कोरबा : इन दिनों जिले में खुदकुशी के मामलों में तेजी आई है. खासकर युवतियों ने मामूली सी बात में अवसाद में आकर आत्महत्या की है. अप्रैल माह में 4 से 5 केस जिले में देखने को मिले हैं.जिसमे युवतियों ने अपनी जिंदगी खत्म की है. ईटीवी भारत की टीम ने आत्महत्या के बढ़ते मामलों के पीछे की वजह जानने की कोशिश(Reason for suicide of girls in Korba ) की है. आखिर वो कौन से कारण हैं जिसके कारण युवतियों ने अपनी जिंदगी को खत्म किया.
केस नंबर 1 रॉन्ग नंबर का शक और आत्मदाह का प्रयास : बीते 26 अप्रैल को शहर के मानिकपुर चौकी क्षेत्र अंतर्गत आने वाले सूरज की पत्नी पूजा ने एक रॉन्ग नंबर के कारण खुद को आग के हवाले कर दिया. दरअसल सूरज और पूजा की शादी 4 साल पहले हुई थी. दोनों ने प्रेम विवाह किया था. 1 दिन सूरज के नंबर पर एक अनजान नंबर से किसी महिला का कॉल आया. लेकिन यह रॉन्ग नंबर था. सूरज के मुताबिक इस रॉन्ग नंबर से उसकी पत्नी पूजा के मन में शक बैठ गया. विवाद इतना बढ़ा कि पूजा ने आत्महत्या के लिए खुद को आग के हवाले कर लिया.
केस नंबर 2 युवती ने ट्रेन के सामने कूदकर दी जान : बीते 19 अप्रैल को जिले के ग्रामीण क्षेत्र करतला विकासखंड के ग्राम जामपानी में रहने वाली 23 वर्षीय युवती अन्नपूर्णा पटेल ने ट्रेन के सामने कूदकर आत्महत्या कर ली. परिजनों के मुताबिक 2 हफ्ते बाद ही अन्नपूर्णा की शादी होने वाली थी. घर में खुशियों का माहौल था, ऐसा कोई तनाव भी नहीं था. घरवाले अब भी सकते में है कि आखिर वह कौन सा कारण था? जिसके कारण अन्नपूर्णा ने यह कदम उठाया.
केस नंबर 3 छह माह की गर्भवती ने पेट में मारा चाकू : पिछले महीने के 17 अप्रैल को ही एक बेहद खौफनाक मामला सामने आया.रामपुर चौकी क्षेत्र अंतर्गत बुधवारी में रहने वाली 6 माह की गर्भवती महिला ने अपने पेट में चाकू मार लिया. महिला के पति शिव प्रसाद का कहना है कि पत्नी ममता साहू हाउसवाइफ थी. बस इतना पूछा था कि खाली समय में अपना समय कैसे व्यतीत करती हो, इस बात पर कहासुनी हो गई.
केस नंबर 4 बॉयफ्रेंड के शादी के दिन युवती ने की आत्महत्या : 23 अप्रैल को कोतवाली थाना क्षेत्र के रामसागर पारा में रहने वाली 27 वर्षीय प्रीति महंत ने फांसी लगाकर खुदकुशी कर ली. इसी दिन उसके बॉयफ्रेंड की शादी थी. प्रीति ने एक लंबा चौड़ा सुसाइड नोट भी लिखा था.
युवतियों में आत्महत्या की प्रवृत्ति बढ़ी : इस विषय में कोरबा सिटी के सीएसपी योगेश साहू कहते हैं कि ''युवतियों में आत्महत्या की प्रवृत्ति बढ़ी है. प्रेम प्रसंग एक बड़ा कारण निकल कर सामने आया है. युवतियां प्यार में असफल होने के बाद इस तरह के कदम उठा (girl committing suicide in depression) रही हैं. आधुनिक होते समाज में मोबाइल, सोशल मीडिया में लोग इतने ज्यादा एक्टिव हैं कि वह अपने परिवार से ही दूर हो रहे हैं. छोटी-छोटी बातों पर वह आत्मघाती कदम उठा रहे हैं. जब भी हमें इस तरह की कोई जानकारी मिलती है. हम, लोगों को समझाने का प्रयास करते हैं. काउंसलिंग करते हैं. कोशिश करते हैं कि उनकी समस्या का समाधान किया जाए.
कुछ दिनों पहले ही दिखने लगते हैं लक्षण : पीजी कॉलेज में मनोविज्ञान की प्राध्यापक अवंतिका कौशिल कहती है कि '' आत्महत्या के कई कारण हो सकते (Reason for suicide of girls in Korba)हैं. खासतौर पर जब महिलाओं की बात करें तो वह पढ़ाई लिखाई से रिलेटेड हो सकता है. फैमिली एडजस्टमेंट की बात हो सकती है. लेकिन पढ़े-लिखे लोगों में जो सबसे बड़ा कारण सामने निकल कर आया है वह है सामंजस्य बिठाने का अभाव. लोगों को सामंजस्य बिठाना ही पड़ेगा, लोगों की उम्मीदें सामने वाले से ज्यादा बढ़ जाती हैं. आत्महत्या करने वाले 1 मिनट में निर्णय लेते हैं कि हमें अपना जीवन समाप्त कर देना है.आत्महत्या करने वाले व्यक्ति में कुछ दिन पहले से लक्षण दिखने लगते हैं. वह बहुत ज्यादा डिप्रेशन में होगा, किसी से बात नहीं करेगा.''