चंडीगढ़: मुख्यमंत्री मनोहर लाल आज हरियाणा का बजट पेश करेंगे. ऐसे में हरियाणावासियों को इस बजट से काफी उम्मीदें हैं. किसानों से लेकर व्यापारियों तक, खिलाड़ियों से लकर छात्रों तक. सूबे के हर तबके में बजट से काफी उम्मीदें हैं. हरियाणा सरकार ने साल 2022-23 में 1,77,255.99 करोड़ रुपये का बजट पेश किया था. इस बजट में 2021-22 के मुकाबले 15.6 फीसदी का इजाफा किया गया था. इससे अनुमान लगाया जा सकता है कि इस बार हरियाणा का बजट 2 लाख करोड़ के आस पास हो सकता है. यानी इस बार भी कुल बजट में वृद्धि दर देखने को मिलेगी.
घाटे को पाटने की चुनौती: साल 2022-23 में जब मनोहर लाल ने बजट पेश किया था, तो उसमें राज्य पर कर्जा 2 लाख 43 हजार 779 करोड़ होने का अनुमान लगाया गया था. वहीं विपक्ष आरोप लगाता रहा है कि हरियाणा सरकार पर चार लाख करोड़ तक का कर्ज हो चुका है. हालांकि सरकार विपक्ष के इन आरोपों को निराधार बताती है. बहरहाल मुख्यमंत्री जब बजट पेश करेंगे, तो हरियाणा पर वर्तमान में कितना कर्ज है. इसकी स्थिति भी साफ हो जाएगी. प्रदेश सरकार के सामने सबसे बड़ी चुनौती बजट के बढ़े हुए घाटे को पाटने की है.
हर वर्ग को लुभाना बड़ी चुनौती: हरियाणा सरकार के सामने सबसे बड़ी चुनौती हर वर्ग की उम्मीदों को पूरा करना होगी. ये इसलिए भी क्योंकि अगले साल लोकसभा चुनाव हैं और फिर हरियाणा विधानसभा चुनाव भी हैं. ऐसे में सरकार की कोशिश होगी कि इस बजट में युवा, शिक्षा, रोजगार, किसान और स्वास्थ्य जैसे क्षेत्रों के विकास के लिए ज्यादा से ज्यादा बजट में प्रावधान करे.
बजट में दिख सकता है अंतोदय नीति का असर: हरियाणा सरकार सबका साथ सबका विकास के आधार पर चल रही है. सरकार अंतोदय की नीति पर काम कर रही है. सरकार की लगातार कोशिश है कि जो निम्न आय श्रेणी के लोग हैं. उनकी स्थिति को सुधारा जाए. इसके लिए सरकार कई तरह की योजनाओं पर काम भी कर रही है. लिहाजा बजट में सरकार गरीब तबके के लोगों के लिए कई योजनाएं ला सकती है.
किसानों की उम्मीदों पर कितना खरा उतरेगी सरकार? पिछले बजट में हरियाणा सरकार ने किसानों के लिए ब्याज और जुर्माना माफी का ऐलान किया था. हरियाणा सरकार ने फसली लघु व मध्यम कृषि ऋणों पर जुर्माना और ब्याज माफ करने की घोषणा की थी. इस बार भी किसानों को इसी तरह की राहत की उम्मीद है. हरियाणा सरकार फसल विविधीकरण और मोटे अनाजों को भी बढ़ावा देने की बात लगातार कर रही है. ऐसे में इस क्षेत्र में सरकार नई योजनाओं को लेकर आ सकती है, ताकि किसान फसल विविधीकरण की ओर अग्रसर हों. हरियाणा सरकार ने पिछले बजट में प्राकृतिक खेती को बढ़ावा देने के लिए कई प्रावधान किए थे, इस बजट में भी उन्हें आगे बढ़ाए जाने की उम्मीद है. पशुपालन के क्षेत्र से जुड़े लोगों के लिए भी सरकार बजट में प्रावधान कर सकती है.
कौशल रोजगार पर रह सकता है जोर: हरियाणा सरकार ने युवाओं को रोजगार देने के लिए कौशल रोजगार निगम की स्थापना की है. इसके जरिए सरकार विभिन्न क्षेत्रों में युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान कर रही है. ऐसे में उम्मीद की जा रही है कि कौशल रोजगार के तहत सरकार युवाओं को और आगे बढ़ाने के लिए काम कर सकती है. जिससे युवा वर्ग के सामने आ रही बेरोजगारी की चुनौती का हल निकाला जा सके.
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स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र रहेगा फोकस: सरकार विभिन्न योजनाओं के जरिए हर वर्ग तक स्वास्थ्य सेवाओं को पहुंचाने के लिए लगातार काम कर रही है. समाज के हर तबके को स्वास्थ्य सुविधाएं मिले. इसके लिए सरकार बजट में इन योजनाओं को आगे बढ़ाने के लिए धन की अधिक व्यवस्था कर सकती है. सरकार ने पिछले बजट में शिक्षा के क्षेत्र में कई योजनाओं को शुरू करने का ऐलान किया था. हरियाणा सरकार संस्कृत मॉडल स्कूल पर भी लगातार जोर दे रही है. ऐसे में इस के ढांचे को और मजबूत करने के लिए भी सरकार नए कदम उठा सकती है. सिंचाई बात स्वास्थ्य से संबंधित शिक्षा की हो या फिर टेक्निकल एजुकेशन की सरकार इन क्षेत्रों को भी बजट में प्राथमिकता दे सकती है.
MSME को भी सरकार से उम्मीदें: हरियाणा सरकार का जोर कौशल रोजगार पर है, तो ऐसे में जिस क्षेत्र का विकास होना सबसे ज्यादा जरूरी है वो है एमएसएमई. हरियाणा सरकार इस सेक्टर से जुड़े लोगों के लिए बजट में कई तरह के प्रावधान कर सकती है. वैसे भी पिछले काफी समय से हरियाणा सरकार का फोकस एमएसएमई सेक्टर मजबूत करने का रहा है. वहीं सरकार का फोकस स्टार्टअप को लेकर भी विशेष है, तो ऐसे में स्टार्टअप से जुड़े लोगों को भी रियायतें मिल सकती है.
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वहीं आर्थिक मामलों के जानकार बिमल अंजुम ने कहा कि अगले साल लोकसभा और प्रदेश के विधानसभा चुनाव हैं. ऐसे में हरियाणा का बजट हर वर्ग की अपेक्षाओं को पूरा करने वाला हो सकता है. उनका कहना है कि हरियाणा का बजट केंद्र सरकार की तर्ज पर ही रहने की उम्मीद है. उन्होंने कहा कि इस बार का बजट सोशल सेक्टर पर केंद्रित हो सकता है. चाहे बुजुर्ग पेंशन की हो. या अन्य पेंशन की. इसके अलावा स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में भी बजट में वृद्धि देखने को मिलेगी. किसानों की सब्सिडी से कोई छेड़छाड़ नहीं होगी. मोटे अनाज को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार किसानों को प्रोत्साहित करेगी. एमएसएमई में युवाओं को प्रोत्साहन देने के लिए योजना आ सकती है. सामाजिक कल्याण की योजनाओं पर भी फोकस बना रहेगा.