बिलासपुर : कोरोना महामारी का प्रकोप अभी खत्म भी नही हुआ है. इधर सरकार ने फ्री टीकाकरण बंद कर दिया है. वहीं बूस्टर डोज के लिए पैसे खर्च करने को लोग तैयार नही है. निजी अस्पतालों में वैक्सीन की सप्लाई नही हो रही है. कोरोना टीकाकरण को लेकर लोगों में दिखे उत्साह से लगता था कि देश की जनता कोरोना वायरस खत्म करने टीकाकरण में रुचि दिखा रही है. लेकिन कोरोना की कहर धीमी पड़ने की वजह से अब लोगों के अंदर से इसका डर भी खत्म होने लगा है. लोग अब बूस्टर डोज लगवाने में जहां रुचि नहीं ले रहे हैं, वहीं सरकार भी अब बूस्टर डोज के लिए फ्री वैक्सीन योजना बंद कर दी है.
क्यों नहीं लगा रहे बूस्टर डोज : कोरोना महामारी से पूरी तरह से अभी छुटकारा नहीं मिला है. फर्स्ट और सेकंड डोज के बाद बूस्टर डोज लगाने के लिए लाखों लोगों को पिछले दिनों मैसेज जा चुका है, लेकिन समस्या ये है कि निजी अस्पतालों में वैक्सीन ही नहीं (No booster dose in private hospitals of Bilaspur ) है.जबकि सरकारी सेंटर में वैक्सीन लगेगी नहीं.ऐसे में लोगों को समझ नहीं आ रहा कि कोरोनावायरस से सुरक्षा के लिए बूस्टर डोज कैसे लगवाए. यह हालत तब है जब स्वास्थ्य विभाग अब तक 149 निजी अस्पतालों को चार बार पत्र लिख चुका है. लेकिन निजी अस्पताल भी अब बूस्टर डोज लगाने में रुचि नहीं ले रहे.
बूस्टर डोज के लिए लगेंगे पैसे : शासन ने कोरोनावायरस टीकाकरण में पहली और दूसरी डोज सभी लोगों को फ्री में लगाई थी. लेकिन बूस्टर डोज लगवाने के लिए शासन ने निजी अस्पतालों में जाने का आदेश दिया है. बूस्टर डोज का रेट 386 रुपए 25 पैसा निर्धारित किया गया है. जिले के लाखों लोगों के मोबाइल पर बूस्टर डोज लगवाने का मैसेज आ चुका है.लेकिन अस्पतालों में वैक्सीन है ही नहीं .
निजी अस्पतालों को लिखा गया है पत्र : सरकारी अस्पतालों में बूस्टर डोज लगने की व्यवस्था नहीं की गई है. इसलिए निजी अस्पतालों में बूस्टर डोज लगाए जाने हैं. जिला स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारी डॉ. प्रमोद महाजन ने बताया कि '' 11 अप्रैल से अब तक जिले के 149 निजी अस्पतालों को वैक्सीन के लिए 4 बार पत्र भेजा जा चुका है, लेकिन किसी अस्पताल ने बूस्टर डोज लगाने की शुरुआत ही नहीं की है. निजी अस्पताल बूस्टर डोज लगाने में रुचि नहीं ले रहे हैं.''
5 लाख लोगों को जा चुका है मैसेज : जिले के करीब 5 लाख 20 हजार लोगों को बूस्टर डोज का मैसेज आ चुका है. इन लोगों को दूसरा डोज लगे 9 महीने से अधिक हो चुके हैं. ऐसे में अब इन लोगों के मोबाइल में तीसरा डोज लगवाने के लिए मैसेज पहुंच रहा है. इधर निजी अस्पताल में वैक्सीनेशन की सुविधा अब तक शुरू नहीं हुई है, और इस तरफ स्वास्थ्य विभाग भी ध्यान नहीं दे रहा ह.
सीएमएचओ का अजीब बयान :मुख्य जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ प्रमोद महाजन ने अजीबो गरीब बयान देते हुए बताया कि जब सरकार फ्री में लोगों को बूस्टर डोज लगा रही थी तो किसी ने ध्यान नहीं दिया. अब पैसे लग रहे हैं तो बूस्टर डोज फ्री में लगाने की बात कहते हैं. उन्होंने कहा कि लोग इसलिए भी रुचि नहीं ले रहे हैं कि उन्हें पैसे खर्च करने होंगे. बूस्टर डोज के लिए पैसे लग रहे है तो टीकाकरण के लिए चिंता होने लगी है.