नई दिल्ली: दिल्ली की सातों सीटों पर छठे चरण के तहत 25 मई को वोट डाले जाएंगे. एक चरण में होने वाले चुनाव के लिए सभी पार्टियों के कैंडिडेट्स की ओर से नामांकन पर्चा दाखिल कर दिए गए हैं. 29 अप्रैल से शुरू हुई नामांकन प्रक्रिया 6 मई को खत्म हो गई है. इस बार सातों सीटों पर बीजेपी, कांग्रेस, आम आदमी पार्टी और बसपा के अलावा बड़ी संख्या में निर्दलीय प्रत्याशियों ने भी नामांकन भरा है. इस बार 269 प्रत्याशियों की ओर से कुल 367 नामांकन पत्र दाखिल किये हैं जिनकी स्क्रूटनी होना बाकी है. सबसे ज्यादा नामांकन पर्चे नॉर्थ ईस्ट दिल्ली लोकसभा सीट पर 50 कैंडिडेंट की ओर से दाखिल किए गए हैं.
दिल्ली के मुख्य निर्वाचन कार्यालय की ओर से जारी आंकड़ों की बात करें तो नॉर्थ ईस्ट पर कुल 50 कैंडिडेट ने मैदान में उतरने का फैसला किया है. इनकी तरफ से रिटर्निंग ऑफिस कार्यालय में कुल 69 नामांकन पत्र जमा कराए गए हैं. बीजेपी के मनोज तिवारी और कांग्रेस-आम आदमी पार्टी के इंडिया गठबंधन के प्रत्याशी कन्हैया कुमार के बीच कड़ा मुकाबला होने के चलते यह सीट पहले ही हॉट सीट बनी हुई है. इसकी एक बड़ी वजह यह भी है कि अकेले मनोज तिवारी ही ऐसे बीजेपी के सीटिंग सांसद हैं, जो अपनी टिकट बचाने में कामयाब रहे हैं.
सीईओ कार्यालय के आंकड़ों की मानें तो अभी तक यहां पर 50 कैंडिडेट्स ने चुनाव लड़ने का फैसला किया है. जो बाकी 6 सीटों की तुलना में सबसे ज्यादा हैं. नामांकन पर्चा दाखिल करने के आखिरी दिन 6 मई को ही अकेले 39 नॉमिनेशन रिटर्निंग ऑफिस में प्राप्त हुए थे. जो 29 अप्रैल के बाद से सबसे ज्यादा रिकॉर्ड है. आज सभी नामांकन की स्क्रूटनी के बाद ही फाइनल होगा कि इनमें से कितने नॉमिनेशन वैलिड (वैध) और इनवैलिड (अवैध) ठहराए जाते हैं. वहीं, 9 मई तक नामांकन पर्चे वापस लेने का मौका भी कैंडिडेट्स को मिलेगा. इसके बाद फाइनल हो पाएगा कि आखिर कुल कितने प्रत्याशी चुनावी मैदान में डटे रहेंगे.
ये भी पढ़ें: मनोज तिवारी के खिलाफ कन्हैया कुमार, उत्तर पूर्वी दिल्ली की जनता किसका देगी साथ?
नॉर्थ ईस्ट के बाद दूसरे नंबर की लोकसभा ईस्ट दिल्ली सीट हैं, जहां पर कुल 39 कैंडिडेट्स ने नॉमिनेशन भरा है. वहीं, नई दिल्ली, नॉर्थ वेस्ट दिल्ली (एससी) और वेस्ट दिल्ली संसदीय क्षेत्र से प्रत्येक पर 38 प्रत्याशी ने नामांकन भरा है. इसके अलावा चांदनी चौक से 37 कैंडिडेट ने चुनावी ताल ठोकते हुए नामांकन पर्चा भरा है. साउथ दिल्ली संसदीय क्षेत्र ऐसा है जहां पर सबसे कम कैंडिडेट्स ने चुनाव लड़ने में दिलचस्पी दिखायी है. इस संसदीय सीट पर कुल 28 कैंडिडेट्स ने चुनाव लड़ने की दावेदारी करते हुए नामांकन पर्चा भरा है.
ये भी पढ़ें: कन्हैया कुमार के पास ना मकान, ना गाड़ी, सालाना इनकम-नेट वर्थ जानकर रह जाएंगे हैरान