किसानों के साथ एक संक्षिप्त प्रदर्शन के बाद सभी नेता-सांसद गाजीपुर से वापस लौट गए.
कृषि कानून गतिरोध : आंदोलन के 72वें दिन विपक्षी दलों के नेता गाजीपुर बॉर्डर पहुंचे - samyukt kisan morcha
12:46 February 04
12:21 February 04
गाजीपुर बॉर्डर पर तख्तियों के साथ नेताओं का संक्षिप्त प्रदर्शन, वापस लौटे नेता
12:16 February 04
कीलों को दोबारा व्यवस्थित कर रही है पुलिस
गाजीपुर बॉर्डर पर मौजूद ईटीवी भारत संवाददाता ने बताया कि बुधवार को किसान आंदोलन में शामिल कुछ लोगों ने कथित तौर से पुलिस-प्रशासन द्वारा लगाई गईं कीलों को मोड़ दिया. इस कारण आज प्रशासनिक अमले को इन कीलों को हटाते देखा गया.
इस मामले में दिल्ली पुलिस ने स्पष्ट किया है कि वीडियो और तस्वीरें प्रसारित हो रही हैं जिसमें यह दिखाया गया है कि गाज़ीपुर से कीलें हटाई जा रही हैं. पुलिस ने कहा है कि ये सिर्फ दोबारा व्यवस्थित किए जा रहे हैं. सीमा पर की गई व्यवस्था पहले जैसी बनी हुई है.
12:11 February 04
मार्ग में अवरोधक के रूप में लगाईं गई कीलें हटाईं गईं
गणतंत्र दिवस के दिन ट्रैक्टर परेड में हुए उत्पात के बाद किसान आंदोलन पर कई सवाल खड़े हुए. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इसी के मद्देनजर गाजीपुर बॉर्डर पर आक्रोशित प्रदर्शनकारियों से निबटने के लिए सड़कों पर कीलें लगाईं गईं थीं. हालांकि, आज उन कीलों को निकाल लिया गया.
10:10 February 04
गाजीपुर बॉर्डर पहुंचीं हरसिमरत कौर बादल
गाजीपुर बॉर्डर पहुंचीं हरसिमरत कौर बादल ने कहा कि तीन किलोमीटर तक बैरिकेडिंग की गई है. उन्होंने बताया कि जनता के चुने हुए सांसदों को भी रोकने के लिए भी प्रशासन तैयार है. उन्होंने कहा कि किसान बस एक ही मांग कर रहा है कि कानूनों को रद्द करें. हम संसद में चर्चा चाहते हैं, लेकिन वहां भी ऐसा नहीं हो रहा है. हरसिमरत ने कहा, जिस तरह के हालात बॉर्डर पर बनाए गए हैं यह जेल से भी बदतर हैं, उन्होंने पूछा कि इस हालात में लोकतंत्र कहां है ?
09:59 February 04
किसान आंदोलन लाइव
नई दिल्ली : केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ गतिरोध का आज 72वां दिन है. पिछले दो महीने से अधिक समय से आंदोलन कर रहे किसानों ने केंद्र सरकार से इन कानूनों को बिना शर्त रद्द करने की मांग की है. इन किसानों के समर्थन में राजनीतिक दल भी सामने आए हैं.
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से लगती हरियाणा और उत्तर प्रदेश की सीमा- सिंघु, टिकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर हजारों किसान धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं. ताजा घटनाक्रम में गुरुवार को कई विपक्षी नेता-सांसद इन किसान नेताओं से मिलने गाजीपुर बॉर्डर पहुंचे हैं.
इन नेताओं में तृणमूल सांसद सौगत रॉय, तमिलनाडु से आने वालीं कनिमोझी, महाराष्ट्र की सुप्रिया सुले और पंजाब से आने वालीं हरसिमरत कौपर बादल जैसी हस्तियां शामिल हैं. बता दें कि बादल केंद्र सरकार में मंत्री भी रह चुकी हैं, लेकिन उन्होंने इन कानूनों के विरोध में मंत्री पद से इस्तीफा दे देकर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) से अपने रास्ते अलग कर लिए हैं.
12:46 February 04
12:21 February 04
गाजीपुर बॉर्डर पर तख्तियों के साथ नेताओं का संक्षिप्त प्रदर्शन, वापस लौटे नेता
किसानों के साथ एक संक्षिप्त प्रदर्शन के बाद सभी नेता-सांसद गाजीपुर से वापस लौट गए.
12:16 February 04
कीलों को दोबारा व्यवस्थित कर रही है पुलिस
गाजीपुर बॉर्डर पर मौजूद ईटीवी भारत संवाददाता ने बताया कि बुधवार को किसान आंदोलन में शामिल कुछ लोगों ने कथित तौर से पुलिस-प्रशासन द्वारा लगाई गईं कीलों को मोड़ दिया. इस कारण आज प्रशासनिक अमले को इन कीलों को हटाते देखा गया.
इस मामले में दिल्ली पुलिस ने स्पष्ट किया है कि वीडियो और तस्वीरें प्रसारित हो रही हैं जिसमें यह दिखाया गया है कि गाज़ीपुर से कीलें हटाई जा रही हैं. पुलिस ने कहा है कि ये सिर्फ दोबारा व्यवस्थित किए जा रहे हैं. सीमा पर की गई व्यवस्था पहले जैसी बनी हुई है.
12:11 February 04
मार्ग में अवरोधक के रूप में लगाईं गई कीलें हटाईं गईं
गणतंत्र दिवस के दिन ट्रैक्टर परेड में हुए उत्पात के बाद किसान आंदोलन पर कई सवाल खड़े हुए. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इसी के मद्देनजर गाजीपुर बॉर्डर पर आक्रोशित प्रदर्शनकारियों से निबटने के लिए सड़कों पर कीलें लगाईं गईं थीं. हालांकि, आज उन कीलों को निकाल लिया गया.
10:10 February 04
गाजीपुर बॉर्डर पहुंचीं हरसिमरत कौर बादल
गाजीपुर बॉर्डर पहुंचीं हरसिमरत कौर बादल ने कहा कि तीन किलोमीटर तक बैरिकेडिंग की गई है. उन्होंने बताया कि जनता के चुने हुए सांसदों को भी रोकने के लिए भी प्रशासन तैयार है. उन्होंने कहा कि किसान बस एक ही मांग कर रहा है कि कानूनों को रद्द करें. हम संसद में चर्चा चाहते हैं, लेकिन वहां भी ऐसा नहीं हो रहा है. हरसिमरत ने कहा, जिस तरह के हालात बॉर्डर पर बनाए गए हैं यह जेल से भी बदतर हैं, उन्होंने पूछा कि इस हालात में लोकतंत्र कहां है ?
09:59 February 04
किसान आंदोलन लाइव
नई दिल्ली : केंद्र सरकार के कृषि कानूनों के खिलाफ गतिरोध का आज 72वां दिन है. पिछले दो महीने से अधिक समय से आंदोलन कर रहे किसानों ने केंद्र सरकार से इन कानूनों को बिना शर्त रद्द करने की मांग की है. इन किसानों के समर्थन में राजनीतिक दल भी सामने आए हैं.
राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली से लगती हरियाणा और उत्तर प्रदेश की सीमा- सिंघु, टिकरी और गाजीपुर बॉर्डर पर हजारों किसान धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं. ताजा घटनाक्रम में गुरुवार को कई विपक्षी नेता-सांसद इन किसान नेताओं से मिलने गाजीपुर बॉर्डर पहुंचे हैं.
इन नेताओं में तृणमूल सांसद सौगत रॉय, तमिलनाडु से आने वालीं कनिमोझी, महाराष्ट्र की सुप्रिया सुले और पंजाब से आने वालीं हरसिमरत कौपर बादल जैसी हस्तियां शामिल हैं. बता दें कि बादल केंद्र सरकार में मंत्री भी रह चुकी हैं, लेकिन उन्होंने इन कानूनों के विरोध में मंत्री पद से इस्तीफा दे देकर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) से अपने रास्ते अलग कर लिए हैं.