मथुरा: श्री कृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास के अध्यक्ष दिनेश शर्मा ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को खून से पत्र लिखकर सनातन बोर्ड का गठन करने की मांग की है. यहां प्रयागराज महाकुंभ में साधु संतों की धर्म संसद हुई. इसमें भी सनातन बोर्ड का गठन करने की मांग उठी थी. देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ही इस कार्य को कर सकते हैं. कांग्रेस कार्यकाल में बक्फ बोर्ड का गठन हुआ था. अब समय आ चुका है कि हिंदुओं की रक्षा के लिए सनातन बोर्ड का गठन होना अति आवश्यक है.
दिनेश शर्मा ने पीएम को खून से लिखा पत्र : श्री कृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास के राष्ट्रीय अध्यक्ष दिनेश शर्मा ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को अपने खून से पत्र देश में सनातन बोर्ड गठन करने की मांग की. उन्होंने कहा कि हिंदुओं पर हो रहे अत्याचार के लिए अति आवश्यक है. प्रयागराज महाकुंभ में संत समागम के साथ हिंदुओं की धारा वहां देखी गई. एक सूत्र में बांध गए थे. प्रयागराज महाकुंभ में अब तक 50 करोड़ से अधिक सनातन हिंदू ने स्नान किया है.
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बक्फ बोर्ड निरस्त किया जाए : कांग्रेस कार्यकाल में हिंदुओं पर हुए अत्याचार और मुस्लिम समुदाय के लिए बक्फ बोर्ड का गठन किया गया. मुस्लिम समुदाय को दुनिया के कई देशों से अतिरिक्त फंडिंग की जाती है. इतनी बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत में हिंदुओं के लिए सनातन बोर्ड का गठन होना चाहिए. देश के प्रधानमंत्री इस कार्य को करने के लिए सक्षम है. जम्मू कश्मीर में धारा 370 हटाकर एक नया इतिहास प्रधानमंत्री ने रचा. इस तरह हिंदुओं के पक्ष में सनातन बोर्ड का गठन होना चाहिए.
दिनेश शर्मा ने बताया प्रयागराज में साधु संतों की धर्म संसद होने के बाद सनातन बोर्ड का गठन करने की मांग उठी है. अभी तक प्रधानमंत्री ने न तो वक्फ बोर्ड को समाप्त किया है ओर न ही सनातन बोर्ड का गठन किया है. आज हमने बड़े दुखी मन से देश के प्रधानमंत्री को अपने खून से पत्र लिखा है और मांग की है कि हमारे सनातन हिंदुओं के लिए सनातन बोर्ड का गठन होना आवश्यक है.
मुस्लिम समुदाय के लिए तो वक्फ बोर्ड बना हुआ है. अल्पसंख्यक आयोग बना हुआ है. मुस्लिम देश से भी उनके लिए फंडिंग की जाती है लेकिन, हिंदुओं के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ही आखिरी उम्मीद है. इन दो नेताओं के अलावा हिंदुओं के लिए और कोई नहीं सोचता है. इसलिए प्रधानमंत्री से विन्रम निवेदन है कि सनातन बोर्ड का गठन किया जाए.
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