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राजस्थान : मासूम से दुष्कर्म के मामले में POCSO कोर्ट सुनाएगी सिर्फ छह दिन में फैसला

पॉक्सो कोर्ट ने ऐसी मिसाल पेश की है, जिससे ना केवल अपराधियो में खौफ होगा. बल्कि, आमजन में भी न्याय को लेकर विश्वास बढ़ेगा. दुष्कर्म के मामले में राजस्थान के चूरू जिला पुलिस ने अहम रोल निभाते हुए मामला दर्ज होने के 6 दिनों के अंदर ही चालान पेश किया और अब मंगलवार को इस मामले में फैसला सुनाया जाएगा. जानें विस्तार से

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पास्को कोर्ट चूरू
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Published : Dec 17, 2019, 12:05 AM IST

जयपुर : राजस्थान के चूरू जिले के एक गांव में 30 नवंबर को घर के बाहर खेल रही चार साल की मासूम के साथ हुए दुष्कर्म मामले में पॉक्सो (Pocso) कोर्ट 6 दिनों में ही अपना फैसला सुनाने जा रही है. इस मामले को गंभीर मानते हुए चूरू जिला पुलिस ने भी अपना अहम रोल निभाते हुए मामला दर्ज होने के 6 दिनों में ही चालान पेश किया था.

पॉक्सो कोर्ट के न्यायाधीश राजेंद्र कुमार सैनी ने 9 दिसंबर को हुई बहस के बाद रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए थे. जिसके बाद सोमवार को मुलजिम के बयान को लेकर बहस सुनी गई. वहीं, अब मंगलवार यानी 17 दिसंबर को इस मामले में फैसला सुनाया जाएगा. 14 और 15 दिसंबर को शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण चार्ज पर बहस के बाद छः कार्य दिवस में यह कार्रवाई हुई है.

बता दें कि चूरू जिले के भानीपुरा थाना अंतर्गत एक गांव के दरिंदे दयाराम ने 30 नवंबर को गांव की ही एक चार साल की बच्ची को खिलौना देने के बहाने सुनसान जगह ले जाकर दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया, जिसके बाद मासूम के दादा की रिपोर्ट पर भानीपुरा थाना पुलिस ने एक दिसंबर को मामला दर्ज कर मासूम का राजकीय भर्तिया अस्पताल में चार चिकित्सकों का बोर्ड गठित कर मेडिकल करवाया, जहां मेडिकल और FSL रिपोर्ट में बालिका के साथ दुष्कर्म की पुष्टि हुई.

दुष्कर्म के मामले में पॉक्सो कोर्ट सुनाएगी 6 दिन में फैसला

भानीपुरा पुलिस ने आरोपी दयाराम को एक दिसंबर को ही गिरफ्तार कर लिया और जांच के बाद 6 दिन में 7 दिसंबर को कोर्ट में चालान पेश किया. वहीं, शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण 9 दिसंबर को कोर्ट में चार्ज पर बहस हुई.

ये भी पढ़ें-उन्नाव रेप केस : विधायक कुलदीप सिंह सेंगर दोषी करार, कल सजा पर बहस

इस दौरान कोर्ट ने प्रथम दृष्टया आरोपी पर धारा 376 और पॉक्सो का मामला माना और रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए. जिसके तहत 9 दिसंबर से 13 दिसंबर तक पॉक्सो कोर्ट में 15 गवाहों के साक्ष्य हुए और 16 दिसंबर को मुलजिम के बयान को लेकर बहस सुनी गई.

जयपुर : राजस्थान के चूरू जिले के एक गांव में 30 नवंबर को घर के बाहर खेल रही चार साल की मासूम के साथ हुए दुष्कर्म मामले में पॉक्सो (Pocso) कोर्ट 6 दिनों में ही अपना फैसला सुनाने जा रही है. इस मामले को गंभीर मानते हुए चूरू जिला पुलिस ने भी अपना अहम रोल निभाते हुए मामला दर्ज होने के 6 दिनों में ही चालान पेश किया था.

पॉक्सो कोर्ट के न्यायाधीश राजेंद्र कुमार सैनी ने 9 दिसंबर को हुई बहस के बाद रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए थे. जिसके बाद सोमवार को मुलजिम के बयान को लेकर बहस सुनी गई. वहीं, अब मंगलवार यानी 17 दिसंबर को इस मामले में फैसला सुनाया जाएगा. 14 और 15 दिसंबर को शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण चार्ज पर बहस के बाद छः कार्य दिवस में यह कार्रवाई हुई है.

बता दें कि चूरू जिले के भानीपुरा थाना अंतर्गत एक गांव के दरिंदे दयाराम ने 30 नवंबर को गांव की ही एक चार साल की बच्ची को खिलौना देने के बहाने सुनसान जगह ले जाकर दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया, जिसके बाद मासूम के दादा की रिपोर्ट पर भानीपुरा थाना पुलिस ने एक दिसंबर को मामला दर्ज कर मासूम का राजकीय भर्तिया अस्पताल में चार चिकित्सकों का बोर्ड गठित कर मेडिकल करवाया, जहां मेडिकल और FSL रिपोर्ट में बालिका के साथ दुष्कर्म की पुष्टि हुई.

दुष्कर्म के मामले में पॉक्सो कोर्ट सुनाएगी 6 दिन में फैसला

भानीपुरा पुलिस ने आरोपी दयाराम को एक दिसंबर को ही गिरफ्तार कर लिया और जांच के बाद 6 दिन में 7 दिसंबर को कोर्ट में चालान पेश किया. वहीं, शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण 9 दिसंबर को कोर्ट में चार्ज पर बहस हुई.

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इस दौरान कोर्ट ने प्रथम दृष्टया आरोपी पर धारा 376 और पॉक्सो का मामला माना और रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए. जिसके तहत 9 दिसंबर से 13 दिसंबर तक पॉक्सो कोर्ट में 15 गवाहों के साक्ष्य हुए और 16 दिसंबर को मुलजिम के बयान को लेकर बहस सुनी गई.

Intro:चूरू_पोक्सो कोर्ट ने ऐसी अनुकरणीय नजीर पेश की है जिससे ना केवल अपराधियो में ख़ौफ़ होगा अपितु आमजन में भी न्याय को लेकर विश्वास बढ़ेगा. चूरू जिले के गांव में 30 नवम्बर को घर के बाहर खेल रही चार साल की मासूम बच्ची के साथ हुए दुष्कर्म मामले में पोक्सो कोर्ट 6 दिनों में ही अपना फैसला सुनाने जा रही है।


Body:इस मामले को गम्भीर मानते हुए चूरू जिला पुलिस ने भी अपना अहम रोल निभाते हुए मामला दर्ज होने के 6 दिनों में ही चालान पेश किया था पोक्सो कोर्ट के न्यायाधीश राजेंद्र कुमार सैनी ने 9 दिसंबर को हुई चार्ज बहस के बाद रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए थे जिसके बाद आज 16 दिसंबर को बयान मुलजिम लेकर बहस सुनी गई. अब 17 दिसंबर मंगलवार को इस मामले में फैसला सुनाया जाएगा 14 और 15 दिसंबर को शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण चार्ज बहस के बाद छः कार्यदिवस में यह कार्यवाही हुई है।


Conclusion:आपको बता दें कि चूरू जिले के भानीपुरा थाना अंतर्गत गांव के दरिंदे दयाराम ने 30 नवम्बर को चार साल की बच्ची को खिलौना देने के बहाने सुनसान जगह ले जाकर दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया.मासूम के दादा की रिपोर्ट पर भानीपुरा थाना पुलिस ने एक दिसम्बर को मामला दर्ज कर मासूम का राजकीय भर्तिया अस्पताल में चार चिकित्सको का बोर्ड गठित कर मेडिकल करवाया मेडिकल और एफएसल रिपोर्ट में बालिका के साथ दुष्कर्म की पुष्टि हुई है.भानीपुरा पुलिस ने आरोपी दयाराम को एक दिसम्बर को ही गिरफ्तार कर लिया और जांच के बाद छः दिन में सात दिसम्बर को कोर्ट में चालान पेश किया शनिवार और रविवार का अवकाश होने के कारण 9 दिसम्बर को कोर्ट में चार्ज बहस हुई इस दौरान कोर्ट ने प्रथम दृष्टया आरोपी पर धारा 376 और पोक्सो का मामला माना और रोजाना सुनवाई के आदेश जारी किए 9 दिसंबर से 13 दिसंबर तक पोक्सो कोर्ट में 15 गवाहों के साक्ष्य हुए और 16 दिसंबर को बयान मुलजिम लेकर बहस सुनी गई

बाईट_वरुण सैनी,विशिष्ठ लोक अभियोजक पोक्सो कोर्ट चूरू
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