक संघ वाले देश के साथ हिंदू धर्म का सत्यानाश कर रहे हैं . साधू नाम की महिमा होती है. दो कौड़ी के लोगों को साधू मत बनाइए. कोई भी गेरुआ कपड़ा पहनकर हिंदू धर्म का ध्वजधारी नहीं हो जाता. इस धर्म को बचाइए बहुत सुंदरता है इस धर्म में. दो कौड़ी के सड़क छाप लोगों जिन्हें भाषा की समझ नहीं. धर्म ग्रंथ की समझ नहीं. उन्हें बाबा बनाना हिंदू धर्म की तौहीन है. एमपी इसे रिजेक्ट करेगा. मुझे उम्मीद है
बीजेपी साम्प्रदायिक के साथ अब भ्रष्ट पार्टी भी: योगेन्द्र यादव ने कहा कि अगर मध्यप्रदेश जनसंघ की संघ की धरती रही है, तो पुराने में घुन लगता है. जैसा हमने कांग्रेस के साथ देखा है. जितने पुराने होते हैं. घुन भी लग जाता है दीमक भी लगती है. जो भ्रष्टाचार कांग्रेस में था, वही खेल अब बीजेपी में हो रहे हैं. बीजेपी अब साम्प्रदायिक पार्टी भर नहीं है. झूठ निकम्मापन भ्रष्टाचार पर अब जनता रिएक्ट करेगी. एमपी में बेहतर विकल्प हैं.