नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट में शुक्रवार को टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की याचिका पर सुनवाई हुई. दिल्ली हाईकोर्ट में मामले की अगली सुनवाई 31 अक्टूबर को होगी. महुआ मोइत्रा के वकील गोपाल शंकरनारायण ने खुद को सुनवाई से अलग कर लिया है. वकील जयअनंत देहद्राई ने महुआ के वकील गोपाल शंकरनारायण पर गंभीर आरोप लगाए हैं. जय अंनत देहद्राई ने कहा कि महुआ के वकील ने उनसे संपर्क कर केस वापस लेने को कहा था. जज ने शंकरनारायण से इस पर सवाल किया, जिसके बाद महुआ के वकील गोपाल शंकरनारायण ने खुद को केस से अलग कर लिया.
याचिका में महुआ ने भाजपा सांसद निशिकांत दुबे एक वकील और कई सोशल मीडिया प्लेटफार्मों और मीडिया हाउसों को उनके खिलाफ कोई भी फर्जी और अपमानजनक सामग्री पोस्ट, प्रसारित या प्रकाशित करने से रोकने के निर्देश देने की मांग की है. याचिका 17 अक्टूबर को दायर की गई थी, जिसे न्यायमूर्ति सचिन दत्ता के समक्ष सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया.
पश्चिम बंगाल की कृष्णानगर लोकसभा सीट से सांसद मोइत्रा ने दुबे, वकील जय अनंत देहाद्राई, सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स, सर्च इंजन के खिलाफ स्थायी निषेधाज्ञा की मांग की है. इनमें गूगल, यूट्यूब और 15 मीडिया हाउसों को उनके खिलाफ अपमानजनक, प्रथम दृष्टया झूठे और दुर्भावनापूर्ण बयान देने, प्रकाशित करने, प्रसारित करने से रोकने की मांग की गई है. उन्होंने टीएमसी सांसद ने हर्जाना भी मांगा है. दुबे ने मोइत्रा पर संसद में सवाल पूछने के लिए एक व्यवसायी से रिश्वत लेने का आरोप लगाया है और स्पीकर ओम बिरला से उनके खिलाफ आरोपों की जांच के लिए एक जांच समिति गठित करने का आग्रह किया है.
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