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दिल्ली पुलिस गिरोहों और उनके आतंकी कनेक्शन से लड़ने यूपी और हरियाणा से संचार कम्युनिकेशन सिस्टम बनाए : MHA

Ministry of Home Affairs : आपराधिक गिरोहों और उनके आतंकियों के साथ संबंधों को लेकर गृह मंत्रालय ने दिल्ली पुलिस को यूपी और हरियाणा के साथ कम्युनिकेशन सिस्टम बनाने के लिए कहा है. इसी क्रम में विभिन्न राज्यों के पुलिस के अफसरों की बैठक में विचार-विमर्श किया जाता है. Delhi Police

Ministry of Home Affairs
गृह मंत्रालय
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By ETV Bharat Hindi Team

Published : Jan 16, 2024, 4:30 PM IST

नई दिल्ली: गृह मंत्रालय (MHA) ने आपराधिक गिरोहों और उनके आतंकी संबंधों से निपटने के लिए दिल्ली पुलिस से यूपी और हरियाणा के साथ जानकारी साझा करने के लिए एक संचार प्रणाली बनाने के लिए कहा है. इस बारे में गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने मंगलवार को ईटीवी भारत को बताया कि दिल्ली पुलिस और पड़ोसी राज्यों की पुलिस के बीच समय बर्बाद किए बिना जानकारी साझा करने के लिए एकीकृत संचार प्रणाली बनाई जाएगी. इसके अलावा दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल पड़ोसी राज्यों के साथ समन्वय में सुधार पर सक्रियता से विचार कर रही है. उन्होंने कहा कि अंतरराज्यीय समन्वय बैठकें नियमित रूप से आयोजित की जा रही हैं. इसमें यूपी, राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, बिहार-झारखंड, जम्मू कश्मीर और पुलिस संगठनों के वरिष्ठ अधिकारी भाग लेते हैं.

बता दें कि दिल्ली पुलिस के विभिन्न जिले हरियाणा और उत्तर प्रदेश के साथ अपनी सीमाएं साझा करते हैं. इस वजह से अपराध और आपराधिक डेटा को बेहतर ढंग से साझा करने और पैटर्न का विश्लेषण करने के लिए बीट स्टाफ, एसएचओ, एसीएसपी और सब डिवीजन और जिला पुलिस प्रमुख के स्तर पर सीमावर्ती जिलों की अंतर राज्य समन्वय बैठकें समय-समय पर आयोजित की जाती हैं.

अधिकारी ने बताया कि इस तरह की बैठकों के जरिए अपराध और अपराधियों की रोकथाम और पता लगाने के लिए विभिन्न विचारों और तरीकों को साझा किया जाता है. इसके अलावा अपराध और अपराधियों से संबंधित डेटा के त्वरित आदान-प्रदान के लिए पुलिस अधिकारियों के स्तर पर व्हाट्सएप ग्रुप बनाने की भी प्रैक्टिस किया जा रहा है. गृह मंत्रालय की यह भी राय है कि दिल्ली के पड़ोसी राज्यों की पुलिस जांच, फोरेंसिक समेत साक्ष्यों के संग्रह, पुलिसिंग में प्रौद्योगिकी के उपयोग, कर्मियों के प्रशिक्षण आदि के संबंध में अपनी सर्वोत्तम प्रथाओं और पहलों को साझा कर सकती है. अधिकारी ने कहा कि एक बार प्रक्रिया शुरू होने के बाद गैंगस्टरों और आतंकवादी संगठनों के खिलाफ एक समन्वित दृष्टिकोण और कार्रवाई होगी.

यह घटनाक्रम इस तथ्य के बाद महत्वपूर्ण हो गया है कि गैंगस्टर अपने आतंकी कनेक्शन के साथ दिल्ली, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और एनसीआर के विभिन्न स्थानों में बड़े पैमाने पर गतिविधियां चला रहे हैं. आतंकवाद रोधी एजेंसी एनआईए ऐसे गिरोह के सरगनाओं को पकड़ने के लिए समय-समय पर एनसीआर में छापेमारी और तलाशी अभियान चलाती रहती है. पिछले दो महीनों में एक दर्जन से अधिक गैंगस्टरों और उनके समर्थकों को राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने गिरफ्तार किया है. हाल ही में संपन्न डीजीपी और आईजीपी सम्मेलन में, गृह मंत्री अमित शाह ने दिल्ली, यूपी और हरियाणा के पुलिस शीर्ष अधिकारियों से गैंगस्टरों और आतंकवादी संगठनों के साथ उनके संबंधों को खत्म करने के लिए समन्वित तरीके से काम करने को कहा है.

ये भी पढ़ें - ईडी के दलों पर हुए हमले को लेकर गृह मंत्रालय ने पश्चिम बंगाल सरकार से रिपोर्ट मांगी

नई दिल्ली: गृह मंत्रालय (MHA) ने आपराधिक गिरोहों और उनके आतंकी संबंधों से निपटने के लिए दिल्ली पुलिस से यूपी और हरियाणा के साथ जानकारी साझा करने के लिए एक संचार प्रणाली बनाने के लिए कहा है. इस बारे में गृह मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने मंगलवार को ईटीवी भारत को बताया कि दिल्ली पुलिस और पड़ोसी राज्यों की पुलिस के बीच समय बर्बाद किए बिना जानकारी साझा करने के लिए एकीकृत संचार प्रणाली बनाई जाएगी. इसके अलावा दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल पड़ोसी राज्यों के साथ समन्वय में सुधार पर सक्रियता से विचार कर रही है. उन्होंने कहा कि अंतरराज्यीय समन्वय बैठकें नियमित रूप से आयोजित की जा रही हैं. इसमें यूपी, राजस्थान, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, बिहार-झारखंड, जम्मू कश्मीर और पुलिस संगठनों के वरिष्ठ अधिकारी भाग लेते हैं.

बता दें कि दिल्ली पुलिस के विभिन्न जिले हरियाणा और उत्तर प्रदेश के साथ अपनी सीमाएं साझा करते हैं. इस वजह से अपराध और आपराधिक डेटा को बेहतर ढंग से साझा करने और पैटर्न का विश्लेषण करने के लिए बीट स्टाफ, एसएचओ, एसीएसपी और सब डिवीजन और जिला पुलिस प्रमुख के स्तर पर सीमावर्ती जिलों की अंतर राज्य समन्वय बैठकें समय-समय पर आयोजित की जाती हैं.

अधिकारी ने बताया कि इस तरह की बैठकों के जरिए अपराध और अपराधियों की रोकथाम और पता लगाने के लिए विभिन्न विचारों और तरीकों को साझा किया जाता है. इसके अलावा अपराध और अपराधियों से संबंधित डेटा के त्वरित आदान-प्रदान के लिए पुलिस अधिकारियों के स्तर पर व्हाट्सएप ग्रुप बनाने की भी प्रैक्टिस किया जा रहा है. गृह मंत्रालय की यह भी राय है कि दिल्ली के पड़ोसी राज्यों की पुलिस जांच, फोरेंसिक समेत साक्ष्यों के संग्रह, पुलिसिंग में प्रौद्योगिकी के उपयोग, कर्मियों के प्रशिक्षण आदि के संबंध में अपनी सर्वोत्तम प्रथाओं और पहलों को साझा कर सकती है. अधिकारी ने कहा कि एक बार प्रक्रिया शुरू होने के बाद गैंगस्टरों और आतंकवादी संगठनों के खिलाफ एक समन्वित दृष्टिकोण और कार्रवाई होगी.

यह घटनाक्रम इस तथ्य के बाद महत्वपूर्ण हो गया है कि गैंगस्टर अपने आतंकी कनेक्शन के साथ दिल्ली, उत्तर प्रदेश, हरियाणा और एनसीआर के विभिन्न स्थानों में बड़े पैमाने पर गतिविधियां चला रहे हैं. आतंकवाद रोधी एजेंसी एनआईए ऐसे गिरोह के सरगनाओं को पकड़ने के लिए समय-समय पर एनसीआर में छापेमारी और तलाशी अभियान चलाती रहती है. पिछले दो महीनों में एक दर्जन से अधिक गैंगस्टरों और उनके समर्थकों को राष्ट्रीय जांच एजेंसी ने गिरफ्तार किया है. हाल ही में संपन्न डीजीपी और आईजीपी सम्मेलन में, गृह मंत्री अमित शाह ने दिल्ली, यूपी और हरियाणा के पुलिस शीर्ष अधिकारियों से गैंगस्टरों और आतंकवादी संगठनों के साथ उनके संबंधों को खत्म करने के लिए समन्वित तरीके से काम करने को कहा है.

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