रायपुर : केंद्र सरकार के सेंट्रल विस्टा परियोजना की आलोचनाओं और भाजपा के राष्ट्रीय अधयक्ष जे पी नड्डा के आरोपों के बीच छत्तीसगढ़ सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. नए विधानसभा भवन के लिए जारी निविदाएं निरस्त कर दी गई हैं.
नवा रायपुर में निर्माणाधीन नए राजभवन, विधानसभा भवन, सीएम हाउस, मंत्रियों और वरिष्ठ अधिकारियों के आवास, नए सर्किट हाउस के निर्माण कार्यों में तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी गई है. इन कार्यों का भूमिपूजन 25 नवंबर 2019 को किया गया था.
कोरोना संक्रमण की वजह से राज्य में उत्पन्न परिस्थितियों को देखते हुए छत्तीसगढ़ शासन ने खर्चे रोकने के लिए कड़े कदम उठाने का निर्णय लिया है. छत्तीसगढ़ सरकार ने बीते 26 अप्रैल को सभी विभागों को निर्देश दिए हैं कि पिछले वर्ष की तरह ही वित्तीय वर्ष 2021-22 में भी मितव्ययिता बरती जाए. अब मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देश पर नवा रायपुर में चल रहे प्रमुख निर्माण कार्यों पर तत्काल प्रभाव से रोक लगा दी गई है.
विधानसभा भवन निर्माण की निविदाएं निरस्त
लोक निर्माण विभाग के प्रमुख अभियंता द्वारा नवा रायपुर में निर्माणाधीन नए राजभवन, नए सीएम हाउस, मंत्रियों और वरिष्ठ अधिकारियों के आवास, नए सर्किट हाउस के निर्माण कार्यों में तत्काल प्रभाव से रोक के लिए संबंधित ठेकेदारों को आदेश जारी किया गया है. इसके साथ ही सेक्टर-19 में नवीन विधानसभा भवन के निर्माण के लिए 245 करोड़ 16 लाख और 118 करोड़ के कार्यों की पूर्व में जारी निविदाओं को तत्काल प्रभाव से निरस्त कर दिया गया है.
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जे पी नड्डा ने लगाए थे आरोप
कांग्रेस की ओर से सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट को लेकर विरोध के बाद भाजपा राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार पर आरोप लगाए थे. भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी को पत्र लिखकर छत्तीसगढ़ सरकार पर हमला बोला था. नड्डा ने लिखा कि एक तरफ तो कांग्रेस सेंट्रल विस्टा प्रोजेक्ट का विरोध कर रही है, वहीं दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ की कांग्रेस सरकार करोड़ों रुपए से नए विधानसभा का भवन बनवा रही है.