देहरादून: खानपुर विधायक के दफ्तर पर गोलीकांड के बाद चर्चाओं में आए पूर्व विधायक प्रणव सिंह चैंपियन इन दिनों हॉस्पिटल में भर्ती है. जेल में ही प्रणव सिंह चैंपियन की तबीयत बिगड़ गई थी. जिसके बाद चैंपियन को हरिद्वार जिला हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया था. हरिद्वार जिला हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने भी चैंपियन को हायर सेंटर रेफर कर दिया है. चैंपियन कल सुबह मंगवलार 18 फरवरी को देहरादून के दून हॉस्पिटल में शिफ्ट हो सकते है. वहीं आज उस घटना के बारे में पूरी जानकारी दी जाएगी, जिसकी वजह से चैंपियन जेल में बंद है.
सोशल मीडिया पर शुरु हुआ विवाद: दरअसल, 25 जनवरी 2025 को उत्तराखंड नगर निकाय चुनाव का रिजल्ट आया था. इस चुनाव के बाद सोशल मीडियो पर खानपुर विधायक उमेश कुमार और पूर्व विधायक प्रणव सिंह चैंपियन के बीच बयानबाजी हुई थी. इस दिन यानी 25 जनवरी रात को ही खानपुर विधायक उमेश कुमार अपने समर्थकों के साथ चैंपियन के महल (घर) पर पहुंचे थे, और हंगामा किया था. ये शिकायत चैंपियन की पत्नी ने पुलिस से की थी.
26 जनवरी शाम को चैंपियन ने की गोलाबारी: इस घटना को 24 घंटे में भी नहीं बीते थे कि 26 जनवरी को प्रणव सिंह चैंपियन अपने समर्थकों के साथ खानपुर विधायक उमेश कुमार के कार्यालय पर पहुंचे. आरोप है कि चैंपियन ने विधायक उमेश कुमार के स्टाफ के साथ मारपीट की और गोलियां भी चलाई. गोलीबारी के बाद प्रणव सिंह चैंपियन देहरादून चला गया था.
पुलिस ने चैंपियन को देहरादून से गिरफ्तार किया था: वहीं मामले की जानकारी मिलते ही पुलिस भी उमेश कुमार के कार्यालय पर पहुंची थी. उमेश कुमार की शिकायत पर पुलिस ने चैंपियन को देहरादून के गिरफ्तार किया था. वहीं चैंपियन की गिरफ्तारी के बाद उनकी पत्नी देवयानी ने भी रुड़की पुलिस को विधायक उमेश कुमार के खिलाफ 25 जनवरी को घटना को लेकर शिकायत दी थी. इस मामले में पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया था और विधायक उमेश कुमार को हिरासत में लिया था.
27 जनवरी को दोनों को कोर्ट में पेश किया: इस मामले में 27 जनवरी को हरिद्वार पुलिस ने दोनों ही नेताओं को कोर्ट में पेश किया. कोर्ट ने प्रणव सिंह चैंपियन को तो 14 दिन की हिरासत में भेज दिया था. तभी से चैंपिनय हरिद्वार जिले में बंद है. वहीं खानपुर विधायक उमेश कुमार को जमानत दे दी थी.
हरिद्वार कोर्ट ने जमानत याचिका कर दी थी खारिज: गिरफ्तारी के करीब 12 दिन बाद सात फरवरी को हरिद्वार कोर्ट ने चैंपियन की जमानत याचिका और पुलिस की तरफ से दायर किए गए प्रार्थना पत्र जिसमें धारा 109 (हत्या के प्रयास) हटाने की मांग की थी, उस पर सुनवाई हुई. कोर्ट ने दोनों ही याचिकायों को कैंसिल कर दिया था. साथ ही चैंपियन की न्यायिक हिरासत में 20 फरवरी तक बढ़ा दी थी.
15 फरवरी को बिगड़ी तबीयत: शनिवार 15 फरवरी शाम को अचानक से चैंपियन की तबीयत खराब हो गई. जिसके बाद चैंपियन को जेल हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने देखा और जिला हॉस्पिटल हरिद्वार रेफर कर दिया. हरिद्वार जिला हॉस्पिटल में भी चैंपियन के टेस्ट किए. हरिद्वार जिला हॉस्पिटल के डॉक्टरों ने चैंपियन को हायर सेंटर रेफर करने की सलाह दी. बताया जा रहा है कि कल सुबह 18 फरवरी को चैंपियन को हायर सेंटर देहरादून रेफर किया जा सकता है.
चैंपियन के विवादों की भी लंबी लिस्ट: मगरमच्छ पर गोली चलाने का मामला, तमंचे पर डिस्को करते दिख चुके हैं चैंपियन, पत्रकार को थप्पड़ मारने का भी लग चुका है आरोप, निर्दलीय विधायक उमेश कुमार से अदावत, विवाद के बाद भाजपा ने किया किनारा, ये सब वे घटनाएं हैं जिनके कारण प्रणव सिंह चैंपियन पहले भी चर्चाओं में रहे हैं.
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