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बेमेतरा: दूसरे राज्यों से बड़ी संख्या में पहुंच रहे मजदूर, किया जा रहा क्वॉरेंटाइन

लॉकडाउन की वजह से प्रवासी मजदूरों के वापस लौटने का सिलसिला शुरू हो गया है. संक्रमण के मद्देनजर प्रवासी मजदूरों को शासन के आदेश के मुताबिक क्वॉरेंटाइन सेंटरों में रखा जा रहा है.

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Published : May 17, 2020, 2:00 PM IST

Quarantine of migrant workers
प्रवासी मजदूरों के लिए जांच की व्यवस्था

बेमेतरा: लॉकडाउन की वजह से दूसरे राज्यों में फंसे जिले के मजदूरों की वापसी का सिलसिला शुरू हो गया है. जिले में बड़ी तादाद में मजदूर पहुंच रहे हैं. बता दें कि मजदूरों को दूसरे राज्यों से सीधे बसों के जरिए बेमेतरा थाने तक लाया जा रहा है, जिसके बाद उन्हें ट्रकों और मेटाडोर जैसे दूसरे साधनों से उनके गांव तक भेजा जा रहा है.

प्रवासी मजदूरों का आगमन

बता दें शासन-प्रशासन ने कोरोना संक्रमण के रोकथाम के मद्देनजर गांवों में क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाने का आदेश जारी किया है, जहां दूसरे राज्यों से लौटने वाले प्रवासी मजदूरों को रखा जाएगा.

जिले के बहुत से मजदूर पदयात्रा और साइकिल के माध्यम से घर पहुंच रहे हैं. वहीं कई मजदूर लखनऊ, महाराष्ट्र से गाड़ी किराया करके आ रहे हैं, जिन्हें थाने तक छोड़ा जा रहा है. इसके बाद परिवहन के अन्य साधनों के जरिए उनके गृह ग्राम तक पहुंचाया जा रहा है. इन प्रवासी मजदूरों को ठहराने के लिए गांव के स्कूलों और अन्य शासकीय भवनों को क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाया गया है. यहां इन मजदूरों को 14 दिनों तक क्वॉरेंटाइन पर रखा जाएगा. क्वॉरेंटाइन सेंटर में ठहरे मजदूरों के भोजन व्यवस्था की जिम्मेदारी ग्राम पंचायतों को सौंपी गई है.

पढ़ेंः-बालोदः दूसरा कोरोना मरीज मिलने के बाद प्रशासन हुआ सतर्क

पुलिस और चिकित्सा विभाग का सहयोग
कलेक्टर शिव अनन्त तायल ने बताया कि महाराष्ट्र और लखनऊ से आने वाली ट्रेनों में अधिकतर मजदूर बेमेतरा जिला के हैं. उन्होंने बताया कि अब तक 2 हजार मजदूर पैदल और साइकिल से आ चुके हैं. वहीं एक हजार मजदूर ट्रेन से आए हैं, जिन्हें उनके गांवों में क्वारेंटाइन पर रखा जा रहा है. इस काम में पुलिस और चिकित्सा विभाग की ओर से लागतार सहयोग मिल रहा है.

बेमेतरा: लॉकडाउन की वजह से दूसरे राज्यों में फंसे जिले के मजदूरों की वापसी का सिलसिला शुरू हो गया है. जिले में बड़ी तादाद में मजदूर पहुंच रहे हैं. बता दें कि मजदूरों को दूसरे राज्यों से सीधे बसों के जरिए बेमेतरा थाने तक लाया जा रहा है, जिसके बाद उन्हें ट्रकों और मेटाडोर जैसे दूसरे साधनों से उनके गांव तक भेजा जा रहा है.

प्रवासी मजदूरों का आगमन

बता दें शासन-प्रशासन ने कोरोना संक्रमण के रोकथाम के मद्देनजर गांवों में क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाने का आदेश जारी किया है, जहां दूसरे राज्यों से लौटने वाले प्रवासी मजदूरों को रखा जाएगा.

जिले के बहुत से मजदूर पदयात्रा और साइकिल के माध्यम से घर पहुंच रहे हैं. वहीं कई मजदूर लखनऊ, महाराष्ट्र से गाड़ी किराया करके आ रहे हैं, जिन्हें थाने तक छोड़ा जा रहा है. इसके बाद परिवहन के अन्य साधनों के जरिए उनके गृह ग्राम तक पहुंचाया जा रहा है. इन प्रवासी मजदूरों को ठहराने के लिए गांव के स्कूलों और अन्य शासकीय भवनों को क्वॉरेंटाइन सेंटर बनाया गया है. यहां इन मजदूरों को 14 दिनों तक क्वॉरेंटाइन पर रखा जाएगा. क्वॉरेंटाइन सेंटर में ठहरे मजदूरों के भोजन व्यवस्था की जिम्मेदारी ग्राम पंचायतों को सौंपी गई है.

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पुलिस और चिकित्सा विभाग का सहयोग
कलेक्टर शिव अनन्त तायल ने बताया कि महाराष्ट्र और लखनऊ से आने वाली ट्रेनों में अधिकतर मजदूर बेमेतरा जिला के हैं. उन्होंने बताया कि अब तक 2 हजार मजदूर पैदल और साइकिल से आ चुके हैं. वहीं एक हजार मजदूर ट्रेन से आए हैं, जिन्हें उनके गांवों में क्वारेंटाइन पर रखा जा रहा है. इस काम में पुलिस और चिकित्सा विभाग की ओर से लागतार सहयोग मिल रहा है.

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