बेंगलुरु: सरकार ने आय से अधिक संपत्ति मामले में तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री जे जयललिता (J Jayalalithaa) से जब्त किए गए कीमती सामान के निपटारे के लिए वरिष्ठ वकील किरण एस जवाली (Kiran S Jawali) को नियुक्त किया है. जावली को हाल ही में सरकार के सचिव अधि नारायण द्वारा नियुक्त किया गया.
कानूनी विशेषज्ञों ने बताया है कि अगले एक महीने में सुनवाई शुरू हो जाएगी और नीलामी के जरिए जुटाई गई रकम को अदालत खुद तमिलनाडु सरकार को सौंप देगी. शहर के प्रिंसिपल सिटी सिविल एंड सेशंस कोर्ट (प्रथम अपीलीय प्राधिकरण) ने हाल ही में सूचना का अधिकार (आरटीआई) कार्यकर्ता टी नरसिम्हा मूर्ति द्वारा दायर एक अपील पर यह जानकारी दी.
क्या है मामला? : 27 सितंबर 2014 को शहर की एक विशेष अदालत ने आय से अधिक संपत्ति मामले में जयललिता को चार साल की जेल और 100 करोड़ रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई थी. यह निर्देश दिया गया था कि जयललिता के ज़ब्त क़ीमती सामानों को आरबीआई, एसबीआई या सार्वजनिक नीलामी के माध्यम से बेचा जाना चाहिए. इससे होने वाली आय को जुर्माना राशि में समायोजित किया जाना चाहिए.
गौरतलब है कि 11 दिसंबर, 1996 को तमिलनाडु एंटी-करप्शन ब्यूरो और इंटेलिजेंस ब्यूरो के अधिकारियों ने अवैध संपत्ति अधिग्रहण के मामले में चेन्नई शहर में जयललिता के आवास पोयस गार्डन पर छापा मारा और करोड़ों रुपये की संपत्ति जब्त की थी.
अपीलकर्ता ने अपनी दलील में कहा था कि उन वस्तुओं को न्यायालय की अभिरक्षा में रखने की कोई आवश्यकता नहीं है क्योंकि मामला पहले ही बंद हो चुका है, इसलिए उन चीजों का निस्तारण कर देना चाहिए. अपीलकर्ता ने कहा था कि अगर उन्हें सार्वजनिक नीलामी के माध्यम से बिक्री के लिए रखा जाता है, तो जयललिता के कट्टर समर्थक उन्हें भारी मात्रा में खरीदेंगे, इसमें कोई संदेह नहीं है.
ये सामान जब्त किया गया था : 468 प्रकार के सोने और हीरे के आभूषण जिनका वजन 7,040 ग्राम है. चांदी के आभूषणों का वजन 700 किलोग्राम, 740 महंगी चप्पलें, 11,344 रेशम की साड़ियां, 250 शॉल, 12 रेफ्रिजरेटर, 10 टीवी सेट, 8 वीसीआर, 1 वीडियो कैमरा, 4 सीडी प्लेयर, 2 ऑडियो डेक, 24 टू-इन-वन टेप रिकॉर्डर, 1,040 वीडियो कैसेट, 3 लोहे के लॉकर और 1,93,202 रुपये नकद सहित कई सामान जयललिता के पास से जब्त किए गए थे.
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