कानपुर: शहर की सीसामऊ सीट से सपा विधायक इरफान सोलंकी के खिलाफ फैसला मंगलवार को एक बार फिर टल गया. सोलंकी के खिलाफ आचार संहिता उल्लंघन व आगजनी मामले में फैसला सुनाया जाना था, लेकिन स्पेशल जज के छुट्टी पर होने के कारण अब अगली तारीख पर निर्णय होगा. सपा विधायक पर आने वाले फैसले को लेकर कानपुर कोर्ट की सुरक्षा बढ़ा दी गई थी. वहीं, सपा विधायक के अधिवक्ता शिवाकांत दीक्षित ने कहा कि सुबह करीब 10:30 बजे सपा विधायक इरफान सोलंकी को भारी सुरक्षा के बीच कानपुर कोर्ट लाया गया. दोपहर बाद फैसला आने की उम्मीद थी. दरअसल, यह फैसला बीती 14 मार्च को सुनाया जाना था, लेकिन किन्ही कारणों से उस दिन भी निर्णय नहीं हो सका था.
अधिवक्ता बोले- निर्दोष साबित होंगे
एक और जहां कमिश्नरेट पुलिस के आला अफसरों का यह दावा है कि सपा विधायक इरफान सोलंकी के खिलाफ जो साक्ष्य कोर्ट में प्रस्तुत किए गए, उसके आधार पर इरफान सोलंकी को लगभग 10 साल की सजा हो सकती है. वहीं, दूसरी ओर इरफान के अधिवक्ता शिवाकांत दीक्षित का दावा है कि सपा विधायक पूरी तरीके से निर्दोष साबित होंगे. साल 2017 में सपा विधायक इरफान सोलंकी के खिलाफ जहां आचार संहिता का मामला दर्ज हुआ था, वहीं, साल 2022 में उनके खिलाफ शहर के जाजमऊ थाने में आगजनी का मामला दर्ज किया गया था.
पिछले 18 माह से महाराजगंज जेल में बंद हैं सपा विधायक
आगजनी समेत कई अन्य मामलों में दोषी सपा विधायक इरफान सोलंकी पिछले 18 माह से महाराजगंज जेल बंद हैं, जबकि उनके भाई रिजवान सोलंकी को कानपुर जेल में बंद रखा गया है. कमिश्नरेट पुलिस के आला अफसर का कहना है कि सपा विधायक के खिलाफ कानपुर के अलग-अलग स्थान में 10 से अधिक मुकदमे दर्ज हैं, जबकि सपा विधायक के अधिवक्ता शिवाकांत दीक्षित का दावा है कि 6 से 7 मामलों में सपा विधायक को कोर्ट ने दोषी माना है, जबकि अन्य में उन्हें या तो जमानत मिल गई है या उनके खिलाफ फाइनल रिपोर्ट लगा दी गई है.
यह भी पढ़ें : अब सपा विधायक इरफान सोलंकी केस में कोर्ट 19 मार्च को सुनाएगी फैसला