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कोरोना की तीसरी लहर बच्चों को ज्यादा प्रभावित कर सकती है : स्वास्थ्य विशेषज्ञ

गृह मंत्रालय द्वारा गठित एक विशेषज्ञ पैनल ने पीएमओ को सौंपी एक रिपोर्ट में ऐसे बच्चों का टीकाकरण करने की आवश्यकता पर जोर दिया है, जो पहले से किसी न किसी बीमारी से जूझ रहे हैं. पैनल से आशंका जताई है कि कोविड-19 महामारी की तीसरी लहर अक्टूबर में आ सकती है.

कोरोना की तीसरी लहर
कोरोना की तीसरी लहर
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Published : Aug 23, 2021, 10:20 PM IST

नई दिल्ली : केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने सोमवार को केरल, तमिलनाडु, महाराष्ट्र और सभी पूर्वोत्तर राज्यों से कोविड-19 की स्थिति को नियंत्रित करने के लिए आवश्यक कदम उठाने को कहा. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई समीक्षा बैठक में, भूषण ने राज्यों के प्रतिनिधियों के साथ कोरोना से निपटने के लिए उनकी रणनीति का अवलोकन किया.

स्वास्थ्य मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, पिछले 24 घंटों में केरल में कोरोना के 13,383 नए मामले और तमिलनाडु में 1,604 नए मामले दर्ज किए गए. वहीं, भारत में सोमवार को एक दिन में सबसे कम 25,072 मामले दर्ज किए गए. वहीं, उपचाराधीन मामले घटकर 3,33,924 रह गए हैं.

इस बीच, गृह मंत्रालय द्वारा गठित एक विशेषज्ञ पैनल ने पीएमओ को सौंपी एक रिपोर्ट में ऐसे बच्चों का टीकाकरण करने की आवश्यकता पर जोर दिया है, जो पहले से किसी न किसी बीमारी से जूझ रहे हैं.

गृह मंत्रालय के पैनल में डॉ. अनुराग अग्रवाल, डॉ. नवीन ठाकर, डॉ. गगनदीप कांग, डॉ. चंद्रकांत लाहिया और डॉ. सौम्या स्वामीनाथन शामिल हैं. इस पैनल से आशंका जताई है कि कोविड-19 महामारी की तीसरी लहर अक्टूबर में आ सकती है.

'तीसरी लहर की तैयारी: बच्चों की भेद्यता और पुनर्प्राप्ति' (Third Wave Preparedness: Children Vulnerability and Recovery) शीर्षक वाली पैनल की रिपोर्ट में संभावित तीसरी लहर और महामारी से लड़ने की तैयारियों के संदर्भ में बच्चों पर प्रकाश डाला गया है.

रिपोर्ट में कोविड-19 वायरस (SARS-CoV-2 virus) के विभिन्न प्रकारों के अनुक्रमण पर भी प्रकाश डाला गया है. इसी पैनल ने महामारी की दूसरी लहर की भी आशंका जताई थी, जिसमें कोरोना के डेल्टा वेरिएंट के सबसे ज्यादा मामले सामने आ रहे थे.

गृह मंत्रालय के पैनल की रिपोर्ट के बारे में बात करते हुए, वरिष्ठ स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉ सुनीला गर्ग ने ईटीवी भारत को बताया कि कोरोना की तीसरी लहर ज्यादातर बच्चों को प्रभावित कर सकती है. हालांकि, इस तथ्य के बाद संक्रमण की गंभीरता कम हो सकती है कि बच्चों में मजबूत प्रतिरक्षा है.

यह भी पढ़ें- केरल: सितंबर तक चार लाख पहुंच सकते हैं कोरोना के एक्टिव मामले

डॉ. गर्ग ने कहा कि प्राकृतिक रूप से संक्रमित होने के बाद बड़ी संख्या में बच्चों में सीरो पॉजिटिविटी भी हो सकती है. उन्होंने कहा कि कोविड महामारी की तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए, सरकार ने भी स्थिति को नियंत्रित करने के लिए खुद को तैयार किया है.

नई दिल्ली : केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने सोमवार को केरल, तमिलनाडु, महाराष्ट्र और सभी पूर्वोत्तर राज्यों से कोविड-19 की स्थिति को नियंत्रित करने के लिए आवश्यक कदम उठाने को कहा. वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए हुई समीक्षा बैठक में, भूषण ने राज्यों के प्रतिनिधियों के साथ कोरोना से निपटने के लिए उनकी रणनीति का अवलोकन किया.

स्वास्थ्य मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, पिछले 24 घंटों में केरल में कोरोना के 13,383 नए मामले और तमिलनाडु में 1,604 नए मामले दर्ज किए गए. वहीं, भारत में सोमवार को एक दिन में सबसे कम 25,072 मामले दर्ज किए गए. वहीं, उपचाराधीन मामले घटकर 3,33,924 रह गए हैं.

इस बीच, गृह मंत्रालय द्वारा गठित एक विशेषज्ञ पैनल ने पीएमओ को सौंपी एक रिपोर्ट में ऐसे बच्चों का टीकाकरण करने की आवश्यकता पर जोर दिया है, जो पहले से किसी न किसी बीमारी से जूझ रहे हैं.

गृह मंत्रालय के पैनल में डॉ. अनुराग अग्रवाल, डॉ. नवीन ठाकर, डॉ. गगनदीप कांग, डॉ. चंद्रकांत लाहिया और डॉ. सौम्या स्वामीनाथन शामिल हैं. इस पैनल से आशंका जताई है कि कोविड-19 महामारी की तीसरी लहर अक्टूबर में आ सकती है.

'तीसरी लहर की तैयारी: बच्चों की भेद्यता और पुनर्प्राप्ति' (Third Wave Preparedness: Children Vulnerability and Recovery) शीर्षक वाली पैनल की रिपोर्ट में संभावित तीसरी लहर और महामारी से लड़ने की तैयारियों के संदर्भ में बच्चों पर प्रकाश डाला गया है.

रिपोर्ट में कोविड-19 वायरस (SARS-CoV-2 virus) के विभिन्न प्रकारों के अनुक्रमण पर भी प्रकाश डाला गया है. इसी पैनल ने महामारी की दूसरी लहर की भी आशंका जताई थी, जिसमें कोरोना के डेल्टा वेरिएंट के सबसे ज्यादा मामले सामने आ रहे थे.

गृह मंत्रालय के पैनल की रिपोर्ट के बारे में बात करते हुए, वरिष्ठ स्वास्थ्य विशेषज्ञ डॉ सुनीला गर्ग ने ईटीवी भारत को बताया कि कोरोना की तीसरी लहर ज्यादातर बच्चों को प्रभावित कर सकती है. हालांकि, इस तथ्य के बाद संक्रमण की गंभीरता कम हो सकती है कि बच्चों में मजबूत प्रतिरक्षा है.

यह भी पढ़ें- केरल: सितंबर तक चार लाख पहुंच सकते हैं कोरोना के एक्टिव मामले

डॉ. गर्ग ने कहा कि प्राकृतिक रूप से संक्रमित होने के बाद बड़ी संख्या में बच्चों में सीरो पॉजिटिविटी भी हो सकती है. उन्होंने कहा कि कोविड महामारी की तीसरी लहर की आशंका को देखते हुए, सरकार ने भी स्थिति को नियंत्रित करने के लिए खुद को तैयार किया है.

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