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बेरोजगारी पर बीजेपी नेता रमापति राम त्रिपाठी ने कहा- हम सबको रोजगार नहीं दे सकते - BASTI NEWS

बेरोजगारी पर बीजेपी नेता डॉ रमापति राम त्रिपाठी ने कहा कि हम हर किसी को रोजगार नहीं दे सकते.

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बीजेपी नेता डॉ रमापति राम त्रिपाठी (pic credit; ETV Bharat)
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By ETV Bharat Uttar Pradesh Team

Published : Feb 21, 2025, 7:29 PM IST

बस्ती: भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व सांसद रहे डॉ. रमापति राम त्रिपाठी आज बस्ती पहुंचे. यहां उन्होंने संगठन को लेकर हुई महत्वपूर्ण बैठक में हिस्सा लिया. इस दौरान उन्होंने मीडिया से भी बात की, जिसमें वे बेरोजगारी को लेकर पूछ गए सवाल पर विवादित जवाब दे गए. पूर्व प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि सरकार सभी को रोजगार नहीं दे सकती.

बेरोजगारी के मुद्दे पर पूर्व अध्यक्ष बैकफुट पर नजर आए. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार विकसित भारत के एजेंडे पर काम कर रही है. वर्ष 2025-26 का केन्द्रीय बजट विकसित भारत की अवधारणा को ध्यान में रखकर बनाया गया है. सुधारों को ईंधन और समावेशिता को मार्गदर्शक भावना के रूप में रखते हुए, वित्त वर्ष 2025-26 का केंद्रीय बजट विकसित भारत की गति निर्धारित करने का लक्ष्य रखता है.

बीजेपी नेता डॉ, रमापति राम त्रिपाठी बोले - सबको रोजगार नहीं दे सकते (video credit; ETV Bharat)

वही महाकुंभ को लेकर विपक्षियों नेताओं द्वारा दिए जा रहे बयानों पर कहा कि अखिलेश यादव चर्चा में रहने के लिए ऐसा बोलते है. अखिलेश यादव के पास कोई दृष्टिकोण नहीं है और वे जानबूझकर बचकाना बयान देते है. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने भी महाकुंभ को मृत्यु कुंभ बताया था जो उनकी मानसिकता को साफ तौर पर दर्शाता है कि उनकी देश के लोगों के प्रति सोच किस स्तर की है. उन्हें लगता है महाकुंभ में ममता बनर्जी अपनी मृत्यु देख रही होंगी. ये लोग देश की अखंडता को नहीं, बल्कि वोट को ध्यान में रखकर बयान देते है. महाकुंभ में सबसे अधिक देश के गरीब वर्ग के लोग अपनी श्रद्धा से स्नान करने पहुंचे. देश की 70 प्रतिशत आबादी आज बीजेपी के साथ है. इसलिए भारत सबका साथ सबका विकास की तर्ज पर आगे बढ़ रहा है.

इसे भी पढ़ें - चाय बेचने वाला 'ऊर्जा मंत्री' बनकर अधिकारियों पर जमा रहा था रौब, जरा सी चूक ने पहुंचा दिया हवालात - MEERUT POLICE


डॉ. रमापति राम त्रिपाठी ने बस्ती के पुराना डाकखाना भाजपा कार्यालय में हुई प्रेस वार्ता में कहा कि यह बजट स्वीकार करता है कि किसी देश की शक्ति उसकी भूमि में नहीं बल्कि उसके लोगों में होती है. इसप्रकार, सभी वर्गों में समावेशी विकास के माध्यम से मोदी सरकार की सबका साथ, सबका विकास की प्रतिबद्धता को पुनर्जीवित करती है. उन्होंने केंद्रीय बजट 2025-26 की प्रमुख बातें बताते हुए कहा कि बजट में 12 लाख रुपये तक की आय कर-मुक्त (नई कर व्यवस्था में) स्टैंडर्ड डिडक्शन बढ़ाकर 75,000 रुपये किया गया है. सीनियर सिटीजन्स के लिए टैक्स छूट सीमा बढ़ाई गई है.

रमापति त्रिपाठी ने कहा कि किसानों और ग्रामीण विकास के लिए किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) की सीमा 5 लाख रुपये की गई है. प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का विस्तार, ग्राम सड़क योजना के लिए बजट बढ़ाया गया है. रोजगार और स्टार्टअप्स के क्षेत्र में एमएसएमई सेक्टर के लिए सस्ते लोन की व्यवस्था, स्टार्टअप्स को कर छूट का विस्तार, स्किल डेवलपमेंट और अप्रेंटिसशिप योजनाओं के लिए अधिक बजट का प्रावधान किया गया है.

शिक्षा और स्वास्थ्य के लिए नए मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों की स्थापना, डिजिटल एजुकेशन के लिए अधिक फंडिंग, स्वास्थ्य बीमा योजनाओं में बढ़ोतरी हुई है. महिला और सामाजिक कल्याण के लिए महिला उद्यमियों को सस्ते ऋण की सुविधा, अंगनवाड़ी और मातृत्व योजनाओं के लिए अधिक फंडिंग की व्यवस्था की गई है. बुनियादी ढांचे और परिवहन के क्षेत्र में नई हाईवे और रेलवे परियोजनाएं, सस्ते मकानों के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना का विस्तार, मेट्रो और रेलवे सुविधाओं का विस्तार होगा.

वहीं डिजिटल और हरित अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए भी इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) पर सब्सिडी, हरित ऊर्जा परियोजनाओं को बढ़ावा दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि यह बजट मध्यम और निम्न वर्ग के लिए राहतकारी बताया जा रहा है, जिससे करदाताओं को बचत का अवसर मिलेगा और आर्थिक विकास को गति मिलेगी.


यह भी पढ़ें - श्री कृष्ण जन्मभूमि संघर्ष न्यास के अध्यक्ष ने पीएम मोदी को लिखा खून से पत्र, सनातन बोर्ड की मांग - SANATAN BOARD DEMAND

बस्ती: भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व सांसद रहे डॉ. रमापति राम त्रिपाठी आज बस्ती पहुंचे. यहां उन्होंने संगठन को लेकर हुई महत्वपूर्ण बैठक में हिस्सा लिया. इस दौरान उन्होंने मीडिया से भी बात की, जिसमें वे बेरोजगारी को लेकर पूछ गए सवाल पर विवादित जवाब दे गए. पूर्व प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि सरकार सभी को रोजगार नहीं दे सकती.

बेरोजगारी के मुद्दे पर पूर्व अध्यक्ष बैकफुट पर नजर आए. उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार विकसित भारत के एजेंडे पर काम कर रही है. वर्ष 2025-26 का केन्द्रीय बजट विकसित भारत की अवधारणा को ध्यान में रखकर बनाया गया है. सुधारों को ईंधन और समावेशिता को मार्गदर्शक भावना के रूप में रखते हुए, वित्त वर्ष 2025-26 का केंद्रीय बजट विकसित भारत की गति निर्धारित करने का लक्ष्य रखता है.

बीजेपी नेता डॉ, रमापति राम त्रिपाठी बोले - सबको रोजगार नहीं दे सकते (video credit; ETV Bharat)

वही महाकुंभ को लेकर विपक्षियों नेताओं द्वारा दिए जा रहे बयानों पर कहा कि अखिलेश यादव चर्चा में रहने के लिए ऐसा बोलते है. अखिलेश यादव के पास कोई दृष्टिकोण नहीं है और वे जानबूझकर बचकाना बयान देते है. पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ने भी महाकुंभ को मृत्यु कुंभ बताया था जो उनकी मानसिकता को साफ तौर पर दर्शाता है कि उनकी देश के लोगों के प्रति सोच किस स्तर की है. उन्हें लगता है महाकुंभ में ममता बनर्जी अपनी मृत्यु देख रही होंगी. ये लोग देश की अखंडता को नहीं, बल्कि वोट को ध्यान में रखकर बयान देते है. महाकुंभ में सबसे अधिक देश के गरीब वर्ग के लोग अपनी श्रद्धा से स्नान करने पहुंचे. देश की 70 प्रतिशत आबादी आज बीजेपी के साथ है. इसलिए भारत सबका साथ सबका विकास की तर्ज पर आगे बढ़ रहा है.

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डॉ. रमापति राम त्रिपाठी ने बस्ती के पुराना डाकखाना भाजपा कार्यालय में हुई प्रेस वार्ता में कहा कि यह बजट स्वीकार करता है कि किसी देश की शक्ति उसकी भूमि में नहीं बल्कि उसके लोगों में होती है. इसप्रकार, सभी वर्गों में समावेशी विकास के माध्यम से मोदी सरकार की सबका साथ, सबका विकास की प्रतिबद्धता को पुनर्जीवित करती है. उन्होंने केंद्रीय बजट 2025-26 की प्रमुख बातें बताते हुए कहा कि बजट में 12 लाख रुपये तक की आय कर-मुक्त (नई कर व्यवस्था में) स्टैंडर्ड डिडक्शन बढ़ाकर 75,000 रुपये किया गया है. सीनियर सिटीजन्स के लिए टैक्स छूट सीमा बढ़ाई गई है.

रमापति त्रिपाठी ने कहा कि किसानों और ग्रामीण विकास के लिए किसान क्रेडिट कार्ड (केसीसी) की सीमा 5 लाख रुपये की गई है. प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का विस्तार, ग्राम सड़क योजना के लिए बजट बढ़ाया गया है. रोजगार और स्टार्टअप्स के क्षेत्र में एमएसएमई सेक्टर के लिए सस्ते लोन की व्यवस्था, स्टार्टअप्स को कर छूट का विस्तार, स्किल डेवलपमेंट और अप्रेंटिसशिप योजनाओं के लिए अधिक बजट का प्रावधान किया गया है.

शिक्षा और स्वास्थ्य के लिए नए मेडिकल और इंजीनियरिंग कॉलेजों की स्थापना, डिजिटल एजुकेशन के लिए अधिक फंडिंग, स्वास्थ्य बीमा योजनाओं में बढ़ोतरी हुई है. महिला और सामाजिक कल्याण के लिए महिला उद्यमियों को सस्ते ऋण की सुविधा, अंगनवाड़ी और मातृत्व योजनाओं के लिए अधिक फंडिंग की व्यवस्था की गई है. बुनियादी ढांचे और परिवहन के क्षेत्र में नई हाईवे और रेलवे परियोजनाएं, सस्ते मकानों के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना का विस्तार, मेट्रो और रेलवे सुविधाओं का विस्तार होगा.

वहीं डिजिटल और हरित अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए भी इलेक्ट्रिक वाहन (ईवी) पर सब्सिडी, हरित ऊर्जा परियोजनाओं को बढ़ावा दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि यह बजट मध्यम और निम्न वर्ग के लिए राहतकारी बताया जा रहा है, जिससे करदाताओं को बचत का अवसर मिलेगा और आर्थिक विकास को गति मिलेगी.


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