सहारनपुर : मिर्जापुर कोतवाली में पूर्व एमएलसी हाजी इकबाल के बेटों और भाई पर गैंगरेप का मुकदमा दर्ज किया गया है. पुलिस ने बागपत की रहने वाली महिला की शिकायत पर एफआईआर दर्ज की है. बता दें कि पिछले करीब डेढ़ साल से हाजी इकबाल के चारों बेटे एवं उसका भाई गंभीर धाराओं में जेल में बंद हैं, वहीं हाजी इकबाल अभी तक पुलिस की गिरफ्त से दूर है.
पुलिस के मुताबिक, सहारनपुर के मिर्जापुर कोतवाली में एक महिला की शिकायत पर हाजी इकबाल के चारों बेटे वाजिद, जावेद, आलीशान और अफजाल सहित उसके भाई महमूद के खिलाफ गैंगरेप एवं अन्य धाराओं में मुकदमा दर्ज किया गया है. शिकायत करने वाली महिला बागपत जिले की रहने वाली है. वह पूर्व में अपने पति के साथ हाजी इकबाल की ग्लोकल यूनिवर्सिटी में नौकरी करती थी.
मिर्जापुर कोतवाल बीनू चौधरी का कहना है कि महिला डरी हुई थी, जैसे ही उसे पता लगा कि आरोपियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई हो रही है, इसलिए हौसला करके अपनी बात रखी और अपना प्रार्थना पत्र देकर कार्रवाई की मांग की है. वहीं, एसपी देहात सागर जैन का कहना है कि पीड़िता आरोपियों के घर पर मेड के तौर पर काम करती थी. उसके साथ लगातार आरोपियों द्वारा जबरदस्ती बलात्कार किया गया तथा धमकाया गया. उन्होंने बताया कि पीड़िता डरी सहमी हुई थी, जैसे ही उसे पता लगा कि आरोपियों के खिलाफ पुलिस कड़ी कार्रवाई कर रही है इसलिए हौसला करके अपनी बात रखी और प्रार्थना पत्र देकर कार्रवाई किए जाने की मांग की. इस पर पुलिस ने पीड़िता की तहरीर पर पांच लोगों के खिलाफ संबंधित धाराओं में मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई शुरू कर दी है.
इकबाल की पत्नी ने सीएम योगी को लिखा पत्र, बोलीं- साजिश के तहत फंसाया
वहीं, हाजी इकबाल की पत्नी फरीदा बेगम ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर कहा है कि 2 अक्टूबर को मेरे पुत्रों को हाईकोर्ट से जमानत मिल गई थी. जैसे ही पुलिस को इसकी जानकारी मिली तो हसन गैंग से मिलकर मिर्जापुर थाना पुलिस ने बेटे वाजिद, जावेद, अलीशान, अफजाल और देवर पूर्व एमएलसी महमूद के खिलाफ गैंगरेप का मुकदमा दर्ज कर दिया, जिससे वह जेल से बाहर न आ सके. पुलिस ने घटना भी 2021 की बताई है. इस केस को दर्ज कराने के पीछे कई पुलिस अधिकारी व उनसे रंजिश रखने वाला दूसरा पक्ष भी शामिल है. एक दिन पूर्व ही उसने एसएस पी को शिकायत भेज दी थी कि मिर्जापुर पुलिस फर्जी केस दर्ज कर सकती है.
ये है मामलाः बागपत की रहने वाली महिला ने मिर्जापुर कोतवाली पुलिस को तहरीर देकर बताया कि उसका पति मिर्जापुर पोल स्थित हाजी इकबाल की ग्लोकल यूनिवर्सिटी में नौकरी करता था. 2021 में उसका पति बीमार हो गया, जिसके चलते आर्थिक तंगी से परेशान होने पर उसे भी यूनिवर्सिटी में नौकरी करनी पड़ी. जहां पर अलग-अलग दिनों में इकबाल के बेटों वाजिद, जावेद, अलीशान, अफजाल एवं भाई पूर्व एमएलसी महमूद ने उसके साथ दुष्कर्म किया. पीड़िता ने सामूहिक दुष्कर्म का भी आरोप लगाया. पीड़िता का कहना कि वह डर के कारण उस समय तहरीर नहीं दे सकी थी. अब जब उसे पता चला कि इनके खिलाफ काफी केस दर्ज हैं, तब हिम्मत कर तहरीर दी है. पुलिस अधीक्षक देहात सागर जैन ने बताया कि तहरीर के आधार पर पांचों आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया है.
हाजी इकबाल पर 40 से ज्यादा मुकदमे दर्ज : बता दें कि पूर्व एमएलसी हाजी इकबाल पर करीब 40 से ज्यादा मुकदमे दर्ज हैं. पुलिस ने महमूद अली, उसके चारों बेटों और कुछ रिश्तेदारों को पकड़ा, लेकिन इकबाल आज तक पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ सका. हालांकि करीब एक साल पहले सुप्रीम कोर्ट ने पूर्व एमएलसी हाजी इकबाल, उसके भाई और बेटों को राहत दे दी थी. सर्वोच्च अदालत ने इनके ऊपर कायम गैंगरेप, लूट, गैंगस्टर, धोखाधड़ी का मुकदमा वापस लेने का दवाब बनाने समेत मामलों में एफआईआर रद्द करने का आदेश दिया था. साल 2022 में सहारनपुर पुलिस की ओर से इकबाल की करीब 107 करोड़ की संपत्ति को गैंगस्टर एक्ट में कुर्क कर लिया गया था. इनकी अनुमानित कीमत 36 करोड़ 40 लाख 13 हजार 137 थी.