नई दिल्ली: केंद्र ने झारखंड में देवघर रोपवे दुर्घटना के मद्देनजर मंगलवार को सभी राज्यों से कहा कि वे प्रत्येक रोपवे परियोजना का सुरक्षा ऑडिट करें और ऐसी आपात स्थितियों से निपटने के लिए मानक संचालन प्रक्रियाएं लागू करें. गृह सचिव अजय भल्ला ने सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को लिखे पत्र में यह भी कहा कि प्रत्येक रोपवे परियोजना के लिए, एक रखरखाव नियमावली व कार्यक्रम होना चाहिए ताकि सुरक्षा व्यवस्था मानक प्रथाओं के अनुरूप हो.
पत्र में उन्होंने कहा कि रोपवे का संचालन करने वाली संस्था को रखरखाव कार्यक्रम के तहत की गईं सभी गतिविधियों का रिकॉर्ड रखना चाहिये. पत्र में कहा गया है, 'राज्य सरकार को प्रत्येक रोपवे परियोजना का सुरक्षा ऑडिट करने के लिए एक अनुभवी और योग्य कंपनी या संगठन को नियुक्त करना चाहिए. रोपवे का संचालन करने वाली इकाई को ऑडिट में सामने आए सभी मुद्दों से निपटना चाहिये.
झारखंड के देवघर जिले में रविवार दोपहर एक रोपवे के खराब होने के बाद केबल कारों से बचाए जाने के दौरान तीन लोगों की मौत हो गई. सोमवार से अब तक भारतीय वायुसेना के हेलीकॉप्टरों की मदद से 60 लोगों को सुरक्षित निकाला जा चुका है. गृह सचिव ने कहा कि रोपवे परियोजनाओं के संचालन और रखरखाव के लिए निर्धारित बीआईएस मानकों का ईमानदारी से पालन किया जाना चाहिए.
ये भी पढ़ें- देवघर का रोपवे हादसा : बचाई गई 60 लोगों की जान, जानिए कब क्या हुआ ?
उन्होंने कहा कि इस संबंध में आवश्यक मार्गदर्शन राष्ट्रीय राजमार्ग एवं बुनियादी ढांचा विकास निगम (एनएचआईडीसीएल) से लिया जा सकता है, जो भारत सरकार के सड़क, परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय के तहत नोडल संगठन है. भल्ला ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को अपने-अपने राज्य में सभी रोपवे परियोजनाओं की स्थिति की समीक्षा करने का निर्देश देते हुए कहा कि रोपवे के संचालन और रखरखाव के लिए एसओपी, आकस्मिक योजनाओं, और सुरक्षा ऑडिट की व्यवस्था की जानी चाहिए.
(पीटीआई-भाषा)