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Achievement Of Voter Awareness Campaign :40 साल बाद आदिवासी महिला फिर से डालेगी वोट, बैलेट पेपर से आखिरी बार किया था मतदान

Achievement Of Voter Awareness Campaign द्वितीय मतदाता पुनरीक्षण के बाद छत्तीसगढ़ में फाइनल मतदाता सूची का प्रकाशन हो चुका है.ऐसे में आज हम आपको ऐसी महिला मतदाता से मिलाने जा रहे हैं.जो पिछले चार दशकों से वोट डालने से वंचित थी.आपको जानकर हैरानी होगी कि इस महिला की उम्र 65 साल के पार है.लेकिन पिछले 40 साल से इन्होंने मतदान नहीं किया. Pushpa bai vote again after 40 years

Pushpa bai vote again after 40 years
40 साल बाद आदिवासी महिला फिर से डालेगी वोट
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By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Oct 6, 2023, 9:16 PM IST

Updated : Oct 7, 2023, 9:57 AM IST

40 साल बाद आदिवासी महिला फिर से डालेगी वोट

बालोद : छत्तीसगढ़ के हर जिले में इस बार विधानसभावार मतदाता जागरुकता अभियान के तहत स्वीप कार्यक्रम चलाया गया. इस कार्यक्रम में लोगों को मतदान की ताकत को समझाया गया.लोगों को ये बताया गया कि उनका एक वोट कितना असरदार हो सकता है.इस अभियान के बाद लोगों में जागरुकता बढ़ी और लोगों ने बढ़चढ़कर अपना नाम मतदाता सूची में दर्ज करवाया.ऐसी ही एक महिला हैं.बालोद जनपद पंचायत क्षेत्र के ग्राम जगतरा में रहने वाली आदिवासी महिला पुष्पा बाई नुरूटी. जिनकी उम्र 65 साल है.जो इस बार होने वाले चुनाव में अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगी.


क्यों नहीं डाल पा रहीं थी पुष्पा बाई वोट ?: पुष्पा बाई कम पढ़ लिखी हैं.ऐसे में जब मतदान जागरुकता टीम उनके पास पहुंची तो उन्हें पता चला कि पुष्पा मतदान नहीं करती.जब पुष्पा ने दल को कारण बताया तो सब हैरान थे.पुष्पा ने बताया कि वो ग्राम जगतरा की निवासी है. जगतरा के ग्रामीण जमरुवा गांव के मतदान केंद्र में वोट डालने जाते थे.उस समय पुष्पा का नाम भी मतदाता सूची में था.इसके बाद जगतरा स्वतंत्र पंचायत बना.लिहाजा जमरुवा गांव का बूथ परिसीमन के बाद जगतरा में आया.लेकिन जब नई मतदाता सूची बनीं तो पुष्पा का नाम छूट गया. इसके बाद किसी ने भी ध्यान नहीं दिया.लिहाजा तब से लेकर अब तक पुष्पा का नाम नहीं जुड़ पाया.


कब डाला था अंतिम बार वोट : मतदान के विषय पर जब हमने ग्रामीणों से पूछा तो ग्रामीणों ने बताया कि लगभग 40 से 45 वर्ष हो गए हैं. जब हमारे गांव के लोग पड़ोस के गांव में मतदान करने जाते थे. पुष्पा बाई ने बताया कि पता नहीं मेरा नाम कैसे मतदाता सूची से बाहर हो गया था और मैं लगभग 40 वर्षों से मतदान केंद्र के दर्शन नहीं की हूं.पुष्पा बाई ने बताया कि जिस समय उन्होंने अंतिम बार वोट डाला था. उस समय बैलेट पेपर का जमाना था. अब वह उत्साहित हैं कि उसे ईवीएम मशीन से मतदान करने का मौका मिलेगा.

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' ना ही मेरे घर कोई मतदाता सूची आई और ना ही मेरा कोई मतदाता प्रमाण पत्र बन पाया. आज पुनः मेरी बहू स्थानीय मितानिन और स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षकों और कलेक्टर के बदौलत मेरा मतदान पत्र बन पाया है. मतदाता सूची में मेरा नाम जुड़ पाया है.'' पुष्पा बाई, बुजुर्ग महिला

बृहद रूप में चलाया गया था जागरुकता अभियान : बालोद कलेक्टर ने बताया कि इलेक्शन कमीशन के निर्देश पर नए मतदाताओं के साथ-साथ उन मतदाताओं का भी ध्यान रखा गया जो मतदान करने से वंचित हो गए थे. बड़ी खुशी की बात है कि अब पुष्पा बाई फिर से मतदान करने वाली हैं.

'' पुष्पा की उम्र आज लगभग 65 वर्ष है. 40 वर्षों बाद वह अपने मताधिकार का प्रयोग करने जा रही है. जिला प्रशासन ने जिस तरह से मतदाता जागरूकता अभियान और मतदाता सूची में नाम जोड़ने का अभियान चलाया.उसी की बदौलत आज पुष्पा का नाम दोबारा मतदाता सूची में जुड़ा.''-कुलदीप शर्मा, जिला निर्वाचन अधिकारी

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जिला निर्वाचन आधिकारी का प्रयास लाया रंग : आपको बता दें कि जिला निर्वाचन अधिकारी और कलेक्टर कुलदीप शर्मा के प्रयास का ही नतीजा है कि जिले में द्वितीय मतदाता पुनरीक्षण के बाद 18000 नए मतदाता जुड़े हैं.जिसमें सर्वाधिक संख्या महिलाओं की है.उन्हीं महिलाओं में से एक हैं पुष्पा बाई जो 40 साल बाद अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगी.

40 साल बाद आदिवासी महिला फिर से डालेगी वोट

बालोद : छत्तीसगढ़ के हर जिले में इस बार विधानसभावार मतदाता जागरुकता अभियान के तहत स्वीप कार्यक्रम चलाया गया. इस कार्यक्रम में लोगों को मतदान की ताकत को समझाया गया.लोगों को ये बताया गया कि उनका एक वोट कितना असरदार हो सकता है.इस अभियान के बाद लोगों में जागरुकता बढ़ी और लोगों ने बढ़चढ़कर अपना नाम मतदाता सूची में दर्ज करवाया.ऐसी ही एक महिला हैं.बालोद जनपद पंचायत क्षेत्र के ग्राम जगतरा में रहने वाली आदिवासी महिला पुष्पा बाई नुरूटी. जिनकी उम्र 65 साल है.जो इस बार होने वाले चुनाव में अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगी.


क्यों नहीं डाल पा रहीं थी पुष्पा बाई वोट ?: पुष्पा बाई कम पढ़ लिखी हैं.ऐसे में जब मतदान जागरुकता टीम उनके पास पहुंची तो उन्हें पता चला कि पुष्पा मतदान नहीं करती.जब पुष्पा ने दल को कारण बताया तो सब हैरान थे.पुष्पा ने बताया कि वो ग्राम जगतरा की निवासी है. जगतरा के ग्रामीण जमरुवा गांव के मतदान केंद्र में वोट डालने जाते थे.उस समय पुष्पा का नाम भी मतदाता सूची में था.इसके बाद जगतरा स्वतंत्र पंचायत बना.लिहाजा जमरुवा गांव का बूथ परिसीमन के बाद जगतरा में आया.लेकिन जब नई मतदाता सूची बनीं तो पुष्पा का नाम छूट गया. इसके बाद किसी ने भी ध्यान नहीं दिया.लिहाजा तब से लेकर अब तक पुष्पा का नाम नहीं जुड़ पाया.


कब डाला था अंतिम बार वोट : मतदान के विषय पर जब हमने ग्रामीणों से पूछा तो ग्रामीणों ने बताया कि लगभग 40 से 45 वर्ष हो गए हैं. जब हमारे गांव के लोग पड़ोस के गांव में मतदान करने जाते थे. पुष्पा बाई ने बताया कि पता नहीं मेरा नाम कैसे मतदाता सूची से बाहर हो गया था और मैं लगभग 40 वर्षों से मतदान केंद्र के दर्शन नहीं की हूं.पुष्पा बाई ने बताया कि जिस समय उन्होंने अंतिम बार वोट डाला था. उस समय बैलेट पेपर का जमाना था. अब वह उत्साहित हैं कि उसे ईवीएम मशीन से मतदान करने का मौका मिलेगा.

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' ना ही मेरे घर कोई मतदाता सूची आई और ना ही मेरा कोई मतदाता प्रमाण पत्र बन पाया. आज पुनः मेरी बहू स्थानीय मितानिन और स्कूल में पढ़ाने वाले शिक्षकों और कलेक्टर के बदौलत मेरा मतदान पत्र बन पाया है. मतदाता सूची में मेरा नाम जुड़ पाया है.'' पुष्पा बाई, बुजुर्ग महिला

बृहद रूप में चलाया गया था जागरुकता अभियान : बालोद कलेक्टर ने बताया कि इलेक्शन कमीशन के निर्देश पर नए मतदाताओं के साथ-साथ उन मतदाताओं का भी ध्यान रखा गया जो मतदान करने से वंचित हो गए थे. बड़ी खुशी की बात है कि अब पुष्पा बाई फिर से मतदान करने वाली हैं.

'' पुष्पा की उम्र आज लगभग 65 वर्ष है. 40 वर्षों बाद वह अपने मताधिकार का प्रयोग करने जा रही है. जिला प्रशासन ने जिस तरह से मतदाता जागरूकता अभियान और मतदाता सूची में नाम जोड़ने का अभियान चलाया.उसी की बदौलत आज पुष्पा का नाम दोबारा मतदाता सूची में जुड़ा.''-कुलदीप शर्मा, जिला निर्वाचन अधिकारी

विकास की आस में मतदान केंद्र तक जान जोखिम में डालकर पहुंचे ग्रामीण
पोलिंग बूथों पर लगी ग्रामीणों की भीड़ ने बताई अपनी परेशानी
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जिला निर्वाचन आधिकारी का प्रयास लाया रंग : आपको बता दें कि जिला निर्वाचन अधिकारी और कलेक्टर कुलदीप शर्मा के प्रयास का ही नतीजा है कि जिले में द्वितीय मतदाता पुनरीक्षण के बाद 18000 नए मतदाता जुड़े हैं.जिसमें सर्वाधिक संख्या महिलाओं की है.उन्हीं महिलाओं में से एक हैं पुष्पा बाई जो 40 साल बाद अपने मताधिकार का इस्तेमाल करेंगी.

Last Updated : Oct 7, 2023, 9:57 AM IST
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