कांकेरः कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों के बीच देशभर में लागू किए गए 21 दिन के लॉकडाउन में बच्चों समेत 70 मजदूर शहर में फंस गए हैं. सभी लोग छतीसगढ़ के अलग-अलग जिले के रहने वाले हैं, जो प्रयास आवासीय विद्यालय के छात्रावास और कॉलोनी निर्माण में काम करने के लिए आए हुए थे. मजदूरों ने बताया कि जिस ठेकेदार के लिए ये मजदूर काम के करने के लिए आए थे, वह भी इन्हें मुसीबत में अकेला छोड़कर चला गया है. उन्होंने बताया कि उनके पास सिर्फ 2 दिन का राशन बचा हुआ है.
अलग-अलग जिले से आए हैं मजदूर
सरकारी भवन निर्माण का काम करने आए मजदूर कवर्धा, बेमेतरा, पंडरिया, बिलासपुर, मुंगेली जिले के हैं. मजदूरों के साथ उनके मासूम बच्चे भी हैं, ऐसे में उनके भोजन की व्यवस्था नहीं होने से गंभीर स्थिति पैदा हो सकती है, हालांकि सूचना के बाद प्रशासन ने सभी तरह की व्यवस्था फौरन करने की बात कही है.
कलेक्टर ने दिया मदद का आश्वासन
हैरान करने वाली बात यह है कि यहां शासकीय भवन का निर्माण हो रहा है, उसके बाद भी इतने संख्या में मजदूरों के फंसे होने की भनक तक प्रशासन को नहीं लगी. सूचना के बाद कलेक्टर ने फौरन मजदूरों को प्रशासनिक मदद देने की बात कही है.