पटनाः राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने बापू सभागार में चौथे कृषि रोड मैप की शुरुआत की. यह कृषि रोड मैप 2028 तक के लिए है और बिहार सरकार इस पर 162000 करोड़ की राशि खर्च करेगी. बापू सभागार में सीएम नीतीश कुमार, राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर और डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव भी मौजूद रहे. इस मौके पर बिहार सरकार के कई मंत्री और अधिकारी भी मौजूद रहे.
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जल संरक्षण पर ध्यान देना जरूरी- राष्ट्रपति : राष्ट्रपति द्रौपद मुर्मू ने अपने संबोधन में कहा कि कृषि बिहार की संस्कृति का हिस्सा है. बिहार के जीडीपी में इसका अहम योजदान है. उन्होंने कहा कि इस बार बिहार में सामान्य से कम बारिश हुई, इसलिए जल संरक्षण पर ध्यान देना जरूरी है. उन्होंने कहा कि मैं भी एक किसान की बेटी हूं. इसी के साथ उन्होंने दुर्गा पूजा की बधाई भी दी.
''यह बहुत ही प्रसन्नता की बात है कि कृषि रोड मैप का क्रियान्वयन किया जा रहा है. मुझे और अधिक खुशी होगी जब बिहार विकास के हर मानक पर रोड मैप बनाकर लगातार प्रगति के पथ पर बढ़ता दिखाई दे- चाहे वह स्वास्थ्य हो, शिक्षा हो, प्रति व्यक्ति आय हो या सबसे बढ़कर Happiness Index हो..''- द्रौपदी मुर्मू, राष्ट्रपति
'कृषि, बिहार की अर्थव्यवस्था का आधार' : राष्ट्रपति ने कहा कि कृषि बिहार की लोक-संस्कृति का एक अहम हिस्सा है. बटोहिया और बिदेसिया से लेकर कटनी और रोपनी गीतों तक की बिहार की लोक-संस्कृति और साहित्य की यात्रा ने पूरे विश्व में अपनी पहचान बनाई है. कृषि, बिहार की अर्थव्यवस्था का आधार है. कृषि और संबद्ध क्षेत्र में न केवल राज्य का लगभग आधा कार्यबल लगा हुआ है बल्कि राज्य GDP में भी इसका अहम योगदान है. इस प्रदेश की उन्नति के लिए कृषि क्षेत्र का सर्वांगीण विकास अत्यंत आवश्यक है.
'मानव-निर्मित संकीर्णताओं से बाहर निकलना होगा' : द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि विकसित भारत के सपने को पूरा करने में बिहार का योगदान अत्यंत महत्वपूर्ण है. लेकिन इस सपने को सच्चाई में बदलने के लिए हमें मानव-निर्मित संकीर्णताओं से बाहर निकलना होगा. बिहार को एक विकसित राज्य बनाने के लिए समेकित विकास के अलावा कोई विकल्प नहीं है. यह बहुत ही प्रसन्नता की बात है कि आधुनिक पद्धति को अपनाते हुए भी यहां के किसानों ने कृषि के परंपरागत तरीकों और अनाज की किस्मों को बचाए रखा है.
'समाज का आदर्श प्रस्तुत करें' : राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि बिहार भगवान बुद्ध और अशोक की धरती है. उन्होंने सम्पूर्ण मानवता को शांति और सद्भाव का पाठ पढ़ाया है. आप इस पावन धरती के वासी हैं. इसलिए आपसे यह अपेक्षा की जाती है कि आप एक ऐसे समाज का आदर्श प्रस्तुत करें, जिसमें द्वेष और कलह की कोई गुंजाइश न हो.
'इस कारण उत्पादन में बढ़ोतरी'- राज्यपाल : बिहार के राज्यपाल राजेन्द्र विश्वनाथ आर्लेकर ने अपने संबोधन में कहा कि प्राकृतिक कृषि में लागत कम होती है. उन्होंने कहा कि इस कारण उत्पादन और आय दोनों में बढ़ोतरी हुई है. राज्यपाल ने कहा कि आज हम सभी को प्राकृतिक खेती को समझने और बढ़ावा देने की जरुरत है.
उत्पादन में हुई बढ़ोतरी- नीतीश कुमार : बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने अपने संबोधन में कहा कि चौथे कृषि रोड मैप की आज शुरुआत हो रही है, जो खुशी की बात है. मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्पादन में बढ़ोतरी हुई है, चावल मक्का, गेहूं और मछली उत्पादन में काफी इजाफा हुआ है.
तेजस्वी यादव का संबोधन : वहीं अपने संबोधन में डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव ने कहा कि पहले कृषि रोड मैप की शुरुआत मुख्यमंत्री ने 2008 में की थी. बिहार सरकार द्वारा जो योजना बनाई जा रही है, इससे किसानों का भला होगा. कृषि रोडमैप बिहार के विकास का रोड मैप है. हम लोग लोगों को लाखों की संख्या में नौकरी देने का काम कर रहे है. मुख्यमंत्री ने मानदेय बढ़ाने का काम किया है. बिहार में जातीय गणना कराई गई. इसका साइंटिफिक आंकड़ा उपलब्ध हो पाया, यह बड़ी उपलब्धि है.
पटना पहुंची राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मूः इससे पहले राष्ट्रपति मुर्मू आज 11 बजे वायु सेना के विशेष विमान से पटना एयरपोर्ट पहुंची, जहां सीएम नीतीश कुमार और राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अर्लेकर उनका स्वागत किया. इस मौके पर बिहार सरकार के कई मंत्री भी पटना एयरपोर्ट पर मौजूद रहे. एयरपोर्ट से सीधे राष्ट्रपति मुर्मू बापू सभागार के लिए रवाना हो गईं, जहां चौथे कृषि रोड मैप पर आयोजित समारोह में लोगों को संबोधित करेंगी. राष्ट्रपति बापू सभागार से 1 बजे करीब राज भवन लौट आएंगी. राष्ट्रपति आज ही गुरुद्वारा भी जाएंगी और शाम में फिर राज्यपाल की ओर से राजभवन में भोज का भी आयोजन है, जिसमें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और बिहार सरकार के मंत्री विरोधी दल के नेता भी शामिल होंगे.
20 अक्टूबर को गया जाएंगी राष्ट्रपतिः राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू रात में राजभवन में ही रात्रि विश्राम करेंगी. 19 अक्टूबर को राष्ट्रपति मोतिहारी में केंद्रीय विश्वविद्यालय के कार्यक्रम में शामिल होगीं. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार भी राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू के साथ जाएंगे. 19 अक्टूबर को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राष्ट्रपति के साथ पटना एम्स भी जाएंगे. 20 अक्टूबर को राष्ट्रपति गया सेंट्रल यूनिवर्सिटी में कार्यक्रम में शिरकत करेंगे, 20 अक्टूबर को मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 11 बजे पटना एयरपोर्ट पर उन्हें विदाई दे देंगे. राष्ट्रपति गया से ही दिल्ली के लिए रवाना हो जाएंगी. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार गया नहीं जा रहे हैं.
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