नई दिल्लीः देश के सबसे बड़े भारतीय अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में 15 नवंबर को झारखंड राज्य दिवस मनाया गया. इस बार फेयर का फोकस स्टेट झारखंड है. इस वर्ष मेले की थीम विकसित भारत 2047 है. इसे केंद्र में रख कर विकसित झारखंड की झलक पवेलियन में देखी जा सकती है. मेले में झारखंड प्रदेश फोकस स्टेट की श्रेणी में अपने प्रदेश के उत्पादों और विभागों की प्रदर्शनी कर रहा है.
मेले में झारखंड आकर्षण का प्रमुख केंद्र: झारखंड उद्योग विभाग के सचिव जीतेन्द्र कुमार सिंह ने बताया कि व्यापार मेले में इस वर्ष सहभागी प्रदेश झारखंड आकर्षण का प्रमुख केंद्र है. पवेलियन प्रगति मैदान के गेट नंबर 5B के निकट हाल नंबर 1 में बनाया गया है. झारखंड प्रदेश में देश की कुल खनिज सम्पदा का 40 प्रतिशत हिस्सा है. इसके चलते इससे जुड़े व्यवसाय और उत्पादन संबंधी देश की प्रमुख कम्पनियाँ भी प्रदेश को रोशन करती हैं. पवेलियन में प्रादेशिक वस्तुओं की बिक्री के कई स्टाल लगाए गए है. जहाँ से मेले में आने वाले दर्शक क्षेत्रीय उत्पादों की खरीदारी कर सकेंगे.
जितेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि झारखंड पवेलियन 15 नवंबर को अपने प्रदेश की लोक संस्कृति को प्रदर्शित करने के लिए एम्फी थियेटर में झारखंड दिवस का आयोजन किया गया. जिसमें झारखंड के लोक कलाकार अपनी कला का प्रदर्शन करेंगे. झारखण्ड पवेलियन में इस वर्ष सूचना एवं जनसम्पर्क विभाग, खान एवं भूतत्व विभाग, वन, पर्यावरण एवं जलवायु परिवर्तन विभाग, पर्यटन, कला, संस्कृति, एवं युवा कार्य विभाग, झारखण्ड खादी, मुख्यमंत्री लघु उद्योग, झारखंड माटी कला, झारखण्ड इंडस्ट्री, झारखण्ड स्टेट लिवलीहुड, रांची स्मार्ट सिटी और झारक्राफ्ट, झारखंड राज्य सरकारी दुग्ध उत्पादक महासंघ समिति, फिशरी विभाग, झारखंड राज्य सहकारी लाह क्रय विक्रय एवं आहरण संघ, और सूचना एवं प्रौद्योगिकी जैसे विभागों को प्रदर्शित किया गया.
पवेलियन में प्रदेश की तमाम उपलब्धियों को किया गया प्रदर्शित: जितेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि झारखंड के लिए यह गर्व की बात है कि ITPO द्वारा 15 नवंबर को झारखंड दिवस के लिए चुना. आज श्री बिरसा मुंडा की 150 जयंती भी है. वहीं 15 नवंबर 2000 को झारखंड को अलग राज्य का दर्जा भी मिला था. इस बाबत रांची में कई कार्यक्रम ही रहे हैं. व्यापार मेले में इस वर्ष भी हमारी सहभागिता पर प्रदेश को गर्व है. पवेलियन में प्रदेश की तमाम उपलब्धियों और प्रेरणा स्रोतों को प्रदर्शित किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि इस वर्ष पवेलियन में प्रादेशिक उत्पादों की स्टॉल के अलावा झारखण्ड के विभिन्न विभागों को भी विशेष स्थान दिया गया है.
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