लंदन: एस्ट्राजेनेका का दुनियाभर से कोविड वैक्सीन वापस लेने का ऐलान के बीच फाइजर की पूर्व कर्मचारी और व्हिसलब्लोअर मेलिसा मैकएटी ने एक वीडियो जारी कर अपनी जान को खतरा बताया है. बता दें कि मेलिसा मैकएटी ही वह व्हिसलब्लोअर हैं जिन्होंने वैक्सीन बनाने वाली कंपनी फाइजर के टीकों में गड़बड़ी संबंधी मेल लीक की थी. उस मेल में उन्होंने एमआरएनए वैक्सीन लैब परीक्षणों में मानव भ्रूण ऊतक-व्युत्पन्न सेल लाइनों के उपयोग का आरोप लगाया था. हालांकि बाद में इसकी पुष्टी नहीं हो सकी. मैकएटी ने टीके के अवयवों और लोगों की मौतों के संभावित संबंधों के बारे में चिंता व्यक्त की थी.
अब दो बोइंग व्हिसलब्लोअर्स की अचानक मौत के बाद उन्होंने एक वीडियो जारी कर इस बात पर जोर दिया है कि उन्हें कोई भी नुकसान बिग फार्मा और सरकार की वजह से होगा. वीडियो में, मैकएटी ने दर्शकों को अपने स्वास्थ्य के बारे में जानकारी दी. उन्होंने कहा कि वह थकी हुई जरूर है लेकिन कभी आत्महत्या नहीं करेंगी. उन्होंने कहा कि उनका पारिवारिक जीवन खुशहाल है.
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनके और उनके परिवार के बीच कोई विवाद या मानसिक स्वास्थ्य संबंधी कोई समस्या नहीं है. और उन्होंने अपने घर या कार में कोई असामान्य बदलाव नहीं किया है. उन्होंने कहा कि भविष्य में उनके ऊपर किसी तरह का हमला होता है या उन्हें जान का खतरा होता है तो इसके लिए बड़ी दवा कंपनियां, तकनीकी कंपनियां या सरकार जिम्मेदार होगी.
उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा कि सभी को नमस्कार. मेरा नाम मेलिसा मैकएटी है. जिसे मेलिसा स्ट्रिकलर के नाम से भी जाना जाता है. मैं फाइजर व्हिसलब्लोअर हूं. मैं फाइजर में लगभग पांच वर्षों तक विनिर्माण गुणवत्ता में और कुल मिलाकर लगभग दस वर्षों वहां काम किया.
उन्होंने अपने पोस्ट में लिखा कि मैं यहां बस अपने चेहरे का एक वीडियो डालना चाहती थी जिसमें मेरी आवाज यह बताती हो कि मैं आत्महत्या नहीं करने वाली हूं. मेरी और मेरे पति की शादी खुशहाल और स्वस्थ है. मैं अपने बेटे से प्यार करती हूं. मैं अपने परिवार से प्यार करती हूं. जोखिमों के बावजूद, मैकएटी एमआरएनए टीकों के बारे में मुखर रहती हैं. उन्होंने डर में जीने से इनकार करते हुए कहा कि उनका उद्देश्य लोगों को किसी भी जोखिम से बचाना था.
हालांकि, कुछ लोग मैकएटी की चिंताओं को मनगढंत मानकर खारिज कर रहे हैं. जबकि, मर्क एंड कंपनी के पूर्व प्रतिनिधि ब्रांडी वॉन का मामला सबके सामने हैं. जिन्हें टीकों के खिलाफ बोलने के बाद अपना अनुभव साझा करने के बाद उत्पीड़न का सामना करना पड़ा था. जिसके कुछ ही दिन बाद वॉन की दिल का दौरा पड़ने से अचानक मृत्यु हो गई.