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पेंच टाइगर रिजर्व में सैर-सपाटे के साथ वन्य जीवों के संरक्षण का महत्व समझेंगे पर्यटक

पेंच नेशनल पार्क में शुरू किया गया 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला'. वन्य जीवों के संरक्षण के महत्व समझ सकेंगे पर्यटक.

'An Evening with Junglewala' started in Pench National Park
पेंच नेशनल पार्क में शुरू किया गया 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला' (Etv bharat)
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By ETV Bharat Madhya Pradesh Team

Published : Nov 2, 2024, 9:34 PM IST

Updated : Nov 2, 2024, 9:50 PM IST

छिंदवाड़ा: पेंच नेशनल पार्क जाने वाले लोग टाइगर सहित वन्य प्राणियों को देखकर रोमांचित होकर वापस लौट आते हैं. पर्यटकों को वन्य जीवों के संरक्षण का महत्व समझाने के लिए पार्क के अधिकारियों ने 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला' शुरू किया है. इस तरह का अभियान शुरू करने वाला यह देश पहला नेशनल
पार्क है.

देश भर के टाइगर रिजर्व में पहली बार शुरू हुआ अभियान

पेंच टाइगर रिजर्व पार्क के दुरिया गेट में पेंच पार्क प्रबंधन ने यह अभियान शुरू किया है. एन इवनिंग विथ जंगलवाला के अंतर्गत पार्क के टुरिया गेट में हर दिन शाम को पर्यटन समाप्त होने के बाद पर्यटकों को आधे घंटे का प्रजेंटेशन दिया जाता है. पर्यटकों ने पेंच नेशनल पार्क का भ्रमण के दौरान क्या और कैसा अनुभव किया, उनसे इस बारे में जानकारी ली जाती है. इसके बाद यहां पर शॉर्ट फिल्म दिखाई जाती है जिसके जरिए बाघ संरक्षण क्षेत्र का प्रबंधन, इसकी विशेषताएं और काम करने के तरीके बारे में बताया जाता है. इस दौरान अधिकारी और पर्यटकों के बीच संवाद के जरिए उनकी जिज्ञासाओं का समाधान किया जाता है.

'An Evening with Junglewala' programme at Pench Tiger Reserve
पेंच टाईगर रिजर्व में 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला' कार्यक्रम (Etv bharat)

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दुरिया गेट में बनाया गया है इंटरप्रिटेशन सेंटर

यह सेंटर सभी उम्र के पर्यटकों के बीच काफी लोकप्रिय है. यहां पर पर्यटकों को जंगलों को लेकर बहुत सी नई बातें विस्तार से जानने का मौका मिलता है. इस सेंटर में वन्य प्राणियों के स्टेच्यू बनाए गए है. आमतौर पर पर्यटक वन्य प्राणियों को दूर से देखते हैं. नजदीक से देखने में वे कैसे होते हैं. बाघ, तेंदुए व वन्य प्राणियों के शिकार करने के तरीके में क्या अंतर है. गौर या सांभर जैसे विशालकाय जानवर पास से कैसे दिखते हैं, पर्यटक इस सेंटर में बेहतर तरीके से जान पाते है. क्या कारण हैं कि जंगल में चीतल और लंगूर क्यों हमेशा पास दिखते हैं.

सिर्फ मनोरंजन नहीं पर्यावरण के महत्व को बताना है उद्देश्य

पेंच टाइगर रिजर्व पार्क के उपसंचालक रजनीश सिंह ने बताया कि भारत के सभी वन्य जीव पर्यटन क्षेत्र में पर्यटन की अनुमति दी जाती है. इसका मुख्य उद्देश्य होता है लोगों को वन्य प्राणी संरक्षण के महत्व को समझाने के साथ ही उन्हें जागरूक करना है. जिससे वे वन्य प्राणियों और उनके आवास को देख, समझ सकें तथा उसको सुरक्षित करने में अपना योगदान दे सकें. इसी उद्देश्य की पूर्ति के लिए पेंच टाइगर रिजर्व में पर्यटकों हेतु कई गतिविधियां चलाई जाती हैं.

छिंदवाड़ा: पेंच नेशनल पार्क जाने वाले लोग टाइगर सहित वन्य प्राणियों को देखकर रोमांचित होकर वापस लौट आते हैं. पर्यटकों को वन्य जीवों के संरक्षण का महत्व समझाने के लिए पार्क के अधिकारियों ने 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला' शुरू किया है. इस तरह का अभियान शुरू करने वाला यह देश पहला नेशनल
पार्क है.

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पेंच टाइगर रिजर्व पार्क के दुरिया गेट में पेंच पार्क प्रबंधन ने यह अभियान शुरू किया है. एन इवनिंग विथ जंगलवाला के अंतर्गत पार्क के टुरिया गेट में हर दिन शाम को पर्यटन समाप्त होने के बाद पर्यटकों को आधे घंटे का प्रजेंटेशन दिया जाता है. पर्यटकों ने पेंच नेशनल पार्क का भ्रमण के दौरान क्या और कैसा अनुभव किया, उनसे इस बारे में जानकारी ली जाती है. इसके बाद यहां पर शॉर्ट फिल्म दिखाई जाती है जिसके जरिए बाघ संरक्षण क्षेत्र का प्रबंधन, इसकी विशेषताएं और काम करने के तरीके बारे में बताया जाता है. इस दौरान अधिकारी और पर्यटकों के बीच संवाद के जरिए उनकी जिज्ञासाओं का समाधान किया जाता है.

'An Evening with Junglewala' programme at Pench Tiger Reserve
पेंच टाईगर रिजर्व में 'एन इवनिंग विथ जंगलवाला' कार्यक्रम (Etv bharat)

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दुरिया गेट में बनाया गया है इंटरप्रिटेशन सेंटर

यह सेंटर सभी उम्र के पर्यटकों के बीच काफी लोकप्रिय है. यहां पर पर्यटकों को जंगलों को लेकर बहुत सी नई बातें विस्तार से जानने का मौका मिलता है. इस सेंटर में वन्य प्राणियों के स्टेच्यू बनाए गए है. आमतौर पर पर्यटक वन्य प्राणियों को दूर से देखते हैं. नजदीक से देखने में वे कैसे होते हैं. बाघ, तेंदुए व वन्य प्राणियों के शिकार करने के तरीके में क्या अंतर है. गौर या सांभर जैसे विशालकाय जानवर पास से कैसे दिखते हैं, पर्यटक इस सेंटर में बेहतर तरीके से जान पाते है. क्या कारण हैं कि जंगल में चीतल और लंगूर क्यों हमेशा पास दिखते हैं.

सिर्फ मनोरंजन नहीं पर्यावरण के महत्व को बताना है उद्देश्य

पेंच टाइगर रिजर्व पार्क के उपसंचालक रजनीश सिंह ने बताया कि भारत के सभी वन्य जीव पर्यटन क्षेत्र में पर्यटन की अनुमति दी जाती है. इसका मुख्य उद्देश्य होता है लोगों को वन्य प्राणी संरक्षण के महत्व को समझाने के साथ ही उन्हें जागरूक करना है. जिससे वे वन्य प्राणियों और उनके आवास को देख, समझ सकें तथा उसको सुरक्षित करने में अपना योगदान दे सकें. इसी उद्देश्य की पूर्ति के लिए पेंच टाइगर रिजर्व में पर्यटकों हेतु कई गतिविधियां चलाई जाती हैं.

Last Updated : Nov 2, 2024, 9:50 PM IST
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