देवरिया: यूपी के देवरिया जिले के विट्ठलपुर गांव में निषाद समाज के युवक की मौत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है. शनिवार को कैबिनेट मंत्री संजय निषाद ने पीड़ित के परिजनों से मुलाकात की थी. जिसके बाद रविवार को सपा के दो सांसद सुल्तानपुर के सांसद राम भुआल निषाद और संत कबीर नगर के सांसद लक्ष्मीकांत निषाद की अगुवाई में सपा का एक प्रतिनिधिमंडल देवरिया के विट्ठलपुर गांव जा रहा था. लेकिन रास्ते में भी पुलिस ने दोनों सांसदों को गिरफ्तार कर लिया है.
पिछले दिनों निषाद समाज के एक युवक की हत्या के बाद देवरिया में निषाद समाज के नेताओं का पीड़ित परिवार से मिलने जुलने का सिलसिला जारी है. शनिवार को निषाद समाज के राष्ट्रीय अध्यक्ष और योगी सरकार के कैबिनेट मंत्री संजय निषाद ने मृतक के परिजनों से मिले. उसके बाद रविवार को समाजवादी पार्टी का एक प्रतिनिधिमंडल दो सांसदों के नेतृत्व में देवरिया पहुंचा था. लेकिन प्रशासन ने इन दोनों सांसदों को मृतक युवक के परिजनों से मिलने नहीं दिया. और रास्ते में ही गिरफ्तार कर उन्हें देवरिया जेल लेकर चली गई. इसके बाद समाजवादी पार्टी के कार्यकर्ताओं ने जेल परिसर पर ही जमकर हंगामा किया.
बता दें कि, देवरिया के रुद्रपुर थाना इलाके के विट्ठलपुर गांव के रहने वाले दीपू निषाद की मौत 14 जून को एक विवाद में हुए मारपीट के दौरान हो गई थी. उसका शव पिपरा कछार इंटर कॉलेज के पास बरामद हुआ था. मृतक के परिजनों का आरोप था कि, युवक की बेरहमी से पीट-पीटकर हत्या की गई है. इस मामले में प्रधान समेत चार लोगों के खिलाफ हत्या का मुकदमा भी दर्ज हुआ है.
रविवार को मृतक के घर जाने के लिए सपा नेता और कार्यकर्ता अड़े थे. लेकिन पुलिस ने माहौल बिगड़ने की आशंका को देखते हुए सपा नेताओं के काफिले को रोक दिया. और सपा सांसद राम भुआल निषाद, लक्ष्मीकांत निषाद सहित कई नेताओं को गिरफ्तार कर लिया गया. वहीं सपा नेता राम भुआल निषाद ने कहा कि, संजय निषाद अपने सरकार का नजायज लाभ लेना चाहते हैं. उन्हें प्रशासन ने आने दिया. और वह मौके पर बवाल भी कराए. संजय निषाद को चाहिए की पीड़ित को कानूनी तरह से सहयोग करें. परिवार की आर्थिक मदद करें.
वहीं संजय निषाद ने शनिवार को मृतक के परिजनों से मुलाकात कर उनकी समस्या सुनी, और मामले को मुख्यमंत्री के समक्ष रखने का आश्वासन भी दिया. निषाद ने कहा की, वह निषाद पार्टी के कार्यकर्ता की हत्या के मामले में पीड़ित परिजनों के साथ हैं. उनके परिवार की हर संभव मदद करने की कोशिश की जा रही है. उन्होंने कहा था कि, परिजनों ने आरोप लगाया है कि, पुलिस प्रशासन की ओर से आरोपी को बचाने की कोशिश की जा रही है, ऐसे में उस पर हत्या का मामला धारा 302 के तहत मुकदमा दर्ज होना चाहिए. उन्होंने पुलिस प्रशासन को आदेश दिया है कि, मृतक के परिजनों के साथ कोई भी भेदभाव नहीं होना चाहिए.