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गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश में बारिश संबंधित हादसों में एक दिन में 18 लोगों की मौत - rain in india

महाराष्ट्र, गुजरात और मध्य प्रदेश में वर्षा के कारण हुए हादसों में छह बच्चों समेत कम से कम 18 लोगों की मौत हो गई. अधिकारियों के मुताबिक हजारों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया. मुंबई और उसके उपनगरों में मंगलवार सुबह भारी बारिश हुई.

गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश में बारिश संबंधित हादसों में एक दिन में 18 लोगों की मौत
गुजरात, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश में बारिश संबंधित हादसों में एक दिन में 18 लोगों की मौत
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Published : Jul 13, 2022, 9:28 AM IST

Updated : Jul 13, 2022, 2:02 PM IST

नई दिल्ली : महाराष्ट्र, गुजरात और मध्य प्रदेश में वर्षा के कारण हुए हादसों में छह बच्चों समेत कम से कम 18 लोगों की मौत हो गई. अधिकारियों के मुताबिक हजारों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया. मुंबई और उसके उपनगरों में मंगलवार सुबह भारी बारिश हुई. कुछ ही घटों में शहर के कई हिस्सों में बाढ़ आ गई. कुछ स्थानों पर यातायात बाधित हो गया. पूर्वी राजस्थान में कहीं-कहीं भारी बारिश हुई, जबकि राज्य के कुछ अन्य हिस्सों में हल्की से मामूली बारिश हुई. राज्य में सबसे अधिक आठ सेंटीमीटर बारिश माउंट आबू और प्रतापगढ़ में हुई.

  • Gujarat | With roads & bylanes submerged and rainwater inundating residential premises alike, the flood situation in Navsari district remains grim pic.twitter.com/7rymDUoj9u

    — ANI (@ANI) July 13, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें: गुजरात, असम, कर्नाटक, तेलंगाना, मध्यप्रदेश समेत लगभग आधा देश बाढ़ की चपेट में

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बारिश होने के बाद मंगलवार सुबह तापमान में गिरावट दर्ज की गई. हालांकि, शहर के कई हिस्सों में जलजमाव के कारण यातायात प्रभावित हुआ. मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम 26.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. वहीं, सुबह साढ़े आठ बजे हवा में आर्द्रता का स्तर 93 प्रतिशत रहा. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के अनुसार, मंगलवार सुबह आठ बजे तक पिछले 24 घंटे में दिल्ली में दो मिमी बारिश दर्ज की गई. मध्य प्रदेश के आगर मालवा जिले के सोयतखुर्द में मंगलवार दोपहर बिजली गिरने से एक शासकीय स्कूल के तीन छात्रों की मौत हो गई और चार अन्य गंभीर रूप से झुलस गये. गुजरात के कई हिस्सों में मंगलवार को भी भारी बारिश जारी रही और पिछले 24 घंटे में बारिश संबंधी घटनाओं में और छह लोगों की जान चली गई. अधिकारियों के अनुसार राज्य में बारिश संबंधी घटनाओं में एक जून से अभी तक 69 लोगों की जान जा चुकी है.

राज्य के आपदा प्रबंधन मंत्री राजेंद्र त्रिवेदी ने बताया कि बाढ़ प्रभावित इलाकों से कुल 27,896 लोगों को निकाला गया, जिनमें से 18,225 अब भी आश्रय गृहों में है और बाकी अपने घर लौट गए हैं. अधिकारियों ने बताया कि दक्षिण गुजरात के जिलों में पिछले कुछ दिनों से भारी बारिश जारी है तथा सौराष्ट्र क्षेत्र में कच्छ तथा राजकोट के कुछ इलाकों में सोमवार रात से भारी बारिश हो रही है. ‘स्टेट इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर’ (एसईओसी) के अनुसार, कच्छ के अंजार तालुका में मंगलवार सुबह छह बजे से छह घंटे में 167 मिमी बारिश हुई, जबकि जिले के गांधीधाम तालुका में 145 मिमी बारिश दर्ज की गई.

पढ़ें: असम में बाढ़ से मरने वालों की संख्या 190 हुई, नए इलाके हुए जलमग्न

दक्षिण गुजरात के नर्मदा, सूरत, डांग, वलसाड तथा तापी जिलों और राज्य के मध्य भाग के पंचमहल तथा छोटा उदयपुर में भी भारी बारिश हुई. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने सौराष्ट्र क्षेत्र के वलसाड, नवसारी, सूरत, तापी, डांग, नर्मदा, छोटा उदयपुर जिलों के साथ-साथ कच्छ, राजकोट, जामनगर, देवभूमि द्वारका और मोरबी में बुधवार सुबह तक भारी से बहुत भारी बारिश का पूर्वानुमान लगाते हुए ‘रेड अलर्ट’ जारी किया है. नवसारी जिले में भारी बारिश जारी रहने से पूर्णा तथा अम्बिका नदियां उफान पर हैं, जिससे कुछ निचले इलाकों में बाढ़ आ गई है. राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) तथा राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) ने एक संयुक्त अभियान में सोमवार रात नर्मदा जिले में राजपीपला के पास कर्जन नदी तट पर अचानक पानी बढ़ने से फंस गए 21 लोगों को निकाला.

महाराष्ट्र के कई हिस्सों में लगातार जारी भारी बारिश के कारण हुए हादसों में तीन बच्चों समेत कम से कम नौ लोगों की मौत हो गयी और बाढ़ग्रस्त इलाकों से 95 लोगों को बचाया गया है. आपदा प्रबंधन विभाग की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के 13 दल और राज्य आपदा मोचन बल के तीन दल प्रदेश के संकटग्रस्त जिलों में तैनात किए गए हैं. मौसम विभाग ने अगले तीन दिन के लिए नासिक, पालघर और पुणे जिलों में अत्यधिक बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है. अधिकारियों ने कहा कि पिछले कुछ दिनों में भारी बारिश के कारण नासिक शहर में मंगलवार को स्कूल और कॉलेज बंद रहे तथा लोगों को बाढ़ प्रभावित इलाकों से सुरक्षित स्थानों पर जाने के लिए कहा गया.

पढ़ें: गुजरात: वलसाड में बाढ़ से आमजीवन अस्त-व्यस्त, राज्य में मरने वालों की संख्या बढ़कर 61 हुई

उन्होंने बताया कि नासिक शहर में मंगलवार सुबह साढ़े आठ बजे तक 24 घंटे में 97.4 मिमी बारिश हुई. बहरहाल, बाद में बारिश रुक गई, जिससे लोगों को राहत मिली. अधिकारियों ने बताया कि जिले के सप्तश्रृंगी मंदिर के पास सोमवार को बहुत तेज बारिश हुई. पानी भर जाने के कारण मंदिर की सीढ़ियों पर छह श्रद्धालुओं को मामूली चोटें आई हैं. रिपोर्ट में बताया गया कि मुंबई के पालघर जिले में मंगलवार सुबह साढ़े बजे तक पिछले 24 घंटों में 109.9 मिमी बारिश हुई. राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के एक दल को पालघर जिले में एहतियातन तैनात किया गया है.

ठाणे जिले में सुबह साढ़े आठ बजे तक पिछले 24 घंटे में 106.3 मिलीमीटर वर्षा हुई. अधिकारियों ने बताया कि मुंबई के उपनगर में एक ढांचा गिरने से दो लोगों की मौत हो गई, जबकि पूर्वी महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में एक व्यक्ति डूब गया. महाराष्ट्र के नागपुर जिले में मंगलवार को बाढ़ में एक पुल से एक एसयूवी वाहन के बह जाने के कारण मध्य प्रदेश के तीन लोगों की मौत हो गई और तीन अन्य लोग लापता हैं. पुलिस ने यह जानकारी दी. हादसे में मारे गए लोग मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के रहने वाले थे. ठाणे नगर निगम की क्षेत्रीय आपदा प्रबंधन इकाई के प्रमुख अविनाश सावंत ने बताया कि दोपहर को राबोडी स्थित रहमत नगर इलाके में एक मकान का एक हिस्सा ढह गया, लेकिन इस दौरान कोई हताहत नहीं हुआ. महाराष्ट्र के पुणे जिले के चाकन इलाके में मंगलवार को पानी से भरे गड्ढे में चार से आठ साल के तीन भाई-बहनों की डूबने से मौत हो गई.

रिपोर्ट में बताया गया है कि रत्नागिरी जिले में पिछले 24 घंटों में 63.4 मिमी बारिश हुई, लेकिन जगबुड़ी को छोड़कर तटीय जिले में कोई भी नदी खतरे के निशान से ऊपर नहीं बह रही है. दमकल अधिकारियों ने मंगलवार को बताया कि पुणे शहर में भारी बारिश के बाद एक जीर्ण-शीर्ण आवासीय ढांचे का एक हिस्सा गिरने से चार लोग घायल हो गए. गोदावरी नदी का जलस्तर बढ़ने के बाद जल संसाधन विभाग ने नासिक जिले में गंगापुर बांध से 284.16 क्यूसेक पानी छोड़ना शुरू कर दिया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि अधिकारियों ने नासिक जिले में 70 और गढ़चिरौली जिले से 25 लोगों को एहतियातन सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया.

पढ़ें: असम में बाढ़ की स्थिति में आंशिक सुधार, नौ लाख लोग बेहाल

केरल के तीन उत्तरी जिलों में बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी: केरल के वायनाड, कासरगोड और कन्नूर जिलों में अगले 24 घंटों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने मंगलवार रात से यहां भारी बारिश की चेतावनी दी है. ऑरेंज अलर्ट अगले 24 घंटों में 100 मिमी से अधिक की वर्षा का संकेत देता है. राज्य के अन्य सभी 11 जिलों को बुधवार को येलो अलर्ट के तहत रखा गया था. केरल आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने निचले इलाकों, नदी किनारे और पहाड़ी इलाकों में रहने वाले लोगों को अत्यधिक सतर्क रहने के लिए कहा है. केरल पुलिस और केरल अग्निशमन एवं बचाव विभाग भी भारी बारिश की आशंका से पहले स्वयंसेवकों के साथ हाई अलर्ट पर है.

कर्नाटक में बारिश का कहर : दीवार गिरने से महिला और उसकी बेटी की मौत : कर्नाटक में मंगलवार को भी भारी बारिश के कारण उत्तर कन्नड़ जिले के मरकवाड़ा गांव में दीवार गिरने की घटना में एक महिला और उसकी बेटी की मौत हो गई. तटीय और उत्तरी कर्नाटक क्षेत्र से भूस्खलन, स्कूल की इमारत और घर ढहने की कई घटनाएं सामने आई हैं. मृतकों की पहचान 35 वर्षीय रुक्मिणी विट्टल और उनकी 13 वर्षीय बेटी श्रीदेवी विट्टल के रूप में हुई है. घटना के वक्त मृतक सो रहे थे. हालांकि पड़ोसियों ने मलबा हटाने की कोशिश की, लेकिन तब तक पीड़ितों की मौत हो चुकी थी. इस बीच, अधिकारियों ने दक्षिण कन्नड़ जिले के पुत्तूर के निकट कनियुर में मंगलवार को एक युवक का शव निकाला. दूसरे शव की तलाश जारी है. मृतक युवक एक कार में यात्रा कर रहे थे, जो बाढ़ के पानी में बह गई. जहां से कार बरामद हुई, वहां से 250 मीटर दूर शव मिला.

भारी बारिश के बाद उत्तरी कर्नाटक में कृष्णा नदी और दक्षिण कर्नाटक में कावेरी के किनारे रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने के लिए कहा गया है. मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने राज्य में बारिश प्रभावित क्षेत्रों के लिए रवाना होने से पहले गृहमंत्री अरगा ज्ञानेंद्र, राजस्व मंत्री आर. अशोक और ऊर्जा मंत्री वी. सुनील कुमार से स्थिति का जायजा लिया. मैसूर पहुंचने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए मुख्यमंत्री बोम्मई ने कहा कि हमारे पास जानमाल के नुकसान, घर गिरने की घटनाओं के बारे में जानकारी है.

कृषि को हुए नुकसान का सर्वेक्षण किया जा रहा है. महत्वपूर्ण रूप से भारी बारिश के कारण सड़क संपर्क का नुकसान होता है. भूस्खलन होते हैं, कोडागु जिले में भूकंप का अनुभव होता है और समुद्र का कटाव होता है. उत्तरी कर्नाटक में नदी के किनारे के घर क्षतिग्रस्त हो गए हैं. राज्य में पहले चरण में फसल नुकसान का सर्वेक्षण किया गया है. मुझे शाम को ब्योरा मिलेगा. सीएम बोम्मई ने कहा कि राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण को राज्य में बचाव और राहत कार्यो के लिए 739 करोड़ रुपये का फंड मिला है. राहत कार्य शुरू करने के लिए धन की कोई कमी नहीं है.

नई दिल्ली : महाराष्ट्र, गुजरात और मध्य प्रदेश में वर्षा के कारण हुए हादसों में छह बच्चों समेत कम से कम 18 लोगों की मौत हो गई. अधिकारियों के मुताबिक हजारों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया. मुंबई और उसके उपनगरों में मंगलवार सुबह भारी बारिश हुई. कुछ ही घटों में शहर के कई हिस्सों में बाढ़ आ गई. कुछ स्थानों पर यातायात बाधित हो गया. पूर्वी राजस्थान में कहीं-कहीं भारी बारिश हुई, जबकि राज्य के कुछ अन्य हिस्सों में हल्की से मामूली बारिश हुई. राज्य में सबसे अधिक आठ सेंटीमीटर बारिश माउंट आबू और प्रतापगढ़ में हुई.

  • Gujarat | With roads & bylanes submerged and rainwater inundating residential premises alike, the flood situation in Navsari district remains grim pic.twitter.com/7rymDUoj9u

    — ANI (@ANI) July 13, 2022 " class="align-text-top noRightClick twitterSection" data=" ">

पढ़ें: गुजरात, असम, कर्नाटक, तेलंगाना, मध्यप्रदेश समेत लगभग आधा देश बाढ़ की चपेट में

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में बारिश होने के बाद मंगलवार सुबह तापमान में गिरावट दर्ज की गई. हालांकि, शहर के कई हिस्सों में जलजमाव के कारण यातायात प्रभावित हुआ. मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री कम 26.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया. वहीं, सुबह साढ़े आठ बजे हवा में आर्द्रता का स्तर 93 प्रतिशत रहा. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के अनुसार, मंगलवार सुबह आठ बजे तक पिछले 24 घंटे में दिल्ली में दो मिमी बारिश दर्ज की गई. मध्य प्रदेश के आगर मालवा जिले के सोयतखुर्द में मंगलवार दोपहर बिजली गिरने से एक शासकीय स्कूल के तीन छात्रों की मौत हो गई और चार अन्य गंभीर रूप से झुलस गये. गुजरात के कई हिस्सों में मंगलवार को भी भारी बारिश जारी रही और पिछले 24 घंटे में बारिश संबंधी घटनाओं में और छह लोगों की जान चली गई. अधिकारियों के अनुसार राज्य में बारिश संबंधी घटनाओं में एक जून से अभी तक 69 लोगों की जान जा चुकी है.

राज्य के आपदा प्रबंधन मंत्री राजेंद्र त्रिवेदी ने बताया कि बाढ़ प्रभावित इलाकों से कुल 27,896 लोगों को निकाला गया, जिनमें से 18,225 अब भी आश्रय गृहों में है और बाकी अपने घर लौट गए हैं. अधिकारियों ने बताया कि दक्षिण गुजरात के जिलों में पिछले कुछ दिनों से भारी बारिश जारी है तथा सौराष्ट्र क्षेत्र में कच्छ तथा राजकोट के कुछ इलाकों में सोमवार रात से भारी बारिश हो रही है. ‘स्टेट इमरजेंसी ऑपरेशन सेंटर’ (एसईओसी) के अनुसार, कच्छ के अंजार तालुका में मंगलवार सुबह छह बजे से छह घंटे में 167 मिमी बारिश हुई, जबकि जिले के गांधीधाम तालुका में 145 मिमी बारिश दर्ज की गई.

पढ़ें: असम में बाढ़ से मरने वालों की संख्या 190 हुई, नए इलाके हुए जलमग्न

दक्षिण गुजरात के नर्मदा, सूरत, डांग, वलसाड तथा तापी जिलों और राज्य के मध्य भाग के पंचमहल तथा छोटा उदयपुर में भी भारी बारिश हुई. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने सौराष्ट्र क्षेत्र के वलसाड, नवसारी, सूरत, तापी, डांग, नर्मदा, छोटा उदयपुर जिलों के साथ-साथ कच्छ, राजकोट, जामनगर, देवभूमि द्वारका और मोरबी में बुधवार सुबह तक भारी से बहुत भारी बारिश का पूर्वानुमान लगाते हुए ‘रेड अलर्ट’ जारी किया है. नवसारी जिले में भारी बारिश जारी रहने से पूर्णा तथा अम्बिका नदियां उफान पर हैं, जिससे कुछ निचले इलाकों में बाढ़ आ गई है. राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) तथा राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) ने एक संयुक्त अभियान में सोमवार रात नर्मदा जिले में राजपीपला के पास कर्जन नदी तट पर अचानक पानी बढ़ने से फंस गए 21 लोगों को निकाला.

महाराष्ट्र के कई हिस्सों में लगातार जारी भारी बारिश के कारण हुए हादसों में तीन बच्चों समेत कम से कम नौ लोगों की मौत हो गयी और बाढ़ग्रस्त इलाकों से 95 लोगों को बचाया गया है. आपदा प्रबंधन विभाग की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के 13 दल और राज्य आपदा मोचन बल के तीन दल प्रदेश के संकटग्रस्त जिलों में तैनात किए गए हैं. मौसम विभाग ने अगले तीन दिन के लिए नासिक, पालघर और पुणे जिलों में अत्यधिक बारिश का रेड अलर्ट जारी किया है. अधिकारियों ने कहा कि पिछले कुछ दिनों में भारी बारिश के कारण नासिक शहर में मंगलवार को स्कूल और कॉलेज बंद रहे तथा लोगों को बाढ़ प्रभावित इलाकों से सुरक्षित स्थानों पर जाने के लिए कहा गया.

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उन्होंने बताया कि नासिक शहर में मंगलवार सुबह साढ़े आठ बजे तक 24 घंटे में 97.4 मिमी बारिश हुई. बहरहाल, बाद में बारिश रुक गई, जिससे लोगों को राहत मिली. अधिकारियों ने बताया कि जिले के सप्तश्रृंगी मंदिर के पास सोमवार को बहुत तेज बारिश हुई. पानी भर जाने के कारण मंदिर की सीढ़ियों पर छह श्रद्धालुओं को मामूली चोटें आई हैं. रिपोर्ट में बताया गया कि मुंबई के पालघर जिले में मंगलवार सुबह साढ़े बजे तक पिछले 24 घंटों में 109.9 मिमी बारिश हुई. राष्ट्रीय आपदा मोचन बल के एक दल को पालघर जिले में एहतियातन तैनात किया गया है.

ठाणे जिले में सुबह साढ़े आठ बजे तक पिछले 24 घंटे में 106.3 मिलीमीटर वर्षा हुई. अधिकारियों ने बताया कि मुंबई के उपनगर में एक ढांचा गिरने से दो लोगों की मौत हो गई, जबकि पूर्वी महाराष्ट्र के गढ़चिरौली जिले में एक व्यक्ति डूब गया. महाराष्ट्र के नागपुर जिले में मंगलवार को बाढ़ में एक पुल से एक एसयूवी वाहन के बह जाने के कारण मध्य प्रदेश के तीन लोगों की मौत हो गई और तीन अन्य लोग लापता हैं. पुलिस ने यह जानकारी दी. हादसे में मारे गए लोग मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के रहने वाले थे. ठाणे नगर निगम की क्षेत्रीय आपदा प्रबंधन इकाई के प्रमुख अविनाश सावंत ने बताया कि दोपहर को राबोडी स्थित रहमत नगर इलाके में एक मकान का एक हिस्सा ढह गया, लेकिन इस दौरान कोई हताहत नहीं हुआ. महाराष्ट्र के पुणे जिले के चाकन इलाके में मंगलवार को पानी से भरे गड्ढे में चार से आठ साल के तीन भाई-बहनों की डूबने से मौत हो गई.

रिपोर्ट में बताया गया है कि रत्नागिरी जिले में पिछले 24 घंटों में 63.4 मिमी बारिश हुई, लेकिन जगबुड़ी को छोड़कर तटीय जिले में कोई भी नदी खतरे के निशान से ऊपर नहीं बह रही है. दमकल अधिकारियों ने मंगलवार को बताया कि पुणे शहर में भारी बारिश के बाद एक जीर्ण-शीर्ण आवासीय ढांचे का एक हिस्सा गिरने से चार लोग घायल हो गए. गोदावरी नदी का जलस्तर बढ़ने के बाद जल संसाधन विभाग ने नासिक जिले में गंगापुर बांध से 284.16 क्यूसेक पानी छोड़ना शुरू कर दिया है. रिपोर्ट में कहा गया है कि अधिकारियों ने नासिक जिले में 70 और गढ़चिरौली जिले से 25 लोगों को एहतियातन सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया.

पढ़ें: असम में बाढ़ की स्थिति में आंशिक सुधार, नौ लाख लोग बेहाल

केरल के तीन उत्तरी जिलों में बारिश का ऑरेंज अलर्ट जारी: केरल के वायनाड, कासरगोड और कन्नूर जिलों में अगले 24 घंटों के लिए ऑरेंज अलर्ट जारी किया गया है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने मंगलवार रात से यहां भारी बारिश की चेतावनी दी है. ऑरेंज अलर्ट अगले 24 घंटों में 100 मिमी से अधिक की वर्षा का संकेत देता है. राज्य के अन्य सभी 11 जिलों को बुधवार को येलो अलर्ट के तहत रखा गया था. केरल आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने निचले इलाकों, नदी किनारे और पहाड़ी इलाकों में रहने वाले लोगों को अत्यधिक सतर्क रहने के लिए कहा है. केरल पुलिस और केरल अग्निशमन एवं बचाव विभाग भी भारी बारिश की आशंका से पहले स्वयंसेवकों के साथ हाई अलर्ट पर है.

कर्नाटक में बारिश का कहर : दीवार गिरने से महिला और उसकी बेटी की मौत : कर्नाटक में मंगलवार को भी भारी बारिश के कारण उत्तर कन्नड़ जिले के मरकवाड़ा गांव में दीवार गिरने की घटना में एक महिला और उसकी बेटी की मौत हो गई. तटीय और उत्तरी कर्नाटक क्षेत्र से भूस्खलन, स्कूल की इमारत और घर ढहने की कई घटनाएं सामने आई हैं. मृतकों की पहचान 35 वर्षीय रुक्मिणी विट्टल और उनकी 13 वर्षीय बेटी श्रीदेवी विट्टल के रूप में हुई है. घटना के वक्त मृतक सो रहे थे. हालांकि पड़ोसियों ने मलबा हटाने की कोशिश की, लेकिन तब तक पीड़ितों की मौत हो चुकी थी. इस बीच, अधिकारियों ने दक्षिण कन्नड़ जिले के पुत्तूर के निकट कनियुर में मंगलवार को एक युवक का शव निकाला. दूसरे शव की तलाश जारी है. मृतक युवक एक कार में यात्रा कर रहे थे, जो बाढ़ के पानी में बह गई. जहां से कार बरामद हुई, वहां से 250 मीटर दूर शव मिला.

भारी बारिश के बाद उत्तरी कर्नाटक में कृष्णा नदी और दक्षिण कर्नाटक में कावेरी के किनारे रहने वाले लोगों को सुरक्षित स्थानों पर जाने के लिए कहा गया है. मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने राज्य में बारिश प्रभावित क्षेत्रों के लिए रवाना होने से पहले गृहमंत्री अरगा ज्ञानेंद्र, राजस्व मंत्री आर. अशोक और ऊर्जा मंत्री वी. सुनील कुमार से स्थिति का जायजा लिया. मैसूर पहुंचने के बाद पत्रकारों से बात करते हुए मुख्यमंत्री बोम्मई ने कहा कि हमारे पास जानमाल के नुकसान, घर गिरने की घटनाओं के बारे में जानकारी है.

कृषि को हुए नुकसान का सर्वेक्षण किया जा रहा है. महत्वपूर्ण रूप से भारी बारिश के कारण सड़क संपर्क का नुकसान होता है. भूस्खलन होते हैं, कोडागु जिले में भूकंप का अनुभव होता है और समुद्र का कटाव होता है. उत्तरी कर्नाटक में नदी के किनारे के घर क्षतिग्रस्त हो गए हैं. राज्य में पहले चरण में फसल नुकसान का सर्वेक्षण किया गया है. मुझे शाम को ब्योरा मिलेगा. सीएम बोम्मई ने कहा कि राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन प्राधिकरण को राज्य में बचाव और राहत कार्यो के लिए 739 करोड़ रुपये का फंड मिला है. राहत कार्य शुरू करने के लिए धन की कोई कमी नहीं है.

Last Updated : Jul 13, 2022, 2:02 PM IST
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