शिमला: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक बार फिर से हिमाचल के टैलेंट पर विश्वास जताया है. पीएम ने सोलर एनर्जी के अपने ड्रीम प्रोजेक्ट को धरातल पर उतारने के लिए फिर से हिमाचल कैडर के रिटायर्ड आईएएस ऑफिसर को चुना है. वर्ष 1987 बैच के हिमाचल कैडर के आईएएस अधिकारी तरुण कपूर को प्रधानमंत्री का सलाहकार बनाया गया है. उनका सेवाकाल दो साल का होगा. इससे पहले भी तरुण कपूर पीएम के सलाहकार रह चुके हैं. तरुण कपूर का एनर्जी सेक्टर में काम करने का अच्छा-खासा अनुभव है.
सोलर मैन पर पीएम मोदी ने जताया भरोसा: शिमला के रहने वाले तरुण कपूर के पिता राज्य बिजली बोर्ड में सेवारत थे. उनकी शिक्षा शिमला और पालमपुर में हुई है. तरुण कपूर विश्वविख्यात नाथपा-झाकड़ी जलविद्युत परियोजना में भी निदेशक कार्मिक के पद पर सेवाएं दे चुके हैं. केंद्र सरकार की मिनी नवरत्न कंपनी सतलुज जलविद्युत निगम लिमिटेड पूरी दुनिया में अपने अनूठे डिजाइन और शानदार पावर जेनरेशन के लिए पहचान रखती है. एनर्जी सेक्टर में विशाल अनुभव के कारण ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तरुण कपूर को अपनी टीम में फिर से शामिल किया है. दिलचस्प बात है कि तरुण कपूर को सोलर मैन के नाम से ख्याति मिली है.
क्या है पीएम का सोलर एनर्जी का सपना: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने पहले कार्यकाल से ही ग्रीन एनर्जी के क्षेत्र में काम कर रहे हैं. वे सोलर एनर्जी को बढ़ावा दे रहे हैं. इसी साल फरवरी में एक नई योजना भी शुरू की गई है. पीएम सूर्य घर मुफ्त बिजली योजना के तहत सोलर एनर्जी को बढ़ावा देने के लिए कई मोर्चों पर काम किया जा रहा है. हिमाचल में सोलर एनर्जी को लेकर काफी काम हुआ है. पूर्व में डबल इंजन सरकार के समय जब हिमाचल में भाजपा सरकार सत्ता में थी तो दूरस्थ इलाकों में जहां बर्फबारी के कारण बिजली सप्लाई बाधित हो जाती थी, वहां सोलर एनर्जी पहुंचाई गई. वर्तमान सरकार भी सोलर एनर्जी कांसेप्ट को आगे ले जा रही है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का सपना बिजली बिल शून्य करना है. पीएम के सपने को साकार करने के लिए ही वर्ष 2016 में हिमाचल सरकार ने भी सबसे पहले सोलर पावर पॉलिसी लाई थी.
तरुण कपूर का अनुभव आएगा काम: तरुण कपूर ने इलेक्ट्रिक इंजीनियर की पढ़ाई की है. वे हिमाचल में सरकारी सेवा के दौरान राज्य के ऊर्जा विभाग के निदेशक, हिमाचल पावर कारपोरेशन के मैनेजिंग डायरेक्टर, केंद्र की मिनी नवरत्न कंपनी सतलुज जलविद्युत निगम के निदेशक (कार्मिक) के साथ ही हिमाचल प्रदेश पावर ट्रांसमिशन कारपोरेशन में भी प्रबंध निदेशक का कार्यभार संभाल चुके हैं. यही नहीं, देश में सोलर एनर्जी के भविष्य को लेकर तरुण कपूर ने ही एक ब्लू प्रिंट भी तैयार किया था. पीएम नरेंद्र मोदी तरुण कपूर की कार्यक्षमता से भली-भांति परिचित हैं.
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फिर से तरुण कपूर को बनाया गया पीएम का सलाहकार: तरुण कपूर केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्रालय से नवंबर 2021 को रिटायर हुए थे. उसके बाद मई 2022 में पीएम ने उन्हें अपना सलाहकार बनाया. ये कार्यकाल दो साल का था. वर्ष 2024 में अब उन्हें फिर से दो साल के लिए इसी पद पर नियुक्त किया गया है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कहते आ रहे हैं कि भारत ने 2016 में एक लक्ष्य तय किया था, ये लक्ष्य वर्ष 2030 तक अपनी कुल स्थापित बिजली क्षमता का 40 प्रतिशत, गैर-जीवाश्म ऊर्जा स्रोतों से पूरा करने का था, लेकिन भारत ने अपना इसे नवंबर 2021 में ही हासिल कर लिया था. सोलर पावर से लेकर हाइड्रो पावर तक, पवन ऊर्जा से लेकर ग्रीन हाइड्रोजन तक, देश रिन्यूएबल एनर्जी के हर संसाधन को पूरी तरह इस्तेमाल करने की दिशा में काम कर रहा है. तरुण कपूर इसी दिशा में पीएमओ का सहयोग कर रहे हैं.
पीएम की गुड बुक में हिमाचल के अफसर और डॉक्टर्स: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी नब्बे के दशक में हिमाचल भाजपा के प्रभारी रहे हैं. वे हिमाचल की भौगोलिक परिस्थितियों, यहां की जटिलताओं, विकास संबंधी जरूरतों से तो परिचित हैं ही, साथ ही देवभूमि के टैलेंट को भी खूब पहचानते हैं. पीएम नरेंद्र मोदी ने हिमाचल के डॉ. विनोद पाल को कई जिम्मेदारियां सौंपी थी. डॉ. विनोद पाल दुनिया के नामी बाल रोग विशेषज्ञ हैं. वे नीति आयोग में सदस्य हैं और इससे पहले कोविड मैनेजमेंट उन्हीं की देखरेख में हुआ था. इसके अलावा पीएमओ ने एम्स दिल्ली, पीजीआई चंडीगढ़ की कमान भी हिमाचल के डॉक्टर्स क्रमश: रणदीप गुलेरिया और डॉ. जगत राम को सौंपी थी.
केंद्र में हिमाचल के टैलेंट को मिल रही अहमियत: हिमाचल कैडर के आईपीएस अफसर तपन डेका को आईबी का जिम्मा दिया गया था. हिमाचल कैडर के आईपीएस अफसर अश्विनी कुमार सीबीआई के निदेशक रहे हैं. हिमाचल कैडर के सीनियर आईएएस अजय मित्तल को मोदी सरकार ने ही कार्मिक मंत्रालय का सचिव बनाया था. इसी प्रकार एक अन्य आईएएस अफसर अजय त्यागी सेबी के चेयरमैन बनाए गए थे. इस तरह ये साबित होता है कि केंद्र में हिमाचल के टैलेंट को समय-समय पर अहमियत दी जाती रही है. वरिष्ठ मीडिया कर्मी धनंजय शर्मा का कहना है कि तरुण कपूर एक एफिशिएंट ऑफिसर हैं. वे जिस भी पोस्ट पर रहे हैं, वहां उन्होंने खुद को साबित किया है. पीएमओ में लगातार दूसरी बार सलाहकार का पद संभालना अपने आप में ये स्पष्ट करता है कि पीएम नरेंद्र मोदी का उन पर भरोसा है.
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