नई दिल्ली: लोक सभा चुनाव 2024 के मद्देनजर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आने वाले दिनों में तीन राज्यों में प्रचार प्रसार करेंगे. इनमें महाराष्ट्र, बिहार और तमिलनाडु में व्यापक रूप से अभियान चलाने का कार्यक्रम है. बीजेपी मात्र हिंदी हार्टलैंड पर ही नहीं बल्कि इस बार दक्षिण पर भी फोकस कर रही है.
पार्टी को अब कर्नाटक के बाद सबसे ज्यादा विस्तार करने का स्कोप तमिलनाडु और तेलंगाना में नजर आ रही है. इस बारे में बीजेपी अपने पुराने जनाधार वाले राज्यों के अलावा सबसे ज्यादा फोकस तमिलनाडु पर कर रही है. लिहाजा राज्य में पीएम मोदी के कार्यक्रम को विशेष रूप तैयार किया गया है. सबसे अधिक कार्यक्रम तमिलनाडु के लिए तय किए गए हैं.
पार्टी ने राज्य के अध्यक्ष की कमान भी अनामलाई के हाथों में सौंपा है जो डीएमके (DMK) और कांग्रेस को लेकर शुरू से काफी आक्रामक रहे हैं. भाजपा और पट्टाली मक्कल काची यानी पीएमके (PMK) के बीच सीट शेयरिंग को लेकर भी सहमति बन गई है. तमिलनाडु की 39 में से 10 सीटों पर भाजपा चुनाव लड़ेगी. बीते तमिलनाडु विधानसभा चुनाव में पीएमके को पांच सीटों पर जीत मिली थी.
वहीं, पार्टी 3.8 फीसदी वोट के साथ राज्य में चौथे स्थान पर भी रही थी. इससे पहले भाजपा ने तमिल मनीला कांग्रेस, अम्मा मक्कल मुनेत्र कड़गम (AMMK) के साथ भी गठबंधन किया है. इसके अलावा तमिल अभिनेता आर सरथ कुमार ने भी अपनी पार्टी एआईएसएमके (AISMK) का बीजेपी में विलय करने की बात कही है. इसको बल देने के लिए ही बीजेपी ने तमिलनाडु में पीएम मोदी की धुआंधार रैलियां तय की है.
बीजेपी सूत्रों की मानें तो पीएम मोदी तमिलनाडु में चार दिन तक प्रचार करेंगे. वह नौ से 12 अप्रैल तक तमिलनाडु में प्रचार करेंगे जिसमें रोड शो और रैलियां भी शामिल हैं. दक्षिण चेन्नई और कोयंबतूर में रोड शो होगा और विरुदनगर में जन सभा करेंगे. इसी तरह बीजेपी सूत्रों के मुताबिक महाराष्ट्र में भी पीएम मोदी की 18 रैलियां प्रस्तावित हैं.
वहीं, बिहार में पीएम मोदी 15 रैलियां कर सकते हैं. आपको बता दें कि इन रैलियों की संख्या चुनाव में उन राज्यों की डिमांड के मुताबिक और चुनौतियों के आधार पर तय की जाती है. इन राज्यों में पीएम की रैलियों की भारी डिमांड है. इसकी वजह पीएम की बढ़ती लोकप्रियता बताई जा रही. बहरहाल जैसे- जैसे चुनावी चरण और सरगर्मी बढ़ेगी पीएम की और भी रैलियों बढ़ सकती है.
पीएम की और भी रैलियां प्रस्तावित हैं जिन्हे अंतिम रूप दिया जाना है. अभी मुख्य तौर पर पहले और दूसरे चरण के चुनाव की रैलियां ही तय की जा रहीं हैं. बिहार और महाराष्ट्र में एनडीए अपना पिछला प्रदर्शन दोहराना चाहती है और इसे देखते हुए इन दोनों ही राज्यों में पीएम मोदी का जमकर प्रचार अभियान लगाया जा रहा है. वहीं, तमिलनाडु में बीजेपी पूरी ताकत लगा कर ज्यादा से ज्यादा राज्य सरकार के खिलाफ फैली एंटी इनकंबैंसी फैक्टर का लाभ उठाना चाहती है और ज्यादा से ज्यादा सीटें जीतना चाहती है.