जगदलपुर: बस्तर दशहरे के लिए हर साल नया रथ तैयार किया जाता है. इस साल भी रथ बनाने की तैयारी चल रही है. रथ निर्माण के लिए लकड़ी काटने गया ग्रामीण हादसे का शिकार हो गया. हादसे में ग्रामीण के पैर में गंभीर चोटे आई हैं. घायल ग्रामीण को डिमरापाल अस्पताल में भर्ती कराया गया है. घायल ग्रामीण का कहना है कि उससे मिलने के लिए अबतक जिला प्रशासन को कोई प्रतिनिधि नहीं पहुंचा. दशहरा समिति के सदस्य भी उसका हाल चाल लेने नहीं आए. घायल ग्रामीण का कहना है कि मुश्किल की घड़ी में उसे मदद की दरकार है.
बस्तर जिला प्रशासन से मदद की मांग: घायल ग्रामीण पंचम निषाद का कहना है कि वो अपने साथियों के साथ दरभा के जंगल में लकड़ी काटने गया था. रथ निर्माण के लिए लकड़ी काटने के दौरान पेड़ का एक हिस्सा उसके पैरों पर गिर गया. हादसे में उसे गंभीर चोटे आई. आनन फानन में उसे अस्पताल पहुंचाया गया. जांच के दौरान डॉक्टरों ने बताया कि उसके पैर की हड्डी टूट गई है. डॉक्टर ने ग्रामीण के पैर का ऑपरेशन भी कर दिया. पंचम का कहना है कि मुश्किल की इस घड़ी में उसकी मदद के लिए कोई भी अधिकारी और बस्तर दशहरा समिति के लोग सामने नहीं आए.
मेरे पैर का डॉक्टरों ने ऑपरेशन कर दिया है. हम लकड़ी काटने गए तभी ये हादसा हो गया. तहसीलदार या कोई भी अधिकारी मदद के लिए नहीं आए. दशहरा समिति से जुड़े लोगों ने भी मदद नहीं की है.: पंचम निषाद, घायल ग्रामीण
मेरे भाई के पैरों पर भारी लकड़ी गिर गया. एंबुलेंस की मदद से हम लोग अस्पताल लेकर आए. आठ दिनों से कोई भी हमारा हाल लेने नहीं आया.: मेघनाथ निषाद, परिजन
हादसे पर बस्तर कलेक्टर का बयान: ग्रामीण के साथ हुए हादसे पर बस्तर कलेक्टर हरीश एस ने कहा कि घटना कैसे हुई इसकी जांच कराई जाएगी. अस्पताल में ग्रामीण की क्या हालत है इसका भी संज्ञान लिया जाएगा. जांच के बाद जो भी उचित कार्रवाई होगी वो की जाएगी. डेरी गढ़ई की रस्म के बाद रथ निर्माण का काम शुरु हो जाता है. रथ के निर्माण के लिए जंगल से लकड़ी लाई जाती है. लकड़ी लाने के लिए हर साल अलग अलग गांव के हजारों ग्रामीण जंगल पहुंचते हैं. पारंपरिक औजारों की मदद से लकड़ी काटी जाती है और सिरहसार भवन तक लाया जाता है.