साहिबगंज: साहिबगंज के सीआरपीएफ जवान मुन्ना यादव छत्तीसगढ़ में सोमवार को नक्सली हमले में शहीद हो गए. इसकी जानकारी जब उनके गांव पहुंची तो माहौल गमगीन हो गया. परिजनों को सांत्वना देने ग्रामीण उनके घर पहुंचने लगे.
मुन्ना यादव ने 2010 में सीआरपीएफ ज्वाइन किया था. मुन्ना अपने पीछे दो छोटे बच्चे और पत्नी को छोड़ गए हैं, घर में उनके बुजुर्ग पिता भी हैं. उनके परिजनों का कहना है कि लगभग दोपहर 3 बजे उन्हें मुन्ना के शहीद होने की खबर मिली, जिसके बाद घर में चीख-पुकार मच गई. उन्होंने बताया कि नक्सली अभियान के दौरान मुन्ना शहीद हो गए और उनका पार्थिव शरीर मंगलवार को हेलीकॉप्टर से साहिबगंज लाया जाएगा.
बीजापुर में हुई मुठभेड़
छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में सीआरपीएफ जवान और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ मुठभेड़ में सीआरपीएफ जवान मुन्ना यादव शहीद हुए थे. बताया जा रहा है, सीआरपीएफ और डीआरजी के जवान सर्चिंग पर निकले थे. तभी जवानों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हो गई है. मुठभेड़ में सीआरपीएफ के 170वीं बटालियन के जवान मुन्ना यादव शहीद हो गए हैं. शहीद मुन्ना यादव का पार्थिव शरीर मिरतुर थाना लाया गया है. मिरतुर थाना के हुर्रेपाल और पोरवाया के जंगलों में मुठभेड़ हुई है.
मुठभेड़ में शहीद हुए थे मदनवाड़ा टीआई
कुछ दिन पहले ही राजनांदगांव में हुई पुलिस-नक्सली मुठभेड़ में मदनवाड़ा थाने के टीआई शहीद श्यार किशोर शर्मा शहीद हो गए थे. रविवार को शहीद श्यार किशोर शर्मा का अंतिम संस्कार किया गया था. वहां उनके पिता ने पूछा था कि आखिर कब तक पिता को अपने ऐसे बेटों की कुर्बानी देगी पड़ेगी.