ETV Bharat / state

पानी की बर्बादी रोकने के लिए दिल्ली जल बोर्ड की एनफोर्समेंट टीमों ने 1323 किए चालान, काटे 179 अवैध कनेक्शन - delhi water crisis

Delhi water crisis: राजधानी में इन दिनों जल संकट को लेकर सरकार विभिन्न प्रयास कर रही है. इसी को लेकर दिल्ली की जल मंत्री ने कई जानकारी दी. आइए जानते हैं उन्होंने क्या बताया..

अधिकारियों के साथ जल मंत्री आतिशी
अधिकारियों के साथ जल मंत्री आतिशी (ETV Bharat)
author img

By ETV Bharat Delhi Team

Published : Jun 13, 2024, 10:35 PM IST

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने दावा किया है कि मुनक नहर के जरिए आने वाले पानी का ट्रांसमिशन लाॅस में 25 फीसदी तक की कमी आई है. साथ ही 3500 किलोमीटर पाइप लाइन बदलने और 7300 किलोमीटर नई पाइप लाइन डालने से लीकेज अंतरराष्ट्रीय मानक से भी कम हो गया है. पानी की किल्लत से जूझ रही दिल्ली में पानी बचाने को लेकर लिए गए उपायों की जानकारी देते हुए जल मंत्री आतिशी ने बताया कि, सरकार ने मुनक नहर के ट्रांसमिशन लाॅस रोकने के लिए 500 करोड़ रुपए खर्च किए, जिससे पानी की बर्बादी 30 से घटकर 5 फीसदी पर आ गई है. उन्होंने कहा कि पिछले नौ सालों में लीकेज से पानी की बर्बादी रोकने के लिए 3500 किलोमीटर की पाइपलाइन को बदला गया है. इसके अलावा जल बोर्ड ने 1323 चालान किए और 179 अवैध कनेक्शन काटे हैं.

मंत्री आतिशी ने कहा, वर्तमान में हरियाणा से यमुना में पर्याप्त पानी नहीं छोड़े जाने की वजह से दिल्ली में पानी का प्रोडक्शन 50 एमजीडी तक कम हो गया है. इस कारण कई इलाकों में पानी की किल्लत हो रही है. सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट दाखिल कर दिल्ली में पानी की बर्बादी को रोकने और पानी का उत्पादन बढ़ाने के लिए उठाए गए कदमों की विस्तृत जानकारी दी है. दिल्ली में चल रहे जलसंकट पर पिछले एक सप्ताह से सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है. कल सुप्रीम कोर्ट ने अपनी सुनवाई में दिल्ली सरकार से पूछा था कि दिल्ली सरकार पानी को बर्बाद होने से बचाने के लिए क्या क्या कदम उठा रही है? इसके बाद गुरुवार को दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के सामने पिछले एक साल से उठाये जा रहे कदमों को और वर्तमान में जलसंकट की स्थिति में पिछले एक महीने किए जा रहे प्रयासों के बारे में बताया.

उन्होंने आगे बताया, इसके साथ ही दिल्ली सरकार ने पानी के फ्लो को मापने के लिये पूरी दिल्ली में बड़े स्तर पर 3285 बल्क फ्लो मीटर लगाए गए है. जिन जगहों से पानी वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से बाहर निकलता है, जिन पॉइंट्स पर पानी की पाइपलाइन अलग होती है और जिन पॉइंट्स पर पानी की पाइपलाइन यूजीआर तक पहुंचती है उन हर पॉइंट्स पर फ्लो मीटर लगाए गए है. दिल्ली में वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से प्राथमिक यूजीआर और यूजीआर पर हाल ही में करवाए गए वाटर ऑडिट के अनुसार, यहां अंतरराष्ट्रीय मानकों से भी कम पानी की लीकेज है.

जलमंत्री आतिशी ने कहा, ये अफवाहें फैलाई जा रही है कि कई जगह पर पाइपलाइनों में बहुत ज़्यादा लीकेज हो रही है. ऐसा बिलकुल भी नहीं है. जब पानी, वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से यूजीआर तक नहीं पहुंचता तबतक न सिर्फ फ्लो मीटर, बल्कि दिल्ली जलबोर्ड द्वारा बनाई गई पेट्रोलिंग टीम पानी की सभी मुख्य डिस्ट्रीब्यूशन लाइन की मॉनिटरिंग करते है.

यह भी पढ़ें- एमसीडी के 3049 डीबीसी कर्मचारियों को एमटीएस के पद पर मिली नियुक्ति, मेयर से मुलाक़ात कर किया धन्यवाद

दिल्ली जल बोर्ड ने पानी की बर्बादी को रोकने के लिए शहर में एनफोर्समेंट टीमें लगाई है, जो पिछले 10 दिनों से सुबह 7 बजे लगातार फील्ड में जाते हैं और यदि कहीं भी लोगों द्वारा पानी बर्बाद किया जा रहा है तो उसका चालान काटते हैं. अबतक 1323 चालान काटे जा चुके हैं. साथ ही अबतक पानी के 179 अवैध कनेक्शन जहां से पानी की चोरी और बर्बादी हो रही थी, उन्हें भी काटा गया है. इसके अलावा जलबोर्ड द्वारा एक कमांड और कंट्रोल सेंटर बनाया गया है, जहां सभी फ्लो मीटर का डेटा जांचा जाता है और एक लीक डिटेक्शन सेल द्वारा डेटा और ग्राउंड इंस्पेक्शन के माध्यम से पिछले 6 महीने में 2000 से ज्यादा पाइपलाइन लीकेज को पहचान कर उसे दूर किया गया है.

यह भी पढ़ें- प्रदूषण से लड़ने के लिए दिल्ली सरकार चलाएगी एंटी डस्ट कैंपेन, 12 सूत्रीय फोकस प्वाइंट निर्धारित

नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने दावा किया है कि मुनक नहर के जरिए आने वाले पानी का ट्रांसमिशन लाॅस में 25 फीसदी तक की कमी आई है. साथ ही 3500 किलोमीटर पाइप लाइन बदलने और 7300 किलोमीटर नई पाइप लाइन डालने से लीकेज अंतरराष्ट्रीय मानक से भी कम हो गया है. पानी की किल्लत से जूझ रही दिल्ली में पानी बचाने को लेकर लिए गए उपायों की जानकारी देते हुए जल मंत्री आतिशी ने बताया कि, सरकार ने मुनक नहर के ट्रांसमिशन लाॅस रोकने के लिए 500 करोड़ रुपए खर्च किए, जिससे पानी की बर्बादी 30 से घटकर 5 फीसदी पर आ गई है. उन्होंने कहा कि पिछले नौ सालों में लीकेज से पानी की बर्बादी रोकने के लिए 3500 किलोमीटर की पाइपलाइन को बदला गया है. इसके अलावा जल बोर्ड ने 1323 चालान किए और 179 अवैध कनेक्शन काटे हैं.

मंत्री आतिशी ने कहा, वर्तमान में हरियाणा से यमुना में पर्याप्त पानी नहीं छोड़े जाने की वजह से दिल्ली में पानी का प्रोडक्शन 50 एमजीडी तक कम हो गया है. इस कारण कई इलाकों में पानी की किल्लत हो रही है. सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में एफिडेविट दाखिल कर दिल्ली में पानी की बर्बादी को रोकने और पानी का उत्पादन बढ़ाने के लिए उठाए गए कदमों की विस्तृत जानकारी दी है. दिल्ली में चल रहे जलसंकट पर पिछले एक सप्ताह से सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई चल रही है. कल सुप्रीम कोर्ट ने अपनी सुनवाई में दिल्ली सरकार से पूछा था कि दिल्ली सरकार पानी को बर्बाद होने से बचाने के लिए क्या क्या कदम उठा रही है? इसके बाद गुरुवार को दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के सामने पिछले एक साल से उठाये जा रहे कदमों को और वर्तमान में जलसंकट की स्थिति में पिछले एक महीने किए जा रहे प्रयासों के बारे में बताया.

उन्होंने आगे बताया, इसके साथ ही दिल्ली सरकार ने पानी के फ्लो को मापने के लिये पूरी दिल्ली में बड़े स्तर पर 3285 बल्क फ्लो मीटर लगाए गए है. जिन जगहों से पानी वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से बाहर निकलता है, जिन पॉइंट्स पर पानी की पाइपलाइन अलग होती है और जिन पॉइंट्स पर पानी की पाइपलाइन यूजीआर तक पहुंचती है उन हर पॉइंट्स पर फ्लो मीटर लगाए गए है. दिल्ली में वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से प्राथमिक यूजीआर और यूजीआर पर हाल ही में करवाए गए वाटर ऑडिट के अनुसार, यहां अंतरराष्ट्रीय मानकों से भी कम पानी की लीकेज है.

जलमंत्री आतिशी ने कहा, ये अफवाहें फैलाई जा रही है कि कई जगह पर पाइपलाइनों में बहुत ज़्यादा लीकेज हो रही है. ऐसा बिलकुल भी नहीं है. जब पानी, वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से यूजीआर तक नहीं पहुंचता तबतक न सिर्फ फ्लो मीटर, बल्कि दिल्ली जलबोर्ड द्वारा बनाई गई पेट्रोलिंग टीम पानी की सभी मुख्य डिस्ट्रीब्यूशन लाइन की मॉनिटरिंग करते है.

यह भी पढ़ें- एमसीडी के 3049 डीबीसी कर्मचारियों को एमटीएस के पद पर मिली नियुक्ति, मेयर से मुलाक़ात कर किया धन्यवाद

दिल्ली जल बोर्ड ने पानी की बर्बादी को रोकने के लिए शहर में एनफोर्समेंट टीमें लगाई है, जो पिछले 10 दिनों से सुबह 7 बजे लगातार फील्ड में जाते हैं और यदि कहीं भी लोगों द्वारा पानी बर्बाद किया जा रहा है तो उसका चालान काटते हैं. अबतक 1323 चालान काटे जा चुके हैं. साथ ही अबतक पानी के 179 अवैध कनेक्शन जहां से पानी की चोरी और बर्बादी हो रही थी, उन्हें भी काटा गया है. इसके अलावा जलबोर्ड द्वारा एक कमांड और कंट्रोल सेंटर बनाया गया है, जहां सभी फ्लो मीटर का डेटा जांचा जाता है और एक लीक डिटेक्शन सेल द्वारा डेटा और ग्राउंड इंस्पेक्शन के माध्यम से पिछले 6 महीने में 2000 से ज्यादा पाइपलाइन लीकेज को पहचान कर उसे दूर किया गया है.

यह भी पढ़ें- प्रदूषण से लड़ने के लिए दिल्ली सरकार चलाएगी एंटी डस्ट कैंपेन, 12 सूत्रीय फोकस प्वाइंट निर्धारित

ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.