पटना: मणिपुर में महिलाओं को निर्वस्त्र कर घुमाने के मामले में विपक्ष का हमला जारी है. बिहार की सत्ताधारी दल जदयू ने भी मणिपुर हिंसा को लेकर चिंता व्यक्त की है. पार्टी की ओर से कहा गया है कि मणिपुर हिंसा को लेकर केंद्र सरकार गंभीर नहीं है. जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने कहा कि मणिपुर में महिलाओं के साथ दरिंदगी की घटना होती है और 78 दिनों के बाद इस घटना की जानकारी प्रधानमंत्री और गृह मंत्री को होती है.
बोले ललन सिंह- 'सदन में पीएम मोदी दें जवाब': मणिपुर के वायरल वीडियो को लेकर जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि यह शर्मनाक घटना है. 4 मई को घटना हुई और देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह को इस घटना की जानकारी तक नहीं है. सवाल ये उठता है कि देश का इंटेलिजेंस कहां है? क्या सरकार तक इंटेलिजेंस की इनपुट नहीं पहुंच रही है? ऐसे मामलों में सरकार को गंभीरता दिखानी चाहिए.
"जब तक सदन के अंदर प्रधानमंत्री खुद जवाब नहीं देते हैं, तब तक सदन में चर्चा का कोई मतलब नहीं है. किसी और के जवाब को हमलोग कोई महत्व नहीं देते हैं. सदन की कार्रवाई जब सोमवार को शुरू होगी उसके पहले बीजेपी विरोधी तमाम पार्टियां बैठेगी और रणनीति बनाई जाएगी."- ललन सिंह, राष्ट्रीय अध्यक्ष, जेडीयू
बेगूसराय मामले में दिया ये जवाब: बिहार के बेगूसराय में महिला को निर्वस्त्र करके पिटाई मामले पर ललन सिंह ने कहा कि 24 घंटे के अंदर आरोपी को पकड़ लिया जाता है. हम यही कहना चाहते हैं कि बिहार में कानून का राज है. हम कानून का पालन समय पर करते हैं. इसका उदाहरण बेगूसराय की घटना पर त्वरित कार्रवाई है.