ETV Bharat / state

कोंडागांव में फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र दिखाकर लाभ लेने का मामला, सर्व आदिवासी समाज ने की कार्रवाई की मांग - Kondagaon Sarva Adivasi Samaj

Kondagaon Sarva Adivasi Samaj कोंडागांव में फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र दिखाकर सरपंच बनने के मामले में सर्व आदिवासी समाज लामबंद हो गया है. कलेक्टर से मिलकर फर्जी प्रमाण पत्र बनाकर लाभ लेने वालों पर कार्रवाई की मांग की है.

Kondagaon Sarva Adivasi Samaj
फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र (ETV Bharat Chhattisgarh)
author img

By ETV Bharat Chhattisgarh Team

Published : Aug 2, 2024, 2:29 PM IST

कोंडागांव: केशकाल के धनोरा के पूर्व सरपंच संतोष उईके का जाति प्रमाण पत्र रद्द कर दिया गया है. संतोष उईके पर आरोप है कि ओबीसी वर्ग से संबंध रखते हैं और उन्होंने गलत तरीके से आदिवासी जाति प्रमाण पत्र बनवाया. इसी फर्जी प्रमाण पत्र का फायदा उठाकर धनोरा गांव का सरपंच बना. प्रशासनिक जांच में यह साबित हो गया कि संतोष उईके ने फर्जी प्रमाण पत्र के माध्यम से अपने आप को आदिवासी दर्शाया. जबकि उनकी जाति भाट है, जो ओबीसी वर्ग में शामिल होती है.

फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र दिखाकर लाभ लेने का मामला (ETV Bharat Chhattisgarh)

फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र बनाने वालों पर हो कार्रवाई: फर्जी आदिवासी प्रमाण पत्र बनाकर सरपंच बनने और उसका लाभ उठाने के मामले में सर्व आदिवासी समाज अब लामबंद हो गया है. सर्व आदिवासी समाज के ब्लॉक अध्यक्ष फरसू सलाम और दूसरे सामाजिक पदाधिकारियों ने कोंडागांव कलेक्टर कुणाल दुदावत से मुलाकात की और जांच के लिए धन्यवाद दिया. साथ ही ऐसे ही कई और फर्जीवाड़े की बात कहते हुउ जांच की मांग की.

संतोष उईके के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग: सर्व आदिवासी समाज के ब्लॉक अध्यक्ष फरसू सलाम ने बताया कि संतोष उइके का जाति प्रमाण पत्र निरस्त हो गया है. इसलिए हम कलेक्टर साहब से निवेदन करने आए है कि इससे पहले भी कई बार वह आदिवासी जाति प्रमाण पत्र का फायदा उठा चुके हैं. इस पर भी कार्रवाई होनी चाहिए. जांच समिति से इस पूरे मामले का खुलासा हुआ. संतोष उइके के परिवार वाले अब भी सरकारी सेवा का लाभ ले रहे हैं वो सब निरस्त होना चाहिए.

लटुआ सरपंच की लूट का हुआ अंत, भुगतान में धांधली की जांच के बाद हुईं बर्खास्त - corruption case in balodabazar
कोंडागांव में भारी बारिश से नदी नाले उफान पर, जान जोखिम में डाल स्कूल पहुंच रहे नौनिहाल - Children crossing river Kondagaon
कोंडागांव में जन समस्या निवारण पखवाड़ा, 10 अगस्त तक चलेगा अभियान

कोंडागांव: केशकाल के धनोरा के पूर्व सरपंच संतोष उईके का जाति प्रमाण पत्र रद्द कर दिया गया है. संतोष उईके पर आरोप है कि ओबीसी वर्ग से संबंध रखते हैं और उन्होंने गलत तरीके से आदिवासी जाति प्रमाण पत्र बनवाया. इसी फर्जी प्रमाण पत्र का फायदा उठाकर धनोरा गांव का सरपंच बना. प्रशासनिक जांच में यह साबित हो गया कि संतोष उईके ने फर्जी प्रमाण पत्र के माध्यम से अपने आप को आदिवासी दर्शाया. जबकि उनकी जाति भाट है, जो ओबीसी वर्ग में शामिल होती है.

फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र दिखाकर लाभ लेने का मामला (ETV Bharat Chhattisgarh)

फर्जी आदिवासी जाति प्रमाण पत्र बनाने वालों पर हो कार्रवाई: फर्जी आदिवासी प्रमाण पत्र बनाकर सरपंच बनने और उसका लाभ उठाने के मामले में सर्व आदिवासी समाज अब लामबंद हो गया है. सर्व आदिवासी समाज के ब्लॉक अध्यक्ष फरसू सलाम और दूसरे सामाजिक पदाधिकारियों ने कोंडागांव कलेक्टर कुणाल दुदावत से मुलाकात की और जांच के लिए धन्यवाद दिया. साथ ही ऐसे ही कई और फर्जीवाड़े की बात कहते हुउ जांच की मांग की.

संतोष उईके के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग: सर्व आदिवासी समाज के ब्लॉक अध्यक्ष फरसू सलाम ने बताया कि संतोष उइके का जाति प्रमाण पत्र निरस्त हो गया है. इसलिए हम कलेक्टर साहब से निवेदन करने आए है कि इससे पहले भी कई बार वह आदिवासी जाति प्रमाण पत्र का फायदा उठा चुके हैं. इस पर भी कार्रवाई होनी चाहिए. जांच समिति से इस पूरे मामले का खुलासा हुआ. संतोष उइके के परिवार वाले अब भी सरकारी सेवा का लाभ ले रहे हैं वो सब निरस्त होना चाहिए.

लटुआ सरपंच की लूट का हुआ अंत, भुगतान में धांधली की जांच के बाद हुईं बर्खास्त - corruption case in balodabazar
कोंडागांव में भारी बारिश से नदी नाले उफान पर, जान जोखिम में डाल स्कूल पहुंच रहे नौनिहाल - Children crossing river Kondagaon
कोंडागांव में जन समस्या निवारण पखवाड़ा, 10 अगस्त तक चलेगा अभियान
ETV Bharat Logo

Copyright © 2024 Ushodaya Enterprises Pvt. Ltd., All Rights Reserved.