हैदराबाद: सत्यजीत रे की मशहूर फिल्म पाथेर पांचाली में दुर्गा का किरदार निभाने वाली एक्ट्रेस उमा दासगुप्ता का सोमवार को 85 साल की उम्र में निधन हो गया. उन्होंने कोलकाता के एक निजी अस्पताल में अंतिम सांस ली. उनके निधन की खबर की पुष्टि अभिनेता-विधायक चिरंजीत चक्रवर्ती ने की, जो उसी बिल्डिंग में रहते हैं, जहां दासगुप्ता रहती थीं. उनके निधन से बंगाली फिल्म कम्यूनिटी और सिनेमा लवर्स में शोक की लहर है.
बिभूतिभूषण बंदोपाध्याय के उपन्यास पर आधारित पाथेर पांचाली (1955) ने भारतीय सिनेमा में एक महत्वपूर्ण योगदान दिया. उमा दासगुप्ता द्वारा निभाया गया दुर्गा का किरदार, एक ऐसा किरदार जो लाखों बंगालियों के दिलों में गूंजता रहता है, फिल्म के सबसे यादगार सीन में से एक है. दुर्गा के मासूम सपने, उसकी चंचलता और उसका दुखद भाग्य दर्शकों के मन में घर कर गया.
उनके निधन पर फिल्म जगत के कई सितारों ने श्रद्धांजलि दी है. निर्देशक अनीक दत्ता ने सोशल मीडिया पर अपना दुख व्यक्त किया. उन्होंने उमा के लाइमलाइट से दूर होने का जिक्र करते हुए लिखा, 'स्क्रीन की दुर्गा चुपचाप चली गई'. अपराजित बनाते समय उमा से मिलने का प्रयास करने वाले दत्ता ने बताया कि वह निजी और सुर्खियों से दूर रहना पसंद करती थीं. दत्ता ने कहा, 'दुर्भाग्य से, अपराजित बनाते समय हम उनसे नहीं मिल पाए. अपराजित में उनके साथ काम करने वाले जीतू कमल ने भी उनके निधन पर शोक जताया है. उन्होंने लिखा- आज दुर्गा बिसरजन होलो. एक्ट्रेस उमा दासगुप्ता की आत्मा को शांति मिले. बंगाली सिनेमा में एक्ट्रेस के योगदान को एक्टर अर्जुन चक्रवर्ती ने भी स्वीकार किया.
उमा दासगुप्ता ने भारतीय सिनेमा में एक महत्वपूर्ण योगदान दिया है. हालांकि बाद के वर्षों में वह सुर्खियों से दूर हो गईं, लेकिन बंगाली सिनेमा पर उनका जादू छाया रहा. उन्होंने खुद को मीडिया से काफी हद तक दूर कर लिया था और बहुत कम मौको पर दिखती थी.