गोरखपुरः चीन के दो युवकों ने यूपीआई के जरिये गोरखपुर में रहने एक व्यक्ति व उसके बेटे के अकाउंट से 5 दिन में 1.52 करोड़ रुपये का लेनदेन किया है. अब तमिलनाडु, तेलंगाना, इंदौर, हैदराबाद और बेंगलुरु की पुलिस ने जांच शुरू कर दी है. इन राज्यों के शहरों की पुलिस ने गोरखपुर के गोरखनाथ राजेंद्र नगर स्थित एक्सिस बैंक को नोटिस भी दिया है.
पुलिस जल्द ही गोरखपुर आकर दोनो अकाउंट होल्डर, अकाउंट खुलवाने वाले रिश्तेदार व बैंक कर्मचारियों से पूछताछ भी करेगी. गोरखपुर पुलिस अपने स्तर से यहां दूसरी एफआईआर दर्ज नहीं करेगी और आगे की जांच भी नहीं करेगी. बस गोरखपुर पुलिस अन्य राज्यों की पुलिस का जांच में सहयोग करेगी.
मामले को लेकर गुरुवार एसपी सिटी कृष्ण कुमार विश्नोई ने बताया कि गोरखनाथ इलाके के शांतिपुरम निवासी सच्चिदानंद दुबे व उनके बेटे अखिलानन्द ने अपने रिश्तेदार सोनू मिश्रा के कहने पर गोरखनाथ के एक्सिस बैंक में दो सेविंग एकाउंट खुलवाए थे. इन दोनों के खाते से 25 अगस्त 2022 से 30 अगस्त 2022 के बीच 5 दिनों में 1.54 करोड़ रुपये का लेनदेन नेट बैंकिंग के जरिये किया गया. इसकी भनक अकाउंट होल्डरों को नहीं थी. उनके अकाउंट में दूसरा मोबाइल नंबर दर्ज कर नेट बैंकिंग की जा रही थी. साथ ही दोनो के अकाउंट से ही केरल, तमिलनाडु, तेलंगाना, मध्य प्रदेश, बेंगलुरु के करीब 1,000 से ज्यादा खातों में रुपए भेजे गए थे.
एसपी सिटी ने बताया कि सच्चिदानंद दुबे मजदूरी करते हैं. उनका साला सोनू नोएडा में कंटेंट राइटिंग का काम करता है. उसी के संपर्क में आये निकोलस व कॉइल्स नामक उसके कस्टमर ने कहा कि उन्हें दो अकाउंट की जरूरत है. इसके बाद सोनू ने अपने जीजा व भांजे आखिलानंद को एक्सिस बैंक में अकाउंट खोलने के लिए कहा और खुद ले जाकर अकाउंट खुलवाया. सोनू ने पुलिस को बताया कि निकलोस चीन का रहने वाला है और वहां की एक कंपनी में काम करता है. उधर, तमिलनाडु समेत अन्य राज्यों के शहरों में भी पहले से इस प्रकरण में केस दर्ज था.
एसपी सिटी को तमिलनाडु पुलिस ने बताया कि इनका एक गिरोह है, जो लोगों के खाते में पहले पैसे डलवाता है और फिर बाद में उनसे डबल पैसा देने का वादा कर पैसे वसूलकर फ्रॉड करता है. एसपी ने बताया कि अब गोरखपुर पुलिस मामले की जांच नही करेगी और न ही यहां पर नई एफआईआर दर्ज करेगी. बस जांच में सहयोग किया जाएगा. वहीं, एसपी में बताया कि मामले में बैंक की भी लापरवाही सामने आई है. 5 दिनों में सेविंग अकाउंट में इतनी बड़ी रकम आने पर बैंक को अलर्ट जारी करना चाहिए था.