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'ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही की रिकॉर्डिंग शेयर क्यों की' हाईकोर्ट ने सुनीता केजरीवाल से मांगा जवाब, 7 अक्टूबर को सुनवाई - Sunita Kejriwal Delhi High Court - SUNITA KEJRIWAL DELHI HIGH COURT

Sunita Kejriwal Delhi High Court: दिल्ली शराब नीति मामले में कोर्ट कार्यवाही की ऑनलाइन रिकॉर्डिंग शेयर करने के आरोप में सुनीता केजरीवाल से दिल्ली हाई कोर्ट ने जवाब मांगा है. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन और न्यायमूर्ति तुषार राव गेडेला ने कहा कि अदालती कार्यवाही को ऑनलाइन रिकॉर्ड या शेयर नहीं किया जा सकता.

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By ETV Bharat Delhi Team

Published : Jul 10, 2024, 9:59 AM IST

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल से आबकारी नीति घोटाला मामले में ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही की रिकॉर्डिंग इंटरनेट पर साझा करने के मामले में अपना जवाब दाखिल करने को कहा है. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि कोर्ट की कार्यवाही को रिकॉर्ड करके इंटरनेट पर साझा नहीं किया जा सकता. इस मामले की अगली सुनवाई 7 अक्टूबर को होगी.

सुनीता केजरीवाल के वकील का तर्क

सुनवाई के दौरान सुनीता केजरीवाल की ओर से पेश वरिष्ठ वकील राहुल मेहरा ने कहा कि सुनीता केजरीवाल इस वीडियो की क्रिएटर नहीं हैं, इसलिए उन्हें पक्षकार की सूची से हटाया जाए. मेहरा ने कहा कि सुनीता केजरीवाल ने केवल ऑडियो रिट्वीट किया है. उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता इस याचिका के जरिये सनसनी पैदा करना चाहते हैं. तब हाईकोर्ट ने कहा कि अदालती कार्यवाही का ऑडियो सोशल मीडिया पर नहीं डालना चाहिए था. आप अपना जवाब दाखिल कीजिए.

इंटरनेट से हटा दी गई है रिकॉर्डिंग

पक्षों ने अदालत को बताया कि निर्देश के अनुसार, इंटरनेट मीडिया से सामग्री हटा दी गई है. मेटा के अधिवक्ता ने कहा कि वेकेशन बेंच की ओर से पारित उस आदेश का पालन करना मुश्किल है जिसमें इस ऑडियो के दोबारा अपलोड होने से रोकने को कहा गया था. उन्होंने कहा कि एक्स पर अपलोड किया गया ऑडियो हटा दिया गया है.

अदालती के नियमों का उल्लंघन

याचिका में सुनीता केजरीवाल, अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की गई है. याचिका में कहा गया है कि अदालत की कार्यवाही की रिकॉर्डिंग को जानबूझ कर पोस्ट और री पोस्ट करना कोर्ट के वीडियो कांफ्रेंसिंग के नियमों का उल्लंघन है. ऐसे में जिन लोगों ने ये आडियो रिकॉर्डिंग पोस्ट किया था उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है.

यह भी पढ़ें- AAP विधायक दुर्गेश पाठक के निर्वाचन को चुनौती देने वाली याचिका खारिज करने से इनकार

बता दें कि 15 जून को हाईकोर्ट की वेकेशन बेंच ने सुनीता केजरीवाल को नोटिस जारी किया था. हाईकोर्ट ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को संबंधित ऑडियो हटाने का निर्देश दिया है. याचिका वकील विभव कुमार ने दायर किया है. याचिका में केजरीवाल की राऊज एवेन्यू कोर्ट में 28 मार्च की पेशी के दौरान वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई सुनवाई को आधार बनाया गया है. याचिका में कहा गया है कि दिल्ली आबकारी घोटाला मामले की सुनवाई कर रही जज कावेरी बावेजा की अदालती कार्यवाही की आडियो रिकॉर्डिंग को सोशल मीडिया पर केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल, राजस्थान कांग्रेस के उपाध्यक्ष विनीता जैन, प्रमिला गुप्ता और दूसरे लोगों ने पोस्ट किया था.

यह भी पढ़ें- सत्येंद्र जैन को नहीं मिली अंतरिम जमानत, बीमार पत्नी की देखभाल के लिए दाखिल की थी अर्जी

नई दिल्ली: दिल्ली हाईकोर्ट ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल से आबकारी नीति घोटाला मामले में ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही की रिकॉर्डिंग इंटरनेट पर साझा करने के मामले में अपना जवाब दाखिल करने को कहा है. कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश मनमोहन की अध्यक्षता वाली पीठ ने कहा कि कोर्ट की कार्यवाही को रिकॉर्ड करके इंटरनेट पर साझा नहीं किया जा सकता. इस मामले की अगली सुनवाई 7 अक्टूबर को होगी.

सुनीता केजरीवाल के वकील का तर्क

सुनवाई के दौरान सुनीता केजरीवाल की ओर से पेश वरिष्ठ वकील राहुल मेहरा ने कहा कि सुनीता केजरीवाल इस वीडियो की क्रिएटर नहीं हैं, इसलिए उन्हें पक्षकार की सूची से हटाया जाए. मेहरा ने कहा कि सुनीता केजरीवाल ने केवल ऑडियो रिट्वीट किया है. उन्होंने कहा कि याचिकाकर्ता इस याचिका के जरिये सनसनी पैदा करना चाहते हैं. तब हाईकोर्ट ने कहा कि अदालती कार्यवाही का ऑडियो सोशल मीडिया पर नहीं डालना चाहिए था. आप अपना जवाब दाखिल कीजिए.

इंटरनेट से हटा दी गई है रिकॉर्डिंग

पक्षों ने अदालत को बताया कि निर्देश के अनुसार, इंटरनेट मीडिया से सामग्री हटा दी गई है. मेटा के अधिवक्ता ने कहा कि वेकेशन बेंच की ओर से पारित उस आदेश का पालन करना मुश्किल है जिसमें इस ऑडियो के दोबारा अपलोड होने से रोकने को कहा गया था. उन्होंने कहा कि एक्स पर अपलोड किया गया ऑडियो हटा दिया गया है.

अदालती के नियमों का उल्लंघन

याचिका में सुनीता केजरीवाल, अरविंद केजरीवाल और आम आदमी पार्टी के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की गई है. याचिका में कहा गया है कि अदालत की कार्यवाही की रिकॉर्डिंग को जानबूझ कर पोस्ट और री पोस्ट करना कोर्ट के वीडियो कांफ्रेंसिंग के नियमों का उल्लंघन है. ऐसे में जिन लोगों ने ये आडियो रिकॉर्डिंग पोस्ट किया था उनके खिलाफ कार्रवाई की मांग की गई है.

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बता दें कि 15 जून को हाईकोर्ट की वेकेशन बेंच ने सुनीता केजरीवाल को नोटिस जारी किया था. हाईकोर्ट ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म को संबंधित ऑडियो हटाने का निर्देश दिया है. याचिका वकील विभव कुमार ने दायर किया है. याचिका में केजरीवाल की राऊज एवेन्यू कोर्ट में 28 मार्च की पेशी के दौरान वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई सुनवाई को आधार बनाया गया है. याचिका में कहा गया है कि दिल्ली आबकारी घोटाला मामले की सुनवाई कर रही जज कावेरी बावेजा की अदालती कार्यवाही की आडियो रिकॉर्डिंग को सोशल मीडिया पर केजरीवाल की पत्नी सुनीता केजरीवाल, राजस्थान कांग्रेस के उपाध्यक्ष विनीता जैन, प्रमिला गुप्ता और दूसरे लोगों ने पोस्ट किया था.

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