नई दिल्ली : रेलवे ने एक मई से अब तक 602 'श्रमिक स्पेशल ट्रेन' चलाई हैं और लॉकडाउन के कारण देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे लगभग सात लाख प्रवासियों को उनके घर पहुंचाया है.
केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से सोमवार को जारी एक वक्तव्य में कहा गया कि श्रमिकों को तेजी से घर पहुंचाने के वास्ते रेलवे अब प्रतिदिन सौ श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाएगा.
शाम चार बजे तक चलाई गईं 575 ट्रेनों में से 463 अपने गंतव्य पर पहुंच गई हैं और 112 रास्ते में हैं.
इन ट्रेनों द्वारा प्रवासियों को तिरुचिरापल्ली, टिटलागढ़, बरौनी, खंडवा, जगन्नाथपुर, खुर्दा रोड, प्रयागराज, छपरा, बलिया, गया, पूर्णिया, वाराणसी, दरभंगा, गोरखपुर, लखनऊ, जौनपुर, हटिया, बस्ती, कटिहार, दानापुर, मुजफ्फरपुर, सहरसा इत्यादि शहरों तक पहुंचाया गया.
ट्रेन पर चढ़ने से पहले यात्रियों की पूरी जांच की गई. यात्रा के दौरान यात्रियों को मुफ्त भोजन और पानी दिया गया.
शुरुआत में किसी भी स्टेशन पर इन ट्रेनों के रुकने की योजना नहीं थी लेकिन सोमवार को रेलवे ने घोषणा की कि गंतव्य राज्यों में अधिकतम तीन स्टेशनों पर रुकने की अनुमति दी जाएगी.
अधिकारियों ने कहा कि इस संबंध में राज्य सरकारों के अनुरोध पर यह निर्णय लिया गया.
अब तक 602 श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाई गईं, साढ़े सात लाख प्रवासी घर पहुंचे - लॉकडाउन में मजदूर
कोरोना महामारी के कारण लॉकडाउन में फंसे प्रवासी श्रमिकों को घर भेजने के लिए श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाई जा रही है. अब तक सात लाख प्रवासी मजदूरों को घर भेजा जा चुका है. रेलवे का कहना है कि मई से अब तक 602 'श्रमिक स्पेशल' ट्रेन चलाई हैं.
नई दिल्ली : रेलवे ने एक मई से अब तक 602 'श्रमिक स्पेशल ट्रेन' चलाई हैं और लॉकडाउन के कारण देश के विभिन्न हिस्सों में फंसे लगभग सात लाख प्रवासियों को उनके घर पहुंचाया है.
केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से सोमवार को जारी एक वक्तव्य में कहा गया कि श्रमिकों को तेजी से घर पहुंचाने के वास्ते रेलवे अब प्रतिदिन सौ श्रमिक स्पेशल ट्रेन चलाएगा.
शाम चार बजे तक चलाई गईं 575 ट्रेनों में से 463 अपने गंतव्य पर पहुंच गई हैं और 112 रास्ते में हैं.
इन ट्रेनों द्वारा प्रवासियों को तिरुचिरापल्ली, टिटलागढ़, बरौनी, खंडवा, जगन्नाथपुर, खुर्दा रोड, प्रयागराज, छपरा, बलिया, गया, पूर्णिया, वाराणसी, दरभंगा, गोरखपुर, लखनऊ, जौनपुर, हटिया, बस्ती, कटिहार, दानापुर, मुजफ्फरपुर, सहरसा इत्यादि शहरों तक पहुंचाया गया.
ट्रेन पर चढ़ने से पहले यात्रियों की पूरी जांच की गई. यात्रा के दौरान यात्रियों को मुफ्त भोजन और पानी दिया गया.
शुरुआत में किसी भी स्टेशन पर इन ट्रेनों के रुकने की योजना नहीं थी लेकिन सोमवार को रेलवे ने घोषणा की कि गंतव्य राज्यों में अधिकतम तीन स्टेशनों पर रुकने की अनुमति दी जाएगी.
अधिकारियों ने कहा कि इस संबंध में राज्य सरकारों के अनुरोध पर यह निर्णय लिया गया.