बीजापुर: जिले में कोरोना संक्रमण और लॉकडाउन के कारण विवाह कार्यक्रमों में सिर्फ 10 लोगों को मौजूद रहने की अनुमति दी गई है. कोरोना की वजह से कई शादियां रोक दी गई है. कई ऐसे परिवार हैं, जिनके घर शादी होने वाली थी, लेकिन कोरोना और लॉकडाउन के नियमों के कारण उन्हें विवाह टालना पड़ा. पिछले साल भी कोरोना और लॉकडाउन में इन परिवारों ने शादी की तारीख आगे बढ़ाई थी. लेकिन इस साल फिर सीजन के पहले कोरोना ने दस्तक दे दी. जिले में मई में करीब 140 से अधिक विवाह होने थे, जिनमें से सिर्फ 46 जोड़े शादी के बंधन में बंधे हैं.
शादी सिर्फ युवक और युवती के मिलन का समारोह नहीं है. इन कार्यक्रमों से कई परिवारों की आजीविका जुड़ी होती है. टेंट वालों से लेकर बैंड बाजे वालों को शादी के सीजन का बेसब्री से इंतजार रहता है. शादी कार्यक्रमों से जुड़े व्यवसाय से लोग सीजन में ही कमाई कर पाते हैं. इन दौरान कमाए गए रुपये से ही वे पूरा साल अपना घर चलाते है. अप्रैल और मई में शादी के कई शुभ मुहूर्त थे.
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कैटरिंग और टेंट हाउस वालों को हुआ नुकसान
कोरोना के बढ़ते प्रकरण के कारण कई शादियां आगे के लिए टाल दी गई है. वहीं कुछ ही शादी संपन्न हुई है. जहां बैंड-बाजा, नाच गाना, मंडप साज सज्जा के साथ शादी हुआ करती थी. कोरोना के चलते विवाह साधारण तौर पर संपन्न किए जा रहे हैं. शादी कैंसल करने से कैटरिंग और टेंट हाउस समेत बैंड पार्टियों को भी नुकसान का सामना करना पड़ रहा है.
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नियम का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई
बीजापुर के भैरमगढ़ ब्लॉक में 12, भोपालपटनम में 12, उसूर में 9 और बीजापुर शहर में 13 शादियों के लिए परमिशन दी गई थी. SDM ने बताया कि शादी की तारीख से 1 दिन पहले नजदीकी थाने में जानकारी देनी होती है. राजस्व विभाग की और पुलिस की टीम शादी के दिन निगरानी करते रहती है. नियम का उल्लंघन करने पर कार्रवाई की जाती है. भोपालपटनम ब्लॉक में भट्टी गुड़ा, लिंगापुर और मद्देड़ समेत मट्टीमरका में कुल 4 जगहों पर कार्रवाई की गई. टेंट भी जब्त किए गए. शादियों में नियम का उल्लघंंन करने वालों के खिलाफ लगातार कार्रवाई की जा रही है.