शिमला : राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर (Governor Rajendra Vishwanath Arlekar) ने चीन (China) के साथ लगती हिमाचल प्रदेश की 240 किलोमीटर सीमा क्षेत्र की वास्तविक स्थिति से केंद्र को अवगत करा दिया. पिछले दिनों राज्यपाल हिमाचल के डीजीपी संजय कुंडू (DGP Sanjay Kundu) और विभाग के अन्य आला अधिकारियों के साथ बैठक कर सीमा की वास्तविक स्थिति को जाना था.
हिमाचल के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर के समक्ष पिछले दिनों राजभवन (Raj Bhavan)में शीर्ष पुलिस अधिकारियों ने पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन (power point presentation) दिया और उन्हें वर्तमान स्थिति से अवगत करवाया था. इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू भी उपस्थित थे. उस समय राज्यपाल ने राज्य पुलिस के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि वर्तमान स्थिति में चीन के साथ लगती प्रदेश की सीमा बहुत संवेदनशील और सामरिक दृष्टि से महत्वपूर्ण इसलिए इस क्षेत्र को नजरअंदाज नहीं किया जा सकता.
उन्होंने कहा कि किन्नौर और लाहौल-स्पीति (Lahaul Spiti) के लगभग 48 सीमावर्ती गांवों के लोगों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने की आवश्यकता है. उन्होंने कहा कि इन क्षेत्रों के अधोसंरचना विकास और अन्य गतिविधियों का क्रियान्वयन सुनिश्चित किया जाना चाहिए. इन क्षेत्रों में पुलिस थानों और चौकियों की संख्या बढ़ाई जानी चाहिए.
पुलिस रिपोर्ट के अनुसार चीन ने पिछले एक वर्ष से सीमा पर आर्मी (army on the border) की मौजूदगी को बढ़ा दिया. इसके अलावा किन्नौर और लाहौल-स्पीति के साथ लगती एलएसी के समीप सड़क निर्माण और पुल निर्माण के अलावा हेलीपैड निर्माण (Helipad Construction) जैसी गतिविधियों को भी काफी तेज कर दिया है. इसके अलावा हिमाचल के साथ लगती सीमा पर चीन ने अपनी निगरानी तंत्र को भी काफी तेजी से विकसित किया है.
इससे पहले राज्यपाल ने स्थिति की समीक्षा करने और इन क्षेत्रों में अन्य गतिविधियों के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए राज्य पुलिस अधिकारियों की एक टीम सीमावर्ती गांवों में भेजने के लिए राज्य पुलिस की सराहना की. पुलिस महानिदेशक ने राज्य पुलिस द्वारा किए गए विभिन्न क्रियाकलापों से राज्यपाल को अवगत करवाया गया. इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक संजय कुंडू (Director General of Police Sanjay Kundu) भी उपस्थित थे.