शिमला: हिमाचल प्रदेश में राशन कार्ड धारकों को ई-केवाईसी न करवाना महंगा पड़ा है. प्रदेश में पिछले चार-पांच साल से राशन कार्ड धारकों की ई केवाईसी की प्रक्रिया चल रही है, लेकिन लाखों उपभोक्ताओं ने सरकार के इन निर्देशों को हल्के में लेते हुए ई-केवाईसी नहीं कराई है. जिसके कारण इन उपभोक्ताओं के राशन कार्ड को अस्थाई तौर पर ब्लॉक किया गया है. प्रदेश में राशन कार्ड की ई-केवाईसी के लिए 31 दिसंबर का अंतिम मौका दिया गया था. ऐसे में जिन उपभोक्ताओं ने निर्धारित अवधि तक ई-केवाईसी नहीं कराई थी, ऐसे राशन कार्डों को 3 जनवरी से ब्लॉक करने की प्रक्रिया शुरू की गई थी. जिसके चलते लाखों उपभोक्ताओं को जनवरी महीने में सस्ते राशन की सुविधा से हाथ धोना पड़ा है.
इन उपभोक्ताओं को मिलेगा राशन का डबल कोटा
इसको देखते हुए प्रदेश सरकार ने ई-केवाईसी करने पर ऐसे उपभोक्ताओं को फरवरी में दो महीने का कोटा एक साथ देने का फैसला लिया है. जिसके तहत उपभोक्ताओं को अब ई-केवाईसी होने पर फरवरी में राशन का डबल कोटा दिया जाएगा. बता दें कि ई केवाईसी न करने पर प्रदेश में 2,91,162 राशन कार्डों को ब्लॉक किया गया है.
1,59,614 राशन कार्ड धारकों मिलेगा डबल कोटा
हिमाचल में पिछले चार-पांच सालों से राशन कार्ड की ई-केवाईसी की प्रक्रिया चल रही थी. उपभोक्ताओं की सुविधा के लिए विभाग भी लगातार ई-केवाईसी करवाने की डेट को बार-बार एक्सटेंड कर रहा था, ताकि उपभोक्ता अपनी सुविधा के मुताबिक राशन कार्ड की ई-केवाईसी करवा सके, लेकिन इसके बाद भी लाखों उपभोक्ताओं ने विभाग के आदेशों को हल्के में ले लिया. जिस कारण मजबूरन विभाग को 3 जनवरी से ऐसे राशन कार्डों को अस्थाई तौर पर ब्लॉक करने का फैसला लेना पड़ा था. ऐसे में प्रदेश में 2,91,162 लाख राशन कार्डों को ब्लॉक किया गया. जिस कारण 18,72,224 लाख से अधिक लाभार्थियों का सस्ते राशन की सुविधा से हाथ धोना पड़ा है, लेकिन सरकार की सख्ती पर ई-केवाईसी होने के बाद अब 1,59,614 राशन कार्ड अनब्लॉक हो गए हैं. ऐसे में इन राशन कार्डों में दर्ज 7,30,323 लाभार्थियों को इस महीने राशन का डबल कोटा मिलेगा.
ई-केवाईसी क्यों है जरूरी?
ई-केवाईसी का मुख्य उद्देश्य ये सुनिश्चित करना है कि केवल वास्तविक परिवारों को ही सस्ते राशन की सुविधा का लाभ मिले. ये देखा गया है कि बहुत से परिवारों के राशन कार्ड में दर्ज सदस्यों की स्थिति बेटी के विवाह होने और किसी सदस्य के निधन होने से बदल चुकी है, लेकिन ऐसे सदस्यों के नाम अभी भी राशन कार्ड से नहीं कटे हैं. इसलिए इन लोगों के नाम राशन कार्ड से हटाने के लिए ई-केवाईसी जरूरी है, ताकि वास्तविक लाभार्थियों को ही राशन उपलब्ध हो सके. इस तरह राशन कार्ड में दर्ज सदस्यों की जानकारी को अपडेट करने के लिए ई-केवाईसी करवाई जा रही है.
खाद्य नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग के संयुक्त निदेशक रविन्द्र ठाकुर का कहना है, "ई-केवाईसी करने पर जिन उपभोक्ताओं के राशन कार्ड अनब्लॉक हो गए हैं, उन्हें इस महीने राशन का डबल कोटा दिया जाएगा." उन्होंने उपभोक्ताओं से ई-केवाईसी करने की भी अपील की है.