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सरकार की किसी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर रोक लगाने की कोई योजना नहीं: आईटी राज्य मंत्री - Minister of State for Electronics

इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर (Minister of State for Electronics and IT Rajiv Chandrashekhar) ने कहा है कि देश में किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platform) को ब्लॉक करने की उसकी कोई योजना नहीं है.

राजीव चंद्रशेखर
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Published : Aug 5, 2021, 8:53 PM IST

नई दिल्ली : सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि देश में किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platform) को ब्लॉक करने की उसकी कोई योजना नहीं है और वह नियमित रूप से ऐसे प्लेटफॉर्म की जवाबदेही और उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा जैसे विभिन्न मुद्दों पर सोशल मीडिया कंपनियों के साथ बातचीत करती है.

इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर (Minister of State for Electronics and IT Rajiv Chandrashekhar) ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में राज्यसभा को बताया कि हालांकि कुछ उपयोगकर्ता देश के लोगों के बीच नफरत और द्वेष पैदा करने के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का दुरुपयोग करते हैं, फिर भी कोई भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म या कोई अन्य मध्यस्थ भारत के लोकतंत्र (Democracy) को नष्ट नहीं कर सकता है.

उन्होंने कहा, 'फिलहाल सरकार की देश में किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को ब्लॉक करने की कोई योजना नहीं है.' मंत्री ने कहा कि सरकार सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर नफरत फैलाने वाली सामग्री के बारे में उपयोगकर्ताओं से विभिन्न शिकायतें प्राप्त करती है और उनका उचित तरीके से जवाब देती है.

चंद्रशेखर ने जोर देकर कहा, 'भारतीय लोकतंत्र की जड़े, संविधान में निहित हैं और प्रत्येक नागरिक के लिए संवैधानिक रूप से गारंटी प्राप्त मौलिक अधिकार हैं. कोई भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म या कोई अन्य मध्यस्थ हमारे लोकतंत्र को नष्ट नहीं कर सकता है.' उन्होंने कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की धारा 69-ए के प्रावधान के तहत, सरकार भारत की संप्रभुता और अखंडता, भारत की सुरक्षा, विदेशी राज्यों या जनता के साथ मैत्रीपूर्ण संबंधों के हित में दुर्भावनापूर्ण ऑनलाइन सामग्री को ब्लॉक करती है.'

यह पूछे जाने पर कि क्या सरकार का देश में सोशल मीडिया को नियमित करने का प्रस्ताव है, चंद्रशेखर ने कहा कि नीतियों का उद्देश्य निष्पक्ष, खुला और विश्वसनीय इंटरनेट सुनिश्चित करना है.

उन्होंने कहा, 'सरकारी नीतियों का उद्देश्य मुक्त, निष्पक्ष, खुला और विश्वसनीय इंटरनेट सुनिश्चित करना है और बिचौलियों को देश में तब तक काम करने की अनुमति है जब तक वे सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) अधिनियम, 2000 और नियमों सहित लागू कानूनों का अनुपालन करते हैं.'

पढ़ें - बजट में सिख विरोधी दंगे के मुआवजे के भुगतान के लिए ₹4.5 करोड़ का प्रावधान : नकवी

चंद्रशेखर ने कहा कि इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने सूचना प्रौद्योगिकी (जनता द्वारा सूचना तक पहुंच को रोकने के लिए प्रक्रिया और सुरक्षा) नियम, 2009 में निर्दिष्ट प्रक्रिया का पालन करते हुए कुछ ऐप्स को ब्लॉक करने के लिए आईटी अधिनियम की धारा 69 ए के प्रावधानों को लागू किया है.

उन्होंने कहा कि सरकार का यह प्रयास रहा है कि देश में एक सक्षम और निवेशक-हितैषी नीतिगत माहौल तैयार किया जाए.

(पीटीआई-भाषा)

नई दिल्ली : सरकार ने बृहस्पतिवार को कहा कि देश में किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म (Social Media Platform) को ब्लॉक करने की उसकी कोई योजना नहीं है और वह नियमित रूप से ऐसे प्लेटफॉर्म की जवाबदेही और उपयोगकर्ताओं की सुरक्षा जैसे विभिन्न मुद्दों पर सोशल मीडिया कंपनियों के साथ बातचीत करती है.

इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर (Minister of State for Electronics and IT Rajiv Chandrashekhar) ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में राज्यसभा को बताया कि हालांकि कुछ उपयोगकर्ता देश के लोगों के बीच नफरत और द्वेष पैदा करने के लिए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का दुरुपयोग करते हैं, फिर भी कोई भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म या कोई अन्य मध्यस्थ भारत के लोकतंत्र (Democracy) को नष्ट नहीं कर सकता है.

उन्होंने कहा, 'फिलहाल सरकार की देश में किसी भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को ब्लॉक करने की कोई योजना नहीं है.' मंत्री ने कहा कि सरकार सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर नफरत फैलाने वाली सामग्री के बारे में उपयोगकर्ताओं से विभिन्न शिकायतें प्राप्त करती है और उनका उचित तरीके से जवाब देती है.

चंद्रशेखर ने जोर देकर कहा, 'भारतीय लोकतंत्र की जड़े, संविधान में निहित हैं और प्रत्येक नागरिक के लिए संवैधानिक रूप से गारंटी प्राप्त मौलिक अधिकार हैं. कोई भी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म या कोई अन्य मध्यस्थ हमारे लोकतंत्र को नष्ट नहीं कर सकता है.' उन्होंने कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की धारा 69-ए के प्रावधान के तहत, सरकार भारत की संप्रभुता और अखंडता, भारत की सुरक्षा, विदेशी राज्यों या जनता के साथ मैत्रीपूर्ण संबंधों के हित में दुर्भावनापूर्ण ऑनलाइन सामग्री को ब्लॉक करती है.'

यह पूछे जाने पर कि क्या सरकार का देश में सोशल मीडिया को नियमित करने का प्रस्ताव है, चंद्रशेखर ने कहा कि नीतियों का उद्देश्य निष्पक्ष, खुला और विश्वसनीय इंटरनेट सुनिश्चित करना है.

उन्होंने कहा, 'सरकारी नीतियों का उद्देश्य मुक्त, निष्पक्ष, खुला और विश्वसनीय इंटरनेट सुनिश्चित करना है और बिचौलियों को देश में तब तक काम करने की अनुमति है जब तक वे सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) अधिनियम, 2000 और नियमों सहित लागू कानूनों का अनुपालन करते हैं.'

पढ़ें - बजट में सिख विरोधी दंगे के मुआवजे के भुगतान के लिए ₹4.5 करोड़ का प्रावधान : नकवी

चंद्रशेखर ने कहा कि इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी मंत्रालय ने सूचना प्रौद्योगिकी (जनता द्वारा सूचना तक पहुंच को रोकने के लिए प्रक्रिया और सुरक्षा) नियम, 2009 में निर्दिष्ट प्रक्रिया का पालन करते हुए कुछ ऐप्स को ब्लॉक करने के लिए आईटी अधिनियम की धारा 69 ए के प्रावधानों को लागू किया है.

उन्होंने कहा कि सरकार का यह प्रयास रहा है कि देश में एक सक्षम और निवेशक-हितैषी नीतिगत माहौल तैयार किया जाए.

(पीटीआई-भाषा)

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