विकासनगर: जन संघर्ष मोर्चा के अध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा कि 3702 व्यक्तियों की पत्रावलियां शासन में धूल फांक रही हैं. वित्तीय भार का बहाना बनाकर टरकाया जा रहा है. उन्होंने सवाल किया कि चिन्हित आंदोलनकारियों की पत्रावलियां सरकार को क्यों प्रस्तुत नहीं की जा रही हैं.
चिन्हित राज्य आंदोलनकारियों की फाइलें फांक रही धूल: जन संघर्ष मोर्चा अध्यक्ष रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा कि अंतिम चरण में प्रदेश भर के जिला प्रशासन द्वारा चिन्हित 3702 राज्य आंदोलनकारी को चिन्हित करने एवं पेंशन देने के मामले में गृह विभाग को पत्रावली संदर्भित की गई. लेकिन विभाग के अधिकारियों द्वारा अपना हित सधता ना देख रोड़ा अटकने का काम किया गया है. दुर्भाग्य की बात है, कि अधिकारियों द्वारा वित्तीय भार पड़ने एवं अन्य तथ्यों पर उल्लेख कर बहाना बनाकर पत्रावलियों को ठंडे बस्ते में डलवा दिया गया.
रघुनाथ नेगी ने अफसरों पर उठाया सवाल: रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा कि उल्लेख किया गया कि उनके चिन्हांकन/पेंशन से लगभग 20 करोड़ रुपया प्रतिवर्ष खर्च होगा. कहा कि बड़ा सवाल यह है, कि पत्रावली पर निर्णय लेने के लिए क्यों मुख्यमंत्री को पत्रावली प्रस्तुत नहीं की जा रही है. क्यों उनका मंतव्य नहीं लिया जा रहा है. आश्चर्य की बात है कि अधिकारियों को अगर अपने वेतन भत्ते आदि बढ़ाने हों तब सरकार पर वित्तीय भार नहीं पड़ता. जब जनता को कुछ देने की बात आती है, तो इन अधिकारियों की जान पर बन आती है.
रघुनाथ सिंह नेगी ने कहा है कि जन संघर्ष मोर्चा शीघ्र ही मुख्यमंत्री से मिलकर आंदोलनकारियों को उनका हक दिलवाएगा, ताकि चिन्हित राज्य आंदोलनकारियों को भी लाभ मिल सके.
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