बिलासपुर: छत्तीसगढ के आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को पोषण ट्रेकर एप डाउनलोड करने के दिए गए राज्य सरकार के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका पर हाईकोर्ट में सोमवार को सुनवाई हुई. जस्टिस गौतम भादुड़ी की सिंगल बेंच ने मामले की सुनवाई हुई. जस्टिस गौतम भादुड़ी ने मामले में सुनवाई करते हुए दो महीने के अंदर मामले का निराकरण करने के निर्देश राज्य सरकार को जारी किए.
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जानिए क्यों पोषण ट्रैकर एप का हो रहा विरोध
जानकारी के अनुसार 6 मार्च 2021 को राज्य सरकार ने सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को अपने मोबाइल में पोषण ट्रेकर एप डाउनलोड करने का आदेश जारी किया था. साथ ही उसे कार्यकर्ताओं के मानदेय से लिंक करने निर्देशित किया था. इस एप को डाउनलोड नहीं करने और डाटा प्रेषण नहीं करने पर मानदेय का भुगतान नहीं किए जाने का आदेश दिया है. राज्य सरकार के इस आदेश को अव्यहारिक और महिला विरोधी बताते हुए छत्तीसगढ आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका संघ (Chhattisgarh Anganwadi Worker Assistance Association) ने अधिवक्ता एसबी पाण्डेय के माध्यम से हाईकोर्ट में चुनौती दी थी. जस्टिस गौतम भादुड़ी की सिंगल बेंच ने मामले की सुनवाई के बाद याचिकाकर्ताओं के अभ्यावेदन पर दो महीने के भीतर मामले का निराकरण करने के निर्देश राज्य सरकार को जारी किए हैं.
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इधर फल व्यापारी के खिलाफ निगम की कार्रवाई को हाईकोर्ट ने बताया गलत
बिलासपुर: हाईकोर्ट ने तिफरा फल व्यापारी की याचिका पर सुनवाई करते हुए नगर निगम की कार्यवाई को गलत करार दिया है. हाईकोर्ट ने व्यापारी की याचिका पर सुनवाई करते हुए कहा कि तिफरा फल मंडी निगम क्षेत्र में नहीं आता है. लिहाजा फल व्यापारी के खिलाफ की गई निगम की कार्रवाई गलत है. इसके साथ ही कोर्ट ने दुकान की चाभी और फल का पंचनामा कारने के बाद व्यापारी को सौंपने के भी निर्देश नगर निगम को दिए है.