फरीदाबाद: आर्यन हत्याकांड में फरीदाबाद एसीपी क्राइम अमन यादव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि मामले में पांच दिन के अंदर क्राइम ब्रांच 30 की टीम ने हत्या में शामिल पांच आरोपियों को गिरफ्तार किया है. आरोपियों की पहचान वरुण, आदेश, सौरव, अनिल और कृष्ण के रूप में हुई है. सभी आरोपी फरीदाबाद के रहने वाले हैं. 23 अगस्त की रात को आरोपियों ने आर्यन मिश्रा नाम के युवक की गोली मारकर हत्या कर दी थी.
पुलिस रिमांड के दौरान आरोपियों ने किए खुलासे: पुलिस ने आरोपियों के खिलाफ मामला दर्ज कर उन्हें कोर्ट में पेश किया. कोर्ट ने आरोपियों को दो दिन की पुलिस रिमांड पर भेजा. पुलिस रिमांड के दौरान आरोपियों ने कई खुलासे किए. आरोपियों ने बताया कि उन्होंने गलतफहमी में आर्यन मिश्रा के ऊपर फायरिंग की थी. जिसमें उसकी मौत हो गई. इस पूरे मामले में सीसीटीवी फुटेज भी सामने आई है. जिसमें आरोपी डस्टर कार का पीछा करते नजर आ रहे हैं.
वारदात में इस्तेमाल कार और हथियार बरामद: आरोपियों ने जब देखा कि गाड़ी में महिलाएं भी सवार हैं. उसके बाद वो वहां से भाग निकले. पुलिस ने वारदात में इस्तेमाल वेपन और स्विफ्ट गाड़ी को कब्जे में ले लिया है. अभी भी आरोपियों से पूछताछ चल रही है. ये पता लगाया जा रहा है कि पांचों आरोपी किसी संगठन से जुड़े हैं या नहीं. अभी तक की जांच में सामने आया है कि आरोपी और मृतक के बीच कोई भी किसी तरह का संबंध नहीं था.
#WATCH | Faridabad, Haryana: A student of class 12th shot dead on suspicion of cow smuggling.
— ANI (@ANI) September 3, 2024
His father, Siyanand Mishra says, " my son named aryan mishra was a student of class 12. i was not aware of anything...later, i got to know my son was shot on suspicion of cow… pic.twitter.com/ALFp4m75BR
आर्यन के पिता ने सरकार पर उठाए सवाल: आर्यन हत्याकांड पर उनके पिता सियानंद मिश्रा ने कहा "मेरा बेटा आर्यन मिश्रा 12वीं कक्षा का छात्र था. मुझे कुछ भी पता नहीं था. बाद में मुझे पता चला कि मेरे बेटे को गौ तस्करी के संदेह में गोली मार दी गई. गौ तस्करी के संदेह में किसी को गोली मारने का अधिकार किसे है? अगर मोदी सरकार ने ऐसा अधिकार दिया है तो क्यों? इस मामले में 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है. सीबीआई प्रभारी ने मामले को सुलझा लिया है."
शक के चलते आरोपियों ने दिया वारदात को अंजाम: वहीं फरीदाबाद एसीपी क्राइम अमन यादव ने कहा कि "आर्यन मिश्रा नाम के लड़के की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. मामले में संबंधित धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की गई. घटना के 5 दिन बाद क्राइम ब्रांच की टीम ने 5 आरोपियों को गिरफ्तार किया. वारदात में इस्तेमाल की गई गाड़ी और हथियार बरामद कर लिया गया है. उन्हें पुलिस हिरासत में भेज दिया गया है. आरोपी और मृतक एक-दूसरे को नहीं जानते थे. आरोपियों ने शक के चलते वारदात को अंजाम दिया. आगे की जांच जारी है."
क्या है पूरा मामला? बता दें कि 23 अगस्त की रात को आर्यन मिश्रा अपने पड़ोसी शैंकी, उसका भाई, शैंकी की मां और एक अन्य महिला के साथ मैगी खाने के लिए डस्टर गाड़ी में घर से निकला था. इस दौरान आरोपी आर्यन की गाड़ी का पीछा करने लगे. आर्यन डस्टर गाड़ी में आगे की सीट पर बैठा हुआ था और शैंकी का भाई गाड़ी ड्राइव कर रहा था. शैंकी, उसकी मां और एक अन्य महिला पीछे वाली सीट पर बैठी थी. तभी पीछे से एक गाड़ी आई और डस्टर गाड़ी को रुकने का इशारा करने लगी.
इस बीच शैंकी अपने भाई को कार तेजी से चलाने को कहता है. जिसके बाद शैंकी का भाई डस्टर कार को तेज भगा लेता है. इस दौरान आरोपी उनकी गाड़ी पर फायरिंग करते हैं. इस दौरान एक गोली आर्यन मिश्रा की गर्दन में जा घुसी. इसके बाद भी शैंकी का भाई कार को भगाता रहता है. लगभग 20 किलोमीटर दूर गदपुरी टोल के पास आरोपी गाड़ी को घेर लेते हैं और गाड़ी में बैठे आर्यन के सीने में गोली मार देते हैं. जिसके बाद आरोपी वहां से फरार हो जाते हैं. वहीं इलाज के दौरान आर्यन की मौत हो जाती है.